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स्थापना दिवस : बागेश्वर की सिल्वर जुबली रहेगी विकास के नाम, 1985 में उठी थी पहली बार जिले की मांग

बागेश्वर जिला स्थापना के 26वें वर्ष में प्रवेश कर रहा है। 15 सितंबर को इसे 25 साल पूरे हो जाएंगे। वर्ष 1997 में इसी दिन उत्तर प्रदेश की तत्कालीन मुख्यमंत्री मायावती ने जिले की घोषणा की। 25 वर्ष में जिले का विकास अग्रसर है।

By Rajesh VermaEdited By: Published: Wed, 14 Sep 2022 10:50 PM (IST)Updated: Wed, 14 Sep 2022 10:50 PM (IST)
स्थापना दिवस : बागेश्वर की सिल्वर जुबली रहेगी विकास के नाम, 1985 में उठी थी पहली बार जिले की मांग
1985 में उठी थी बागेश्वर जिले पहली बार मांग

घनश्याम जोशी, बागेश्वर : 15 सितंबर को बागेश्वर जिला स्थापना के 26वें वर्ष में प्रवेश करेगा। वर्ष 1997 में इसी दिन जिला अस्तित्व में आया था। 1985 से जिले की मांग उठी। अलग-अलग पार्टियों और क्षेत्रीय लोगों ने आंदोलन भी किए। उत्तर प्रदेश की तत्कालीन मुख्यमंत्री मायावती ने जिले की घोषणा की। 25 वर्ष में जिले का विकास अग्रसर है।

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दानपुर के नाम से जाना जाता था यह क्षेत्र

बागेश्वर क्षेत्र ऐतिहासिक तौर पर दानपुर के नाम से जाना जाता था और सातवीं शताब्दी के समय यहां कत्यूरी राजवंश का शासन था। सरयू-गोमती के संगम पर स्थित है। पुरा कथाओं में भगवान शिव के बाघ रूप धारण करने वाले इस स्थान को व्याघ्रेश्वर और बागीश्वर से कालांतर में बागेश्वर के रूप में जाना जाता है। जिला बनने के बाद विकास बढ़ा। जिला अस्पताल, पिटकुल की स्थापना, डिग्री कालेज कैंपस, रोडवेज डिपो समेत लगभग प्रत्येक गांव तक सड़क पहुंच गई है। नगर पालिका के अलावा गरुड़ और कपकोट नगर पंचायत बन गई है। जबकि कौसानी को नगर पंचायत बनाने का प्रस्ताव है। कौसानी पर्यटक स्थल के अलावा सुंदरढूंगा घाटी, पिंडारी और कफनी ग्लेशियरों को पहचान मिली। पिंडारी ईयर आफ द ट्रैक घोषित हुआ है। बैजनाथ में झील का निर्माण और बागनाथ मंदिर प्रसाद योजना में बन रहा है। अलबत्ता विकास की सीढ़ी चढ़ने को जिला निरंतर अग्रसर है।

क्या कहते हैं जनप्रतिनिधि

कपकोट के विधायक सुरेश गढ़िया ने कहा कि जिला अस्पताल की स्थिति में इस वर्ष सुधार होगा। सीटी स्कैन लगाई जाएगी। जिसके लिए विश्वबैंक से धनराशि मिल रही है। राधाकृष्ण मंदिर से लगा अस्पताल परिसर को ध्वस्त किया जाएगा। जिसमें 60 कमरे बनेंगे। पार्किंग भी बनाई जाएगी। कैंसर, किडनी, लंग्स आदि रोगियों को जिला अस्पताल में उपचार मिलेगा।

गांव-गांव तक पहुंचेगा पानी

सरयू नदी पर 54 करोड़ रुपये से पेयजल योजना बनेगी। बैड़ा, बिजोरिया, दोफाड़, पुड़कुनी, कांडा-कमस्यार तक

पेयजल की आपूर्ति होगी।

संचार सेवा पहुंचेगी गांव

संचार सेवा को गांव तक पहुंचाया जाएगा। कपकोट के सुदूरवर्ती गांवों में टावर लगाने के लिए भूमि का चयन किया जा रहा है।

डिग्री कालेज में खुलेंगे नए विषय

कपकोट डिगी कालेज में बीएससी, समाज शास्त्र, अंग्रेजी, राजनीतिशास्त्र, बीए में भूगोल आदि नए विषयों से पढ़ाई होगी। प्राथमिक से लेकर इंटर कालेजों में शिक्षकों की तैनाती की जाएगी।

बागेश्वर विधानसभा में बढ़ेगा विकास

कैबिनेट मंत्री चंदन राम दास ने कहा कि रोडवेज डिपो बन गया है। उत्तराखंड का 19 वां रोडवेज डिपो है। 21 बसों का संचालन किया जा रहा है। दूसरे चरण में नगर सीवर लाइन पर फोकस है। गांवों तक सड़कें लगभग बन गई हैं। उनका विस्तार और डामरीकरण आदि होगा। प्रसाद योजना से बागनाथ मंदिर का सुंदरीकरण किया जाएगा।


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