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    'काली पट्टी बांधकर विरोध करना हमारा अधिकार...', सांसद बर्क ने ईद की नमाज पढ़ी; Waqf Bill पर कह दी बड़ी बात

    Updated: Mon, 31 Mar 2025 05:29 PM (IST)

    संभल में सांसद जियाउर्रहमान बर्क ने ईद की सामूहिक नमाज अदा की और कहा कि यह हमारी धार्मिक परंपरा का हिस्सा है। उन्होंने वक्फ संशोधन बिल का विरोध किया इसे 40 करोड़ लोगों के हकों के खिलाफ बताया। बर्क ने काली पट्टी पहनकर विरोध करने को लोकतांत्रिक अधिकार बताया और कहा कि यह लड़ाई सड़कों संसद और न्यायालय में जारी रहेगी।

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    सांसद बर्क ने ईदगाह में अदा की नमाज, बोले- वक्फ बिल का विरोध जारी रहेगा। (तस्वीर जागरण)

    जागरण संवाददाता, संभल। आदमपुर रोड स्थित ईदगाह में सांसद जियाउर्रहमान बर्क ने ईद की सामूहिक नमाज अदा की। नमाज के बाद उन्होंने कहा कि यह कोई बड़ी बात नहीं है, बल्कि यह हमारा धार्मिक फर्ज है। उन्होंने बताया कि जुमा, अलविदा जुमा और ईद की नमाज हमेशा सामूहिक रूप से अदा की जाती है, जो हमारी धार्मिक परंपरा का हिस्सा है।

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    इस्लाम में इन नमाजों का सामूहिक रूप से अदा करना अनिवार्य है और इसे घर पर नहीं पढ़ा जा सकता। सांसद बर्क ने यह भी कहा कि देशभर में करोड़ों मुसलमानों ने ईद की नमाज अदा की, जो यह साबित करता है कि यह हमारी धार्मिक परंपरा का अहम हिस्सा है और यह हमारे विश्वास और संस्कृति का परिचायक है।

    सांसद बर्क ने ईद की नमाज अदा की

    सांसद ने हिंदू समाज से कोई आपत्ति न होने की बात भी कही और कहा कि उनका धर्म किसी भी तरह की नफरत या असहमति को बढ़ावा नहीं देता। उन्होंने बताया कि उनका विरोध किसी एक समुदाय से नहीं है, बल्कि उनका सवाल यह है कि जब एक संप्रदाय को सड़कों पर त्योहार मनाने की अनुमति मिलती है तो केवल 10 मिनट की नमाज के लिए दोहरे मापदंड क्यों अपनाए जाते हैं। यह सवाल उन्होंने उठाया और कहा कि हर धर्म और समुदाय को समान अधिकार मिलना चाहिए।

    सांसद ने वक्फ संशोधन बिल पर जताई चिंता

    इसके बाद सांसद बर्क ने वक्फ संशोधन बिल पर भी अपनी चिंता जताई। उन्होंने बताया कि जुमातुल अलविदा के दिन काली पट्टी बांधकर इस बिल का विरोध किया गया था। हालांकि, ईद के दिन यह संदेश सभी तक नहीं पहुंच सका, लेकिन जिन्होंने काली पट्टी बांधकर विरोध किया और जो नहीं बांध सके, वे सभी इस बिल के खिलाफ हैं। सांसद ने इस बिल को 40 करोड़ लोगों के हकों के खिलाफ बताया और कहा कि यह बिल हमारे अधिकारों को छीनने की कोशिश है।

    वक्फ संसोशन बिल का विरोध जारी रहेगा- बर्क

    उन्होंने यह भी कहा कि उनका विरोध पूरी तरह से शांतिपूर्ण और लोकतांत्रिक है। यह उनका अधिकार है कि वे काली पट्टी बांधकर विरोध करें या धरना दें, और इसमें किसी को भी आपत्ति नहीं होनी चाहिए। सांसद ने यह स्पष्ट किया कि इस बिल के खिलाफ लड़ाई केवल सड़कों पर नहीं, बल्कि संसद और न्यायालय में भी लड़ी जाएगी। उनका उद्देश्य इस बिल को निरस्त कराना और उन अधिकारों की रक्षा करना है, जो इस बिल से छीनने की कोशिश की जा रही है।

    कहा कि जिन्होंने काली पट्टी बांधी वह भी और जिन्होंने नहीं बांधी वह भी इस बिल के विरोध में है, क्योंकि यह बिल हमारे हकों और 40 करोड़ लोगों के हकों को छीनने का है।

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