रूस-यूक्रेन युद्ध रुकवाने में फेल रहे ट्रंप, बोले- 'ये इतना आसान नहीं, मैं पुतिन से काफी निराश हूं'
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने यूक्रेन युद्ध को रोकने में अपनी विफलता स्वीकार करते हुए कहा कि उन्हें लगा था यह काम आसान होगा। उन्होंने तेल उत्पादन बढ़ाने का सुझाव दिया है ताकि तेल की कीमतें गिरें और रूस को युद्ध के लिए धन न मिले। ट्रंप ने व्लादिमीर पुतिन से निराशा व्यक्त की और नोबेल शांति पुरस्कार के हकदार होने का दावा दोहराया।

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। यूक्रेन युद्ध रुकवाने में विफल हुए अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने स्वीकार किया है कि उन्हें ये जितना आसान लगा था, वैसा है नहीं। ट्रंप ने कहा कि उन्हें शुरू में लगा था कि राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ उनके व्यक्तिगत संबंधों के कारण रूस-यूक्रेन विवाद का समाधान आसान होगा। हालांकि, उन्होंने हार नहीं मानी है और एक और विचार के साथ सामने आए हैं।
उन्होंने तेल उत्पादन बढ़ाने की वकालत की है। उनका मानना है कि इससे तेल की कीमतें गिरेंगी और रूस को यूक्रेन से युद्ध करने के लिए पैसा नहीं मिलेगा। इससे रूस को युद्ध रोकने के लिए बाध्य किया जा सकेगा।
मैं पुतिन से काफी निराश हूं- ट्रंप
अमेरिकन कार्नरस्टोन इंस्टीट्यूट के संस्थापक भोज में ट्रंप ने कहा कि मैं पुतिन से काफी निराश हूं। इस युद्ध की वजह से हर हफ्ते पांच से सात हजार लोग मारे जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि यूक्रेन के सैनिकों से ज्यादा मारे जाने की दर रूस के फौजियों की है। तेल उत्पादन बढ़ने से युद्ध को स्वत: रोका जा सकता है। इससे कीमतें नीचे गिरेंगी और यही प्रक्रिया युद्ध रोकने में सहायक हो सकती है।
ट्रंप ने कहा कि अलास्का में पुतिन से मुलाकात के दौरान मैंने उनसे यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की से बात करने को कहा था, लेकिन शांति वार्ता नहीं हो सकी। इस मौके पर ट्रंप ने नोबेल शांति पुरस्कार के हकदार होने के दावे को फिर से दोहराया।
शांति समझौतों पर जोर दे रहा हूं- ट्रंप
उन्होंने दावा किया कि भारत-पाक, थाईलैंड-कंबोडिया, आर्मेनिया-अजरबैजान, कोसोवो-सर्बिया, इजरायल-ईरान, मिस्त्र- इथियोपिया और रवांडा-कांगो उन्होंने रुकवाए। उन्होंने कहा कि वह लगातार शांति समझौतों पर जोर दे रहे हैं और युद्ध रुकवा रहे हैं।
(समाचार एजेंसी एएनआइ के इनपुट के साथ)
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