Hajj Yatra 2021: हज यात्रा को लेकर असमंजस बरकरार, अभी तक जारी नहीं हुई गाइडलाइन
Hajj Yatra 2021 इस वर्ष होने वाली हज यात्रा को लेकर अभी असमंजस बरकरार है। बीते वर्षों में जनवरी अंत तक यात्रा की पहली किस्त जमा करने के बाद फरवरी तक प्रशिक्षण की तिथि तय हो जाती थी पर अभी तक कोई गाइडलाइन जारी नहीं हुई।
जागरण संवाददाता, देहरादून। Hajj Yatra 2021 इस वर्ष होने वाली हज यात्रा को लेकर अभी असमंजस बरकरार है। बीते वर्षों में जनवरी अंत तक यात्रा की पहली किस्त जमा करने के बाद फरवरी तक प्रशिक्षण की तिथि तय हो जाती थी, लेकिन इस बार कोरोनाकाल के चलते अभी तक यात्रा को लेकर कोई गाइडलाइन जारी नहीं हुई है। ऐसे में आवेदक भी यात्रा को लेकर जारी होने वाले दिशा-निर्देश का इंतजार कर रहे हैं।
बीते वर्ष सात नवंबर को हज यात्रा के लिए आवेदन शुरू हुए थे, लेकिन कोरोनाकाल और यात्रा के मानकों में कई बदलाव के चलते कम संख्या में आवेदन आए। जिसके बाद उत्तराखंड राज्य हज समिति ने 10 जनवरी तक आवेदन का एक और मौका दिया था। जिसमें उत्तराखंड से 703 व्यक्तियों ने हज के लिए आवेदन किया। उत्तराखंड राज्य हज समिति के चेयरमैन शमीम आलम का कहना है कि अभी हज कमेटी ऑफ इंडिया की ओर से इस संबंध में नई गाइडलाइन जारी नहीं हुई है। गाइडलाइन के बाद यात्रियों के लिए आगामी तैयारियों को लेकर निर्देश दिए जाएंगे।
हज यात्रा की किस्त की रकम में वृद्धि
हज यात्रा 2021 के लिए इस बार अनुमानित खर्चा 3,70000 से 5,25000 तक आ सकता है। पहले एक हज यात्री के लिए 2,50000 से 3,50000 खर्च करने होते थे। जिसमें प्रथम किस्त 81000 की थी, जो अब तकरीबन 1,50000 रुपये होगी। 30 से 35 दिन की यात्रा के लिए हज कमेटी ऑफ इंडिया की ओर से 20 से 25 किलोग्राम के दो बैग और चार किलोग्राम का एक हैंड बैग दिया जाएगा। यात्रा शुरू करने से 72 घंटे पहले कोरोना टेस्ट अनिवार्य होगा।
पिछली बार का पैसा वापस
उत्तराखंड राज्य हज समिति के चेयरमैन शमीम आलम ने बताया कि बीते वर्ष उत्तराखंड से यात्रा के लिए 1265 लोग का चयन हुआ था। तकरीबन 17 करोड़ रुपये ऑल इंडिया हज कमेटी में जमा थे, लेकिन कोरोना के चलते यात्रा न होने पर सभी के पैसे लौटा दिए गए हैं।
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