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    कौन हैं वर्जीनिया की नई उपराज्यपाल गजाला हाशमी, पढ़ें हैदराबाद से क्या है कनेक्शन

    Updated: Wed, 05 Nov 2025 09:29 AM (IST)

    भारतीय मूल की गजाला हाशमी ने वर्जीनिया के उपराज्यपाल का चुनाव जीतकर इतिहास रचा है। वह वर्जीनिया सीनेट में सेवा देने वाली पहली मुस्लिम और दक्षिण एशियाई अमेरिकी महिला हैं। उनकी जीत के बाद उनकी सीनेट सीट के लिए विशेष चुनाव होगा। गजाला हाशमी शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में सक्रिय रही हैं और उन्होंने हमेशा दूसरों के जीवन को बेहतर बनाने का प्रयास किया है।

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    फाइल फोटो

    डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। भारतीय मूल की डेमोक्रेट गजाला हाशमी ने रिपब्लिकन जॉन रीड को हराकर वर्जीनिया के उपराज्यपाल पद का चुनाव जीत लिया है।

    हाशमी वर्जीनिया सीनेट में सेवा देने वाली पहली मुस्लिम और पहली दक्षिण एशियाई अमेरिकी हैं। वह 15वें सीनेटरियल डिस्ट्रिक्ट का प्रतिनिधित्व करती हैं। हाशमी की इस जीत का मतलब है कि उनकी सीनेट सीट के लिए एक विशेष चुनाव होगा।

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    उन्होंने 2019 में राजनीति में प्रवेश किया और एक चौंकाने वाली जीत के साथ रिपब्लिकन के कब्जे वाली राज्य सीनेट सीट पर कब्जा कर लिया और वर्जीनिया जनरल असेंबली के लिए चुनी गईं।

    पांच साल बाद 2024 में, उन्हें सीनेट शिक्षा एवं स्वास्थ्य समिति का अध्यक्ष नियुक्त किया गया। यह दो महत्वपूर्ण डेमोक्रेटिक प्राथमिकताओं, प्रजनन स्वतंत्रता और सार्वजनिक शिक्षा के लिए एक महत्वपूर्ण नेतृत्व पद है।

    'दूसरों की जीवन को बेहतर बनाने के लिए समर्पित'

    हाशमी की वेबसाइट पर दी गई जानकारी के अनुसार, उन्होंने "दूसरों के जीवन को बेहतर बनाने के लिए अपने प्रयासों को समर्पित किया है।" इसके साथ ही आवास, शिक्षा, स्वास्थ्य सेवा और पर्यावरण न्याय जैसे क्षेत्रों में असमानता के मुद्दों पर ध्यान केंद्रित किया है।

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    कौन हैं गजाला हाशमी?

    1964 में हैदराबाद में जिया हाशमी और तनवीर हाशमी के घर जन्मी गजाला ने अपना बचपन अपने नाना-नानी के घर मालकपेट में बिताया। वह चार साल की थीं जब वह अपनी मां और बड़े भाई के साथ भारत से अमेरिका आ गईं। यहां आकर वह जॉर्जिया में अपने पिता के पास रहने लगीं।

    गजाला के पिता प्रोफेसर जिया हाशमी अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के छात्र रह चुके हैं। यहां से उन्होंने एमए और एलएलबी की डिग्री हासिल की थी। उन्होंने साउथ कैरोलिना विश्वविद्यालय से अंतर्राष्ट्रीय संबंधों में पीएचडी की और उसके तुरंत बाद विश्वविद्यालय में अध्यापन का करियर शुरू किया। वे अपने द्वारा स्थापित अंतर्राष्ट्रीय अध्ययन केंद्र के निदेशक पद से सेवानिवृत्त हुए।

    हाशमी की मां, तनवीर हाशमी, बी.ए. और बी.एड. हैं। उन्होंने कोठी स्थित उस्मानिया विश्वविद्यालय के महिला महाविद्यालय से पढ़ाई की।

    गजाला ने जॉर्जिया सदर्न यूनिवर्सिटी से बीए और अटलांटा स्थित एमोरी यूनिवर्सिटी से अमेरिकी साहित्य में पीएचडी किया। साल 1991 में गजाला अपने पति अजहर रफीक के साथ रिचमंड क्षेत्र में रहने लगीं। उनकी की दो बेटियां हैं।

    तीस साल तक प्रोफेसर के तौर पर दी सेवाएं

    गजाला ने लगभग 30 वर्ष एक प्रोफेसर के रूप में बिताए हैं। पहले रिचमंड विश्वविद्यालय में और फिर रेनॉल्ड्स कम्युनिटी कॉलेज में अध्यापन किया। रेनॉल्ड्स कम्युनिटी कॉलेज में, हाशमी ने सेंटर फॉर एक्सीलेंस इन टीचिंग एंड लर्निंग (CETL) की संस्थापक निदेशक के रूप में भी कार्य किया।

    (समाचार एजेंसी PTI इनपुट के साथ)

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