UP के इस शहर में CCTV का जाल बेअसर, थाने के पीछे तक चोरों के हौसले बुलंद
सिद्धार्थनगर जिले में ऑपरेशन त्रिनेत्र के तहत CCTV कैमरे लगने के बावजूद चोरियाँ थम नहीं रही हैं। चोर पुलिस को चुनौती देते हुए गश्त व्यवस्था की पोल खोल रहे हैं। बीते एक सप्ताह में चिल्हिया इटवा और सदर थाना क्षेत्रों में कई बड़ी चोरियाँ हुईं हैं जिनमें लाखों के जेवर और नकदी शामिल है। पुलिस का कहना है कि टीमें गठित कर चोरियों का पर्दाफाश किया जाएगा।
जागरण संवाददाता, सिद्धार्थनगर। जिले में कानून-व्यवस्था को मजबूत बनाने और अपराधियों की निगरानी के लिए ‘आपरेशन त्रिनेत्र’ के तहत पांच हजार से अधिक सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं। लेकिन हालात यह हैं कि इन कैमरों के बावजूद चोरियों का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा।
चोर लगातार पुलिस को चुनौती दे रहे हैं और गश्त व्यवस्था की पोल खोल रहे हैं। सबसे चिंताजनक बात यह है कि चोरी की कई वारदातें थाने के पास तक हो रही हैं। इससे पुलिस की सक्रियता पर गंभीर सवाल उठ रहे हैं।
बीते एक सप्ताह में जिले के अलग-अलग इलाकों में कई बड़ी चोरियां हो चुकी हैं। चिल्हिया थाना क्षेत्र में दो बड़ी घटनाएं सामने आईं। इटवा और सदर थाना क्षेत्रों में भी चोरी की वारदातें दर्ज हुईं। यह सब उस वक्त हो रहा है जब पुलिस दावा करती है कि वह निगरानी पर विशेष ध्यान दे रही है। लेकिन ये घटनाएं बता रही हैं कि चोर न केवल बेखौफ हैं, बल्कि पुलिस की व्यवस्था को सीधी चुनौती दे रहे हैं।
नौ अगस्त की रात इटवा थाना क्षेत्र के सहदेइयां गांव में चोरों ने एलआईसी अभिकर्ता राहुल पाठक के घर में घुसकर लाखों रुपये के कीमती जेवर, पंद्रह हजार रुपये नकदी, मोबाइल फोन और एक रिवाल्वर तक चोरी कर ली।
खास बात यह है कि घटना के समय परिवार घर पर था। चोरों के पास इतना समय था कि उन्होंने पूरी तसल्ली से कमरे खंगाले। लोगों का कहना है कि चोरों ने यहां एक घंटे से अधिक समय बिताया होगा। घर में रिवाल्वर होना भी इस बात का संकेत है कि परिवार सामाजिक रूप से प्रभावशाली है। बावजूद इसके चोरों के हौसले इतने बुलंद थे कि किसी डर के बिना वारदात को अंजाम दिया।
14 अगस्त की रात सदर थाना पुलिस के ठीक पीछे लगभग 50 मीटर की दूरी पर शिक्षक मधुर श्याम तिवारी के घर को चोरों ने निशाना बनाया। घर में परिवार मौजूद नहीं था और चोर लाखों रुपये के आभूषण व नकदी लेकर फरार हो गए।
सवाल यह है कि जब थाने के पीछे सुरक्षित नहीं है तो अन्य इलाकों की सुरक्षा कैसी होगी। चिल्हिया थाना क्षेत्र में भी हालात गंभीर हैं। 13 अगस्त की रात चोरों ने नितेश श्रीनेत के घर में सेंध लगाकर करीब चार लाख रुपये की चोरी की। इसके बाद 16 अगस्त की रात बेलगड़ा गांव में शिवकुमार यादव के घर के पीछे की दीवार काटकर चोरों ने ढाई लाख रुपये के जेवर और 15 हजार रुपये नकदी पार कर ली।
ये घटनाएं साफ कर देती हैं कि जिले में सभी तरह के चोर सक्रिय हैं। कोई घर खाली देखकर वारदात कर रहा है, तो कोई परिवार के मौजूद रहने पर भी चोरी करने से नहीं हिचक रहा। जिले में आपरेशन त्रिनेत्र के तहत सीसीटीवी कैमरे लगे होने के बावजूद लोग सुरक्षित नहीं हैं।
चोर न केवल कैमरों से बचकर निकल रहे हैं बल्कि ऐसे स्थानों पर वारदात कर रहे हैं, जहां पुलिस की मौजूदगी मानी जाती है। इन घटनाओं से यह भी साफ है कि गश्त व्यवस्था कमजोर है। लोगों का कहना है कि पुलिस रात में मुख्य मार्गों तक ही सीमित रहती है, जबकि गांवों और आंतरिक सड़कों पर गश्त लगभग बंद है।
यहां तक कि कुछ साल पहले तक निबंधन कार्यालय के बगल से गुजरने वाली सड़क पर पुलिस गश्त करती थी, लेकिन अब वहां रात में खुलेआम लोग जुआ खेलते और शराब पीते नजर आते हैं। खेसरहा, इटवा और त्रिलोकपुर थाना क्षेत्रों की पुलिस ने कुछ चोरी की घटनाओं का पर्दाफाश जरूर किया है, पर हाल की वारदातों ने इन उपलब्धियों को फीका कर दिया है। चोर अब वारदातों को अंजाम देने के बाद क्षेत्र छोड़ने के बजाय बार-बार लौटकर चोरी कर रहे हैं। ऐसा लगता है कि उन्हें पुलिस से कोई भय नहीं है।
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तमाम चोरियों का पर्दाफाश हुआ है। हाल की चोरियों के पर्दाफाश के लिए टीमें बनाई गई हैं। पुराने बदमाशों का सत्यापन किया जा रहा है। चोरियों का पर्दाफाश होगा। सभी चोर पकड़े जाएंगे।
-डा.अभिषेक महाजन, पुलिस अधीक्षक
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