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    Kumaun University का 500 छात्रों के भविष्य से खेल, पहले पास; फिर किया फेल

    Updated: Sat, 27 Jul 2024 02:57 PM (IST)

    Kumaun University Results कुमाऊं विवि की स्नातक चतुर्थ सेमेस्टर परीक्षा का परिणाम घोषित होने के बाद से विवाद में रहा है। प्रदेश में नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति के तहत उच्च शिक्षा का खाका तैयार करने वाली यूनिवर्सिटी ने अब नया कारनामा कर दिखाया है। वहीं अब चतुर्थ सेमेस्टर में 500 से अधिक विद्यार्थियों को पास दिखाने के बाद फेल कर दिया गया है।

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    Kumaun University Results: एक सप्ताह के भीतर रिजल्ट बदलने से छात्र-छात्राएं परेशान

    जासं, हल्द्वानी । Kumaun University Results: कुमाऊं विश्वविद्यालय का लचर सिस्टम विद्यार्थियों के भविष्य से खेल रहा है। परीक्षा से लेकर परिणाम तक लगातार लापरवाही उजागर हो रही है। प्रदेश में नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति के तहत उच्च शिक्षा का खाका तैयार करने वाली यूनिवर्सिटी ने अब नया कारनामा कर दिखाया है।

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    विवि ने स्नातक चतुर्थ सेमेस्टर में विद्यार्थियोंको पहले उत्तीर्ण कर पंचम सेमेस्टर में प्रोन्नत करते हुए परिणाम जारी किया, वहीं अब इन्हें फेल कर दिया गया है। एक सप्ताह के भीतर रिजल्ट बदलने से छात्र-छात्राएं परेशान हैं।

    परिणाम घोषित होने के बाद से हमेशा से विवाद में

    कुमाऊं विवि की स्नातक चतुर्थ सेमेस्टर परीक्षा का परिणाम घोषित होने के बाद से विवाद में रहा है। प्रथम और द्वितीय सेमेस्टर में बैक होने पर एक हजार से अधिक विद्यार्थियों की पंचम सेमेस्टर में प्रोन्नति रोक दी गई थी। इसे लेकर काफी हंगामा हुआ था।

    वहीं, अब चतुर्थ सेमेस्टर में 500 से अधिक विद्यार्थियों को पास दिखाने के बाद फेल कर दिया गया है। एमबीपीजी कालेज में कुमाऊं विवि की इस लापरवाही से प्रभावित छात्र-छात्राएं गुरुवार को दिनभर भटकते रहे। विवि के पोर्टल से पुराना और अपडेट अंकपत्र निकालकर शिकायत दर्ज कराई।

    सुबह से लेकर शाम तक 100 से अधिक छात्र-छात्राएं कालेज पहुंचे। उनका कहना है कि 17 जुलाई को परिणाम घोषित हुआ था और उसमें पास दिखाया गया था, जबकि गुरुवार को परिणाम देखने पर फेल होने का रिजल्ट प्राप्त हुआ। इधर, कुमाऊं विवि के अधिकारी पोर्टल की तकनीकी दिक्कत बताकर अपना पल्ला झाड़ रहे हैं।

    कुमाऊं विवि क्या ऐसे बन पाएगा डीयू

    कुमाऊं विवि के शिक्षण, शोध में गुणवत्ता और संसाधनों के विकास की बातें बीते कुछ वर्षों में काफी तेज हुई है। साथ ही विवि को देश के शीर्ष विश्वविद्यालयों में एक दिल्ली विश्वविद्यालय जैसा बनाने की बातें भी की जा रही हैं, मगर पिछली परीक्षाओं में प्रश्न पत्रों में भारी गड़बड़ी के बाद अब परिणामों में घोर लापरवाही देखने को मिली है। ऐसे में सवाल उठ रहे हैं कि क्या ऐसे केयू को डीयू बनाया जाएगा।

    परिणाम घोषणा में जल्दबाजी का नतीजा

    उच्च शिक्षा विभाग सत्र को नियमित करने के लिए लगातार विश्वविद्यालयों की निगरानी कर रहा है। साथ ही शासन से समय पर परिणाम घोषित करने का भी दबाव विवि पर दिखा है। ऐसे में परिणामों में हुई गड़बड़ी की वजह जल्दबाजी मानी जा रही है। वहीं पोर्टल संचालन देख रही फर्म के स्तर पर भी सही से कमांड फीड नहीं किए जाने की लापरवाही रही है।

    चतुर्थ सेमेस्टर में पहले पास का परिणाम प्राप्त हुआ था, जबकि गुरुवार को दोबारा पोर्टल देखा तो फेल होने की जानकारी मिली। वहीं, अंकों में कोई परिवर्तन नहीं किया गया है। अंशिका, बीकाम चतुर्थ सेमेस्टर

    17 जुलाई को रिजल्ट घोषित हुआ था। उसके आधार पर पंचम सेमेस्टर में प्रवेश लेने के लिए फिर परिणाम डाउनलोड किया तो दोबारा प्राप्त हुए रिजल्ट में फेल दिखाया गया है। -   वंशिका, बीकाम चतुर्थ सेमेस्टर

    कुमाऊं विवि विद्यार्थियों के भविष्य से खिलवाड़ कर रहा है। पहले पास का परिणाम दिया गया और फिर फेल कर दिया गया। जिम्मेदारों के विरुद्ध कार्रवाई की जानी चाहिए। गौरव कांडपाल, विश्वविद्यालय प्रतिनिधि

    पोर्टल में कुछ तकनीकी दिक्कत थी, अब खामी दूर कर प्रविधान पूरी तरह लगा दिया है। इस वजह से परिणाम अपडेट हुए हैं। एनईपी के अनुसार परिणाम हैं। छात्रों की समस्या पता चली है और समाधान पर विचार किया गया है।

    - डा. महेंद्र राणा, परीक्षा नियंत्रक, कुमाऊं विवि