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    Flood in Siddharthnagar: एक ही दिन टूटे तीन तटबंध, भारी तबाही- सैकड़ों गांवों का मुख्यालय से संपर्क कटा

    By Pradeep SrivastavaEdited By:
    Updated: Fri, 14 Oct 2022 02:25 PM (IST)

    Flood devastation in Siddharthnagar उत्तर प्रदेश के सिद्धार्थनगर में बाढ़ से भारी तबाही हुई है। एक ही दिन में तीन बांध टूटने से सैकड़ों गांवों में बाढ ...और पढ़ें

    Flood in Siddharthnagar: सिद्धार्थनगर में बाढ़ से भारी तबाही हुई है। - जागरण

    सिद्धार्थनगर, जागरण टीम। सिद्धार्थनगर में एक ही दिन में तीन बांध टूटने से भारी तबाही मची है। सैकड़ों गांवों में बाढ़ का पानी घुस गया है। सड़कों पर बाढ़ का पानी आ जाने से कई गांवों का संपर्क कट गया है। सोनौली नानकार के पास अशोगवा-मदरहवा बांध, बूढी राप्ती नदी के दक्षिणी छोर पर स्थित सूपा-अशोगवा बांध डड़िया गांव के पास और शोहरतगढ़ तहसील क्षेत्र के नकही गांव के दक्षिण लमुइया गांव के पास बांध टूट गया। इससे पूरे जिले में भारी तबाही हुई है। बांधों के टूटने से कई गांवों का जिला मुख्यालय और प्रमुख मार्गों से संपर्क कट गया है।

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    अशोगवा-मदरहवा बांध टूटने से तबाही

    सोनौली नानकार के पास अशोगवा-मदरहवा बांध टूट गया है। कटान का दायरा बढ़ता ही जा रहा है। निकट के गांवों में बाढ़ का पानी तेजी से भरने लगा है। कई घर ऐसे हैं, जिसका आधा हिस्सा पानी में डूब गया है। विकट हालात देखकर कुछ लोग छतों पर शरण लिए हैं तो बहुत सारे ग्रामीण पलायन करते हुए सुरक्षित बंधे पर ठिकाना बना रहे हैं।

    पांच अन्य स्थानों पर बांध में रिसाव हो रहा है। जिससे काफी दहशत है, भारी तबाही की कहानी लिखने को बूढ़ी राप्ती आतुर है। बांध टूटने से आसपास के दर्जनों गांवों में बाढ़ का पानी घुस गया है। कई और गांवों पर भी खतरा मंडरा रहा है। 

    इन बंधों के भी टूटने का खतरा

    सोनौली के पास बांध टूटने के बाद कुछ अन्य स्थानों पर दबाव बढ़ रहा है। लमुइया, मधवापुर, होरिलापुर, परसोहिया, बजराभारी में भी बांध रिसाव कर रहा है। सिंचाई विभाग के अधिकारी इसको बचाने में जुटे हैं, यदि कहीं और बांध कटा तो कई और गांवों में तबाही मच सकती है।

    सूपा-अशोगवा बांध टूटा, खतरे में सौ से अधिक गांव

    बूढी राप्ती नदी के दक्षिणी छोर पर स्थित सूपा-अशोगवा बांध डड़िया गांव के पास कट गया। इससे फजिहतवा नाले व बूढ़ी राप्ती के मध्य बसे सौ से अधिक गांवों पर जहां खतरा मड़रा रहा। वहीं डड़िया गांव के चार घर पानी में विलुप्त हो गए हैं। बांध करीब 20 मीटर की लंबाई में पानी के दबाव से बह गया। डड़िया निवासी चीनक, शंभू, लल्ले, इल्ले का घर बाढ के पानी में डूब गया। हालांकि कोई जन हानि नहीं हुई। भगौतापुर, भटौली, छबीले डीह, नगवा, कोड़री, बलुआ, खम्हरिया सहित सौ गांव पूरी तरह जलमग्न हो चुके हैं। चेतिया- सूपा मार्ग पर बिहरा चौराहा व दसिया के पूरब सड़क पर दस फिट पानी चल रहा है। माना जा रहा है कि यदि जलस्तर में कमी नहीं हुई तो चेतिया-जिगिनिहवा मार्ग पर भी पानी चढ़ जाएगा। इससे इटवा तहसील के भी दो दर्जन से अधिक गांव बाढ़ की चपेट में आ जाएंगे।

    लमुइया गांव के पास टूटा बांध

    शोहरतगढ़ तहसील क्षेत्र के नकही गांव के दक्षिण लमुइया गांव के पास बांध टूटने से आसपास के गांव में अफरा तफरी मच गई है। कुछ ही मिनट में लमुइया, नकही, कोटिया, नईदहर, बैचनथा गांव में बाढ़ से घिर गए। एसडीएम उत्कर्ष श्रीवास्तव ने बताया कि मौके पर हैं। स्थिति पर निगाह बनाए हुए हैं।

    डुमरियागंज राप्ती पुल से भारी वाहनों का प्रवेश बंद

    बेवां- ढेबरुआ राज्य मार्ग संख्या 75 पर इटवा से बढ़नी के बीच पहले से बाढ़ का पानी चढ़ा हुआ है। अब डुमरियागंज में भी शाहपुर-पचऊथ के बीच सड़क पर उफनाई राप्ती नदी का पानी भर गया है। नदी का पानी कस्बा स्थित पुल छूने को आतुर है। खीरा मंडी में अधिकांश दुकाने बाढ़ के पानी में डूब रही हैं। नदी की बढ़ती रफ्तार से सुरक्षा के लिए जगह-जगह रिसाव प्रारंभ हो गया है।

    ग्रामीण रतजगा करके बांध की निगरानी कर रहे हैं। गुरुवार को बांध में रिसाव की सूचना मिलने पर पूर्व विधायक व हियुवा के प्रदेश प्रभारी राघवेंद्र प्रताप सिंह ने तेनुहार उर्फ कठौतिया गांव का निरीक्षण बीडीओ के साथ करते हुए पीड़ितों तक राहत पहुंचाने के निर्देश दिए। कोतवाल संजय मिश्रा ने बताया कि नदी के बढ़े दबाव के कारण भारी वाहनों का आवागमन डुमरियागंज राप्ती पुल से बंद करा दिया गया है। पानी का दबाव कम होने पर इसे चालू किया जाएगा।

    पूर्व मंत्री ने किया निरीक्षण

    प्रदेश सरकार के पूर्व मंत्री डा. सतीश द्विवेदी ने गुरुवार को बाढ़ प्रभावित गांवों मधवापुर, होरिलापुर, गोनरा, गोरडीह, नवेल,गौरा बाज़ार आदि का दौरा किया। सोनौली नानकार में अशोगवा-मदरहवा बांध कटने की सूचना पर कटान स्थल पर पहुंचकर निरीक्षण किया।