Meerut: ट्रामा सेंटर में गोवंशियों के उपचार में लापरवाही, सात की मौत, गुस्साए पार्षदों का जमकर हंगामा, धरने पर बैठे
Meerut News मेरठ में कान्हा उपवन के बाद सूरजकुंड स्थित पशु ट्रामा सेंटर में सात गोवंशियों की मौत के बाद हंगामा हो गया। पार्षदों ने लापरवाही का आरोप लगाते हुए धरना शुरू कर दिया।अधिकारियों का कहना है कि पशुओं की देखभाल में कोई कमी नहीं बरती गई। महापौर हरिकांत अहलूवालिया ने कमिश्नर और डीएम को पत्र लिखकर मामले की निष्पक्ष जांच का आश्वासन दिया।

जागरण संवाददाता, मेरठ। कान्हा उपवन का प्रकरण अभी शांत भी नहीं हुआ कि एक बार फिर सात गोवंशियों की मौत का मामला सामने आया है। नगर निगम के सूरजकुंड स्थित पश्चिम ट्रामा सेंटर और वाहन में मृत पड़े गोवंशियों की सूचना मिलने पर पार्षद संजय सैनी और पार्षद पवन चौधरी अपने साथियों के साथ पशु ट्रामा सेंटर पहुंचे और हंगामा शुरू कर दिया। मौके पर धरने पर बैठ गए। इससे नगर निगम और पशु चिकित्सा विभाग के अधिकारियों में खलबली मच गई। इस मामले में महापौर हरिकांत अहलूवालिया ने मौके पर पहुंचकर पार्षदों से कमिश्नर और डीएम को पत्र लिखकर मामले की निष्पक्ष जांच का आश्वासन दिया।
पार्षदों ने मांग की है कि नगर आयुक्त तत्काल पशु ट्रामा सेंटर से संबंधित अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई करें और निष्पक्ष जांच कराएं। पार्षदों का आरोप है कि पशु ट्रामा सेंटर में कुल सात गोवंशियों की मौत हुई है।
बीमार और घायल गोवंशियों के उपचार और उनकी देखभाल में लापरवाही बरती गई। चारा पानी नहीं दिया गया। सफाई नहीं की गई। मौके पर पहुंचे अपर नगर आयुक्त पंकज कुमार सिंह का कहना है कि पशु चिकित्सकों के द्वारा जो भी व्यवस्था के संबंध में कहा गया वह नगर निगम ने उपलब्ध कराया है।
नगर निगम ने यह जगह पशु ट्रामा सेंटर के लिए दी है। इसके अंदर एक कूलर, पंखा और पशुओं के लिए रबड़ के गद्दे भी डलवाए हैं । तीन कर्मचारियों की ड्यूटी सफाई और देखभाल के लिए पशु चिकित्सकों के साथ लगाई गई है, वहीं पशु ट्रामा सेंटर के इंचार्ज डॉक्टर महावीर सिंह ने कहा कि कुल तीन गोवंशी की मौत हुई है। जिसमें दो ट्रामा सेंटर में गंभीर रूप से बीमार गोवंश हैं और एक गोवंश मवाना बस अड्डे पर पेट्रोल पंप के पास रात में लाया गया है। जिसका एक्सीडेंट हुआ था और मौके पर ही मृत्यु हो गई थी।
सुबह उसका अंतिम संस्कार किया जाना था। पशु ट्रामा सेंटर में गंभीर रूप से बीमार और रोड एक्सीडेंट में गंभीर घायल पशुओं को रखा जाता है। कल तक कुल 11 गोवंशी यहां भर्ती थे, अब नौ बचे हैं। पशु चिकित्सक ने कहा कि छह बीमार गोवंशी में कमजोरी हैं। तीन एक्सीडेंट के हैं। न्यूट्रीशनल डिफिशिएंसी है। चारा पानी अपने आप नही कर पाते हैं।
गोवंशियों की मौत के मामले में महापौर हरिकांत अहलूवालिया ने कहा कि बार-बार हंगामा और विरोध की स्थिति बन रही है, आखिर समस्या कहां है। गोवंशियों को उपचार समय से क्यों नहीं मिल पा रहा है और उनकी मौत कैसे हुई। सभी मुद्दों को लेकर कमिश्नर और डीएम को पत्र लिखा जा रहा है। इस पूरे प्रकरण की निष्पक्ष जांच कराई जाएगी।
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