शौचालय में घुसा तो देखा अंदर बैठा था तेंदुआ, कैसे किया काबू जानिए
कोटद्वार में एक व्यक्ति सुबह के वक्त जैसे ही अपने शौचालय में घुसा तो अंदर तेंदुए को देखकर उसके होश उड़ गए। व्यक्ति ने समझदारी दिखाते हुए तुरंत दरवाजे की कुंडी लगा ली।
कोटद्वार, [जेएनएन]: उत्तराखंड के पहाड़ी क्षेत्रों में तेंदुआ (गुलदार) का आतंक खत्म होने का नाम नहीं ले रहा है। ताजा प्रकरण पौड़ी गढ़वाल जनपद के कोटद्वार का है। यहां ग्राम दुर्गापुरी में उस वक्त हड़कंप मच गया, जब गांव में एक व्यक्ति शौचालय में घुसा तो अंदर गुलदार बैठा था। उसके होश उड़ गए। आगे क्या हुआ जानिए।
मामला सुबह करीब नौ बजे का है। ग्राम दुर्गापुरी निवासी रमापति थपलियाल अपने आवास के पीछे के हिस्से में बने शौचालय में मवेशियों के लिए पानी लेने गए। खाली बाल्टी लेकर जैसे ही वे बाथरुम में घुसने लगे, उनकी निगाह बाथरुम में लेटे गुलदार पर पड़ी।
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समझदारी का परिचय देते हुए थपलियाल ने बाथरुम का दरवाजा बंद कर बाहर से कुंडी लगा दी। सूचना मिलने के बाद करीब पौने ग्यारह बजे रेंज अधिकारी एसपी कंडवाल के नेतृत्व में वन महकमे की टीम पिंजरे व जाल के साथ मौके पर पहुंच गई और गुलदार को सुरक्षित निकालने के प्रयास शुरू कर दिए गए।
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इस बीच मौके पर ग्रामीणों की भीड़ बढ़ती चली गई, जिससे गुलदार को पिंजरे में बंद करने के प्रयास में जुटी वन कर्मियों को परेशानियां आने लगी। नतीजा, गुलदार को पिंजरे तक लाने के लिए किए गए दो-तीन प्रयास विफल रहे।
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दोपहर में प्रभागीय वनाधिकारी मयंक शेखर झा मौके पर पहुंचे व उनके दिशा-निर्देशन में गुलदार को बाहर निकालने के प्रयास शुरु हो गए। करीब ढाई बजे गुलदार पिंजरे में कैद हो गया, जिसके बाद महकमा गुलदार को लेकर सनेह विश्राम गृह में ले गया।
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प्रभागीय वनाधिकारी झा ने बताया कि पिंजरे में कैद गुलदार करीब छह वर्षीय मादा है, जो कि पूरी तरह स्वस्थ है। बताया कि चिकित्सकों की जांच के बाद गुलदार को प्रभाग की कोटड़ी रेंज के अंतर्गत कोल्हूचौड़ के घने जंगल में छोड़ा गया है।
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तीन-चार दिन से दिख रहा था गुलदार
ग्राम दुर्गापुरी में पिछले तीन-चार दिनों से ग्रामीणों को यह गुलदार नजर आ रहा था। संभावना जताई जा रही है कि गांव से लगे बिजनौर वन प्रभाग के जंगलों से यह गुलदार गांव में आया हो। बताया जा रहा है कि गुलदार ने गांव में दो-तीन कुत्ते भी मारे थे। बीती रात भी गुलदार ने गांव में एक कुत्ते का शिकार किया।
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