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    Varanasi News: गंगा किनारे पुराने मकानों पर लगे मोबाइल टावर से जान को खतरा, एक्शन की तैयारी में VDA

    Updated: Tue, 06 May 2025 07:16 PM (IST)

    वाराणसी में गंगा किनारे जर्जर मकानों पर लगे मोबाइल टावर निवासियों के लिए खतरा बन गए हैं। गंगा घाट पर नए निर्माण पर प्रतिबंध के कारण अधिकांश मकान 100 वर्ष से अधिक पुराने हैं। वाराणसी विकास प्राधिकरण (VDA) ने इन टावरों को चिह्नित करने और कार्रवाई करने के आदेश दिए हैं ताकि किसी भी संभावित दुर्घटना से बचा जा सके।

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    तस्वीर का इस्तेमाल प्रतीकात्मक प्रस्तुतिकरण के लिए किया गया है। जागरण

    जागरण संवाददाता, वाराणसी। गंगा किनारे पुराने और जर्जर मकानों पर लगे विभिन्न कंपनियों के मोबाइल टावरों से रहवासियों को जान का खतरा है। गंगा घाट के किनारे नए निर्माण पर रोक होने के चलते ज्यादातर मकान 100 वर्ष से अधिक पुराने हैं।

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    चोरी-छिपे किसी ने नया निर्माण कर लिया तो बात अलग है। गंगा घाट किनारे के मकान एक-दूसरे से सटे नहीं होते तो कई अब तक गिर चुके होते। पुराने मकानों पर लगे मोबाइल टावरों से खतरा को लेकर विकास प्राधिकरण उपाध्यक्ष पुलकित गर्ग ने चिह्नित करने का आदेश तक दिया था। चिह्नित हुई या नहीं यह कोई बताने वाला नहीं है। कार्रवाई तो कोसो दूर है।

    गंगा किनारे से 200 मीटर के दायरे में नया निर्माण नहीं हो सकता है। ज्यादातर मकान 100 वर्ष से अधिक पुराने है, उनकी हालत काफी दयनीय है। कई मकान के छत बल्ली व गडर के सहारे रुके हैं। कोई झटका लगने पर कभी-भी गिर सकते हैं।

    200 मीटर के दायरे में जनहित में मरम्मत की अनुमति मिलती है लेकिन ज्यादातर लोग लेते नहीं है। हादसे की संभावना को देखते हुए वाराणसी विकास प्राधिकरण उपाध्यक्ष पुलकित गर्ग ने गंगा किनारे वाले वार्डों के जोनल अधिकारी और अवर अभियंता को निर्देश दिया है कि टावर लगे एक-एक मकानाें को चिह्नित करने के साथ उसकी मजबूती देखें।

    जांच में यह देखे कि मकान कब का बना है, उसकी हालत क्या है, कितने मंजिल का है और मकान मालिक व मोबाइल कंपनी ने संबंधित विभागों से अनुमति ली है या नहीं। निर्माण कमजोर मिलने पर भवन स्वामी को नोटिस जारी करने के साथ कार्रवाई करें।

    राहत कार्य पहुंचाने में परेशानी

    गंगा किनारे पक्का महाल इलाका गलियों का है। यहां दो पहिया वाहन नहीं चल पाते हैं। कई गलियों में पैदल चलने में परेशानी होती है। मोबाइल टावर में शार्ट-सर्किट, आग लगने और मकान में कोई हादसा होने पर बचाव या राहत कार्य पहुंचाने में काफी परेशानी होगी। ऐसे में बड़े हादसे से इंकार नहीं किया जा सकता है।

    गंगा किनारे ये वार्ड

    आदमपुर
    कोतवाली
    चौक
    भेलपुर 
    नगवां

    गंगा किनारे पुराने मकान होने के बावजूद कुछ लोगों ने छत पर मोबाइल टावर लगा दिया है जो सुरक्षा के दृष्टि से गलत है। मोबाइल टावर लगे मकानों को चिह्नित कर नोटिस जारी किया जाएगा।

    -पुलकित गर्ग, उपाध्यक्ष, वीडीए


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