रामलीला में दशरथ बनते हैं भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत, 50 सालों से मंच पर आ रहे हैं नजर
बंशीधर भगत (Bansidhar Bhagat) नैनीताल जिले के हल्द्वानी के ऊंचापुल क्षेत्र में होने वाली ग्रामीण रामलीला में भगवान श्री राम के पिता दशरथ का दमदार अभिनय करते आ रहे हैं। हर साल होने वाली शरदीय नवरात्रि में उन्होंने रामलीला के अलग-अलग किरदार किए हैं।
नैनीताल, स्कंद शुक्ल : उत्तराखंड भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष, पूर्व कैबिनेट मंत्री और कालाढ़ूंगी सीट से विधायक बंशीधर भगत (Bansidhar Bhagat) का रामलीला से विशेष लगाव रहा है। वह तकरीबन 50 वर्षों से रामलीला में विभिन्न भूमिकाएं निभा चुके हैं।
उन्हें दशरथ की भूमिका में आना सबसे अधिक पसंद रहा है। इस बार फिर रामलीला के लिए उन्होंने रिहर्सल शुरू कर दी है। कौन हैं बंशीधर भगत? रामलीला के मंच पर कैसे पहुंचे? राजनीति में बुलंदियां कैसे छूईं, चलिए जानते हैं।
शारदीय नवरात्रि में मंच पर आते हैं नजर
बंशीधर भगत नैनीताल जिले के हल्द्वानी के ऊंचापुल क्षेत्र में होने वाली ग्रामीण रामलीला में भगवान श्री राम के पिता दशरथ का दमदार अभिनय करते आ रहे हैं। हर साल होने वाली शरदीय नवरात्रि में उन्होंने रामलीला के अलग-अलग किरदार किए हैं। यह वह दौरा होता है जब भगत राजनीति छोड़ रामलीला के रंगमंच पर नजर आते हैं।
ऐसे हुआ रामलीला के मंच पर पदार्पण
विधायक बंशीधर भगत बताते हैं कि वह पिछले 50 वर्षों से रामलीला के पात्रों का किरदार निभा रहे हैं। 1972 में कुसुमखेड़ा में अंगद व परशुराम किरदार से अभिनय की शुरुआत की। 1976 में ऊंचापुल की रामलीला में मंचन करना शुरू किया। 1979 में पहली बार दशरथ का किरदार निभाया, जो निरंतर चला आ रहा है। एक बार बेरीपड़ाव में भी अभिनय किया।
इन किरदारों को जी चुके हैं भगत
विधायक बंशीधर भगत बताते हैं कि उन्होंने अब तक अंगद, परशुराम समेत दशरथ के पात्र का अभिनय किया है। उनके मुताबिक रामलीला में राम सेवकों का एक परिवार है और वो अपने इस परिवार से अलग नहीं होना चाहते हैं। राजनीति में सक्रिय भगत के अभिनय को देखने के लिए लोग बड़ी संख्या में पहुंचते हैं। राजनीति के मझे हुए खिलाड़ी को रंगमंच पर देखना भी अपने आप में किसी अवसर से कम नहीं है।
भगत का राजनीतिक जीवन
- देश के पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी से प्रेरित होकर राजनीति में आए बंशीधर भगत 1975 में जनसंघ पार्टी से जुड़े। उन्होंने सबसे पहले किसान संघर्ष समिति का मोर्चा संभाला था। रामजन्म भूमि आन्दोलन के दौरान बंशीधर भगत करीब 23 दिन अल्मोड़ा जेल में भी रहे।
- साल 1989 में बंशीधर भगत ने नैनीताल-ऊधम सिंह नगर जिले में अध्यक्ष पद संभाला। 1991 में वह पहली बार उत्तर प्रदेश विधानसभा में नैनीताल से विधायक बने। 1993 में दूसरी और 1996 में तीसरी बार नैनीताल से विधायक बने।
- बंशीधर भगत ने यूपी सरकार में खाद्य और रसद राज्यमंत्री का कार्यभार संभाल। साल 2000 में उत्तराखण्ड राज्य गठन के बाद कैबिनेट मंत्री के पद पर भी बंशीधर ने अपनी ज़िम्मेदारी बखूबी निभाई। 2017 में विधानसभा चुनाव में बंशीधर भगत ने 6वीं जीत हासिल की।
- राजनीति में लम्बा अनुभव रखने वाले बंशीधर भगत को भाजपा आलाकमान ने 2020 में प्रदेश अध्यक्ष के तौर पर राज्य की सियासत की बागडोर सौंपी थी।