'धरती का सबसे हिंसक देश बन चुका है...', सूडान में हिंसा को लेकर क्या है ट्रंप का प्लान?
सूडान में गृहयुद्ध की स्थिति पर अमेरिकी राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रंप ने चिंता व्यक्त की है। उन्होंने सूडान को 'धरती का सबसे हिंसक देश' बताते हुए, राष्ट्रपति बनने पर स्थिति को नियंत्रित करने का वादा किया है। ट्रंप ने सूडान में शांति और स्थिरता बहाल करने की बात कही है, जहाँ सेना और अर्धसैनिक बलों के बीच संघर्ष जारी है और मानवीय संकट गहरा गया है।
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ट्रंप ने कहा है कि वह सूडान में हिंसा को खत्म करेंगे। (फाइल फोटो)
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रंप ने बुधवार को कहा कि सूडान में भयानक अत्याचार हो रहे हैं। उन्होंने कहा, "एक समय महान सभ्यता माने जाने वाला यह देश अब दुनिया का सबसे हिंसक स्थान बन चुका है और सबसे बड़ा मानवीय संकट पैदा हो गया है।" ट्रंप ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ट्रुथ सोशल पर लिखा कि वहां भोजन, डॉक्टर और हर जरूरी चीज की भारी कमी है।
ट्रंप ने बताया कि सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस सहित कई अरब नेताओं ने उनसे अमेरिकी राष्ट्रपति की ताकत और प्रभाव का इस्तेमाल करके सूडान में चल रही हिंसा को तुरंत रोकने की गुजारिश की है। सऊदी क्राउन प्रिंस हाल ही में अमेरिका से लौटे हैं। ट्रंप ने कहा कि सूडान की यह महान सभ्यता और संस्कृति बिगड़ गई है, लेकिन क्षेत्र के देशों के सहयोग से इसे फिर से ठीक किया जा सकता है।
अमेरिका मध्यस्थता करेगा, क्षेत्रीय देशों के साथ मिलकर काम
ट्रंप ने वादा किया कि अमेरिका सऊदी अरब, संयुक्त अरब अमीरात (UAE), मिस्र और अन्य मध्य पूर्वी सहयोगियों के साथ मिलकर सूडान में अत्याचार खत्म करने और देश को स्थिर करने का काम करेगा। उन्होंने लिखा, "हम इन अत्याचारों को खत्म करने के लिए काम करेंगे, साथ ही सूडान को स्थिर करेंगे। इस मामले में ध्यान देने के लिए धन्यवाद। भगवान दुनिया को आशीर्वाद दे!"
युद्धविराम की दिशा में बड़ी उम्मीद
इससे पहले सूडान की रैपिड सपोर्ट फोर्सेज (RSF) ने अमेरिका की अगुवाई वाले प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया है। दो साल से ज्यादा समय से चल रहे युद्ध के बाद RSF ने अमेरिका, सऊदी अरब, मिस्र और UAE के बने ‘क्वाड’ मध्यस्थ समूह के मानवीय युद्धविराम प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। RSF ने बयान में कहा कि वह युद्ध के विनाशकारी मानवीय परिणामों को कम करने और आम नागरिकों की सुरक्षा बढ़ाने के लिए इस युद्धविराम को स्वीकार करती है।
दोनों पक्षों ने सैद्धांतिक सहमति दी
अमेरिका के वरिष्ठ सलाहकार मसाद बूलोस ने बताया कि युद्धविराम के लिए प्रयास जारी हैं और दोनों पक्षों ने सिद्धांत रूप में सहमति दे दी है। अल जजीरा के अनुसार, युद्ध के दौरान दोनों पक्षों पर युद्ध अपराध के गंभीर आरोप लगे हैं।
विश्व स्वास्थ्य संगठन ने बताया कि एक पूर्व बच्चों के अस्पताल पर कब्जे के दौरान 460 से ज्यादा मरीजों और मेडिकल स्टाफ की दर्दनाक हत्या हुई।
सितंबर में संयूक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद की रिपोर्ट में दोनों पक्षों RSF और सूडानी सशस्त्र बलों (SAF) पर गैर-न्यायिक हत्याएं, नागरिकों पर बड़े हमले, यातना और खासकर यौन हिंसा के भारी सबूत मिले हैं। रिपोर्ट में कहा गया है कि यौन हिंसा मुख्य रूप से RSF और SAF के सदस्यों ने की है।

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