Uttarakhand DGP: उत्तराखंड के नए डीजीपी बने दीपम सेठ, 1995 बैच के हैं वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी
Uttarakhand DGP उत्तराखंड के नए पुलिस महानिदेशक (DGP) दीपम सेठ 1995 बैच के भारतीय पुलिस सेवा (IPS) अधिकारी हैं। उन्होंने शेरवुड कॉलेज नैनीताल से सीनियर सेकेण्डरी और BITS पिलानी से इंजीनियरिंग की पढ़ाई की है। पुलिस सेवा में आने के बाद उन्होंने लगातार पढ़ाई जारी रखी और 1997 में ओस्मानिया विश्वविद्यालय से पुलिस प्रबंधन में मास्टर्स की डिग्री हासिल की।

जागरण संवाददाता, देहरादून। 1995 के आईपीएस अधिकारी दीपम सेठ ने उत्तराखंड पुलिस मुख्यालय पहुंचकर डीजीपी का पदभार संभाल लिया है। इस मौके पर उन्हें गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया। एडीजी स्तर के कई अधिकारियों ने उनका स्वागत किया और उनको बधाई दी है ।
इस मौके पर उन्होंने अपनी प्राथमिकता भी गिनाई है उनका कहना है कि उत्तराखंड में कानून व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए काम किया जाएगा। साथ ही उत्तराखंड में आमजन की समस्याओं के निस्तारण के पर सबसे ज्यादा फोकस होगा। इसी तरह से यातायात व्यवस्था को लेकर भी बेहतर प्लान बनाने की बात कही।
कानून व्यवस्था बेहतर करने के लिए इनामी बदमाशों की गिरफ्तारी का अभियान
डीजीपी दीपम सेठ का कहना है कि उत्तराखंड पुलिस सभी चुनौतियों का मुकाबला करने के लिए सक्षम है ऐसे में उत्तराखंड के पुलिस जवान बेहतर काम करेंगे। उनका कहना है कि अपराधियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
इनामी बदमाशों की गिरफ्तारी के लिए अभियान चलाया जाएगा। कानून व्यवस्था बेहतर हो इसके लिए सत्यापन प्रक्रिया को और तेज किया जाएगा। डीजीपी दीपक सेठ का कहना है कि लापरवाही करने वाले अधिकारियों और कर्मचारियों के खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी।
देहरादून मुख्य सचिव राधा रतूड़ी से सचिवालय में नवनियुक्त पुलिस महानिदेशक दीपम सेठ ने भेंट की |
दीपम सेठ के डीजीपी बनने पर रिश्तेदारों में खुशी
दीपम सेठ को उत्तराखंड का नया डीजीपी बनाए जाने के बाद यहां उनके रिश्तेदारों में भी खुशी का माहौल है। दीपम का परिवार उत्तर प्रदेश के शाहजहांपुर जिले के चौक स्थित कूंचालाला मुहल्ले में रहता था। उनके पिता राधारमण सेठ चिकित्सक थे।
शुरुआती शिक्षा शाहजहांपुर के सेंट पाल इंटर कालेज में हुई। उसके बाद वह पढ़ने के लिए नैनीताल चले गए। लगभग 22 वर्ष पूर्व पिता राधारमण सेठ भी यहां से मकान व अन्य संपत्ति बेचकर परिवार के साथ बरेली में जाकर रहने लगे।
राधारमण के चचेरे भाई व्यापार मंडल के जिला महामंत्री सुरेंद्र सेठ ने बताया कि दीपम के छोटे भाई अनुपम सेठ व उनकी पत्नी बरेली के केशलता अस्पताल में चिकित्सक हैं। उन्होंने बताया कि दीपम के इस मुकाम तक पहुंचने में भाभी पुष्पा का अहम याेगदान रहा।
सिविल सर्विस की तैयारी के लिए वह उन्हें प्रेरित करती रहीं। हालांकि सात वर्ष पूर्व उनका निधन हो गया था। सुरेंद्र सेठ ने बताया कि भतीजे से पिछले काफी समय से भेंट तो नहीं हो सकी, लेकिन इतनी बड़ी जिम्मेदारी मिलने की जानकारी मिली तो फोन करके बधाई दी है।
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