यूपी के बाद उत्तराखंड में भी मतांतरण का सीक्रेट ऑपरेशन, हिंदू से मुस्लिम बने युवक-युवतियों का हाथ
रानीपोखरी मामले में पुलिस पूछताछ में चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं। हिंदू लड़कियों को बहला-फुसलाकर धर्म परिवर्तन कराने का षड्यंत्र रचा जा रहा था। नाबालिक मरियम को फेसबुक के जरिए अबु तालिब ने इस्लाम अपनाने के लिए उकसाया और उसे मरियम नाम दिया। उसे दिल्ली ले जाकर निकाह कराने की साजिश थी लेकिन अंतिम समय में वह भाग गई। पुलिस ने गिरोह के लोगों के नामों का खुलासा किया है।

जागरण संवाददाता, देहरादून। हिंदू युवतियों को बहला मतांतरण करवाने के लिए सीक्रेट आपरेशन चलाया जा रहा है। हर काम को योजनाबद्ध तरीके से किया जाता है। रानीपोखरी की युवती से जब पुलिस ने पूछताछ की तो सनसनीखेज बातें सामने आई हैँ।
रानीपोखरी निवासी एक व्यक्ति ने थाना रानीपोखरी में 18 जुलाई को शिकायत दी कि उनकी 21 वर्षीय पुत्री के व्यवहार में कुछ समय से बदलाव आया है। पूछताछ में पता चला कि कुछ मुस्लिम लड़के व मुस्लिम लड़कियां जबरदस्ती उनकी बेटी को बहला फुसलाकर मुस्लिम बनाना चाहते हैं तथा उनकी बेटी को मुस्लिम बनाने के लिए रुपये व अन्य तरह के लालच दे रहे हैं। इस मामले में रानीपोखरी थाने में मुकदमा दर्ज किया गया।
अंतरराष्ट्रीय स्तर का मामला
पीड़िता की काउंसलिग के दौरान पता चला कि मामला अंतरराष्ट्रीय स्तर का है। साथ ही वर्तमान में उत्तर प्रदेश में जनपद आगरा में प्रचलित धर्मांतरण के केस से भी जुड़ा है। विवेचना में पाया गया कि जब पीड़ित उर्फ मरियम (बदला हुआ नाम) नाबालिग थी तो फेसबुक के जरिए उसकी दोस्ती अबु तालिब निवासी किदवई नगर खालापार मुजफ्फरनगर उत्तर प्रदेश से हुई।
उसने इस्लाम धर्म अपनाने के लिए प्रोत्साहित किया और बताया कि इस्लाम अपनाने पर उसकी जिंदगी बहुत अच्छी हो जाएगी। अबू तालिब ने वाट्सएप पर पीड़ित को कलमा भेजकर उसे पढ़वाकर बताया कि अब तुम मुस्लिम बन चुकी हो और उसे मरियम नाम दिया। अबू तालिब ने उसे अपने धनबाद झारखंड के दोस्त अयान से इंटरनेट मीडिया के जरिए मिलवाया और मरियम को उसके घर से भगाकर अयान के साथ निकाह करने का षडयंत्र रचा।
अयान ने पीड़ित को एक वीडियो भेजकर बताया कि भेजे गए सिम से एक बार ओटीपी प्राप्त कर वाट्सएप बिजनेस डाउनलोड करना है और उसके बाद फोन की बैटरी निकालकर फोन के दो टुकड़े कर फोन और बैटरी पानी से भरी बाल्टी में दो दिन तक रखकर कूड़े में फेंक देना है। जब तक वह सुरक्षित रूप से घर से बाहर नहीं निकलती है तब तक केवल वाट्सएप से ही बात करनी है ।
मरियम को रानीपोखरी से बाहर निकालने के लिए अब्दुर रहमान भी लगातार संपर्क कर रहा था व तालिब व आयशा के संपर्क में रहकर रानीपोखरी तक कैब भी भेजी। मरियम ने अंतिम समय पर घबराकर बाहर निकलने से इंकार कर दिया गया।
आरोपितों की ओर से बनाई गई योजना के अनुसार मरियम को सकुशल रूप से निकालकर दिल्ली में अब्दुल रहमान के घर सेफ हाउस में रखा जाना था बाद में मौका देखकर उसका मतांतरण कराकर अयान से निकाह कराया जाना था।
हिंदू से मुस्लिम बने युवक-युवतियां दे रहे प्रलोभन
जांच में सामने आया है कि कुछ युवक-युवतियां मतांतरण कर हिंदू से मुस्लिम बने हैं और वहीं हिंदू युवतियों का मतांतरण करवा रहे हैं। इनमें आयशा उर्फ कृष्णा (गोवा), अब्दुर रहमान उर्फ रुपेंद्र प्रताप सिंह (सहसपुर), अब्दुल रहमान उर्फ महेंद्र पाल सिंह (दिल्ली) शामिल हैं।
आयशा उर्फ कृष्णा के माध्यम से मरियम के मतांतरण के लिए आर्थिक सहायता प्राप्त की गई। आयशा ने अबु तालिब को रुपये देकर उसके माध्यम से पीड़ित को आनलाइन कपड़े भिजवाए तथा पीडित को घर से भागने के लिए एक फोन व सिम उपलब्ध करवाया।
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