यूपी में लोगों के मकानों पर क्यों लगाए गए लाल निशान? एक मस्जिद भी शामिल; मची खलबली
संभल के हातिम सराय में तालाब की जमीन पर अवैध निर्माण के मामले में प्रशासन ने कार्रवाई की है। तहसीलदार ने मौके पर पहुंचकर लोगों से जमीन के कागजात मांगे लेकिन किसी के पास कोई सबूत नहीं था। इसके बाद राजस्व विभाग ने तालाब की भूमि पर अतिक्रमण को चिह्नित करते हुए लाल निशान लगा दिए जिसमें मकान और एक मस्जिद भी शामिल है।

जागरण संवाददाता, संभल। नगर के मुहल्ला हातिम सराय में तालाब की भूमि पर निर्माण के मामले में प्रशासन की ओर से लोगों को नोटिस जारी किए गए थे। जहां तीन दिन बाद तहसीलदार मौके पर पहुंचे और लोगों से जमीन खरीद के साक्ष्य दिखाने के लिए कहा गया, लेकिन इसके बाद भी किसी ने कोई कागज नहीं दिखाया। ऐसे में राजस्व विभाग की ओर से तालाब की भूमि पर हुए अतिक्रमण को चिंहित करते हुए उस पर लाल निशान लगवा दिए, जिसमें मकानों के साथ साथ एक मस्जिद भी शामिल है।
मालूम हो कि शनिवार को राजस्व विभाग की ओर से नगर के मुहल्ला हातिम सराय में करीब 80 लोगों को नोटिस दिए गए थे, जिसमें उन पर आरोप लगाया गया था कि उनके द्वारा तालाब की भूमि पर अवैध रूप से कब्जा कर निर्माण किया गया है। नोटिस में उन्हें 15 दिन का समय देते हुए साक्ष्य देने के लिए कहा था, जिससे पता लग सके कि उनके द्वारा यह भूमि किस से और किस प्रकार खरीदी गई थी।
प्रशासन की ओर से नोटिस देने के बाद भी तालाब की भूमि पर निर्माण करने वाले लोगों की ओर से कोई भी जवाब या साक्ष्य अधिकारियों को नहीं दिया गया। ऐसे में मंगलवार को तहसीलदार धीरेंद्र सिंह लेखपालों की टीम के साथ मौके पर पहुंचे और वहां मौका मुआयना करते हुए लोगों से जानकारी करने का प्रयास किया, लेकिन कोई भी कुछ बोलने को तैयार नहीं था। इस पर उन्होंने वहां भूमि खरीद व निर्माण से संबंधित कागज को दिखाने के लिए कहा, लेकिन कोई भी कुछ नहीं दिखा सका। इस पर उन्होंने तालाब की भूमि पर निर्माण हुए मकानों पर लाल रंग से निशान लगवा दिए। जहां तालाब की भूमि पर इन मकानों व प्लाट के साथ एक मस्जिद भी है, जिस पर मस्जिद ए हाजरा का फ्लैक्स लग रहा था।
इस मामले में तहसीलदार धीरेंद्र सिंह ने बताया कि नगर के मुहल्ला हातिम सराय में मोहन तालाब की भूमि पर कुछ लोगों ने मकान बना लिए हैं। इसके लिए शनिवार को नोटिस जारी किए गए थे, जिसमें 15 दिन का समय दिया गया था। आज जब मुहल्ले में पहुंचे और लोगों से बात की तो पता चला कि इन्हें जिसने इस भूमि को बेचा वह कौन है और उसका इस भूमि पर स्वामित्व था या नहीं, इसके बारे में कुछ पता नहीं है।
ऐसे में इन्हें मौका दिया गया है कि वह लिखित में तहसील कार्यालय आकर अपना जवाब दें कि यह जमीन किससे और कैसे खरीदी है। इसलिए मौके पर निशानदेही कराकर लाल रंग से निशान लगवाए गए हैं। उन्होंने कहा कि इसमें एक मस्जिद भी है। जहां मैं टीम के साथ गया था, लेकिन उसका कोई प्रबंधक या मुतवल्ली सामने नहीं आया है। ऐसे में उस पर भी निशान लगवाकर आसपास के लोगों को बता दिया गया है कि वह उन्हें सूचना दे दें।
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