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    30-35 वर्ष का था मखना हाथी...करंट की चपेट में आ गया, हो गई मौत

    By Praveen Kumar Edited By: Praveen Vashishtha
    Updated: Sun, 26 Oct 2025 02:40 PM (IST)

    - शिवालिक वन प्रभाग की मोहंड रेंज की थापुल बीट लटके तारों की चपेट में आया गजसंवाद सूत्र, जागरण, बिहारीगढ़ (सहारनपुर) : शिवालिक वन प्रभाग की मोहंड रेंज की थापुल बीट के अधीन किसान देशराज के खेत से गुजर रही हाईटेंशन लाइन के लटक रहे तारों की चपेट में आकर करंट लगने हाथी की मौत हो गई। शनिवार सुबह हाथी के शव को देख ग्रामीणों ने वन विभाग के मोहंड कार्यालय पर सूचना दी। वन अधिकारियों ने मौके पर पहुंच चिकित्सकों की टीम से हाथी के शव का पोस्टमार्टम कराया। इस दौरान विश्व प्रकृति निधि टीम भी मौके पर मौजूद रही। पोस्टमार्टम के दौरान विसरा एकत्र किए गए, जिन्हें जांच के लिए बरेली भेजा जाएगा। बाद में हाथी के शव को जेसीबी से गड्ढ़ा खोदकर दबाया गया।शुक्रवार रात एक मखना हाथी शिवालिक के जंगल से निकल कर खेतों से होते हुए आबादी की ओर आ रहा था। जब वह सुंदरपुर-शाकंभरी मार्ग पेट्रोल पंप से आगे जाने वाले रास्ते पर किसान देशराज के खेत से गुजर रहा था तभी हाईटेंशन लाइन की चपेट में आ गया। हाईटेंशन लाइन के तार जमीन से मात्र सात फीट की ऊंचाई पर थे। करंट लगने से हाथी की मौत हो गई। हाथी के शरीर पर जहां हाईटेंशन लाइन के तार छुए वहीं त्वचा जलने से घाव हो गए। शनिवार सुबह खेतों पर जा रहे ग्रामीणों ने हाथी का शव देख सूचना मोहंड वन रेंज कार्यालय पर दी। मोहंड रेंज अधिकारी लव सिंह टीम के साथ मौके पर पहुंचे। डीएफओ विपुल सिंघल भी पहुंच गए। इसके बाद हाथी के शव को डंपर में लादकर मोहंड रेंज की खुजनावर चौकी पर पहुंचाया। रेंज अधिकारी लव सिंह ने बताया कि मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी ने चिकित्सकों के पैनल में शामिल निशांत, अमित कुमार, अंकित यादव ने हाथी के शव का पोस्टमार्टम किया। पोस्टमार्टम के बाद जेसीबी से गडढ़ा खोदकर हाथी के शव को दबा दिया गया। मुख्य वन संरक्षक के इलांगो, डीएफओ विपुल सिंघल, मोहंड रेंज अधिकारी लव सिंह सहित वन विभाग के कर्मचारी मौजूद रहे। --30 से 35 वर्ष आंकी गई हाथी की उम्रशनिवार दोपहर करीब 12 बजे चिकित्सकों की टीम पहुंचने के बाद हाथी के शव का पोस्टमार्टम करीब पांच घंटे चला। हाथी की उम्र 30 से 35 वर्ष के बीच आंकी गई। हाथी की मौत प्रथम दृष्टया करंट लगने होना बताया जा रहा है। मौत के सही कारण पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही पता लग सकेगा।--अकेला चलता है मखना हाथीमोहंड रेंज अधिकारी लव सिंह के मुताबिक, मखना हाथी अकेला चलता है। यह कभी हाथियों के झुंड के साथ नही चलता है। जिस हाथी की मौत हुई वह बड़े ही शांत स्वभाव का था, जिसे ज्यादातर मोहंड के आसपास सड़क किनारे भी घूमता हुआ देखा जाता था। यह डेढ़ दांत वाले हाथी नाम से प्रसिद्ध था।--पोस्टमार्टम की रिपोर्ट आने के बाद उच्चाधिकारियों के दिशा निर्देशन में वन्य जीव संरक्षण अधिनियम तहत आवश्यक कार्रवाई की जाएगी। विसरा के नमूने जांच के लिए बरेली भेजे जाएंगे। घटना के संबंध में विद्युत विभाग के अधिकारियों को पत्र भेजकर अवगत कराया गया है कि जंगल से सटे क्षेत्र के सभी विद्युत लाइनों के तारों को ऊंचा कराया जाए।- विपुल सिंघल, डीएफओ--जंगल से निकल कर आबादी की ओर आए हाथी ने पहले बिजली आपूर्ति के लिए लगा खंबा तोड़ दिया। इससे लाइन के तार नीचे लटक गए। बाद में जिनकी चपेट में हाथी आ गया होगा। लाइन ठीक कराकर तारों को और ऊंचा कराया जाएगा।- अमित यादव, एसडीओ मुजफ्फराबाद --तपेंद्र सैनी

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    करंट लगने से जंगल में मृत पड़ा हाथी। जागरण 

    संवाद सूत्र, जागरण, बिहारीगढ़ (सहारनपुर)। शिवालिक वन प्रभाग की मोहंड रेंज की थापुल बीट के अधीन एक खेत से गुजर रही हाईटेंशन लाइन के लटक रहे तारों की चपेट में आकर करंट लगने से हाथी की मौत हो गई। वन अधिकारियों ने मौके पर पहुंचकर चिकित्सकों की टीम से हाथी के शव का पोस्टमार्टम कराया। विसरा जांच के लिए बरेली भेजा जाएगा। बाद में हाथी के शव को जेसीबी से गड्ढ़ा खोदकर दबाया गया।

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    शुक्रवार रात एक मखना हाथी शिवालिक के जंगल से निकलकर खेतों से होते हुए आबादी की ओर आ रहा था। जब वह सुंदरपुर-शाकंभरी मार्ग पेट्रोल पंप से आगे जाने वाले रास्ते पर एक खेत से गुजर रहा था तभी हाईटेंशन लाइन की चपेट में आ गया। हाईटेंशन लाइन के तार जमीन से मात्र सात फीट की ऊंचाई पर थे। करंट लगने से हाथी की मौत हो गई। मोहंड रेंज अधिकारी लव सिंह टीम के साथ मौके पर पहुंचे। डीएफओ विपुल सिंघल भी पहुंच गए। हाथी की उम्र 30 से 35 वर्ष के बीच आंकी गई। रेंज अधिकारी लव सिंह ने बताया कि चिकित्सकों के पैनल में शामिल निशांत, अमित कुमार, अंकित यादव ने हाथी के शव का पोस्टमार्टम किया। मुख्य वन संरक्षक के इलांगो, डीएफओ विपुल सिंघल, मोहंड रेंज अधिकारी लव सिंह सहित वन विभाग के कर्मचारी मौजूद रहे।
    अकेला चलता है मखना हाथी : मोहंड रेंज अधिकारी लव सिंह के मुताबिक, मखना हाथी अकेला चलता है। यह कभी हाथियों के झुंड के साथ नहीं चलता है। जिस हाथी की मौत हुई वह बड़े ही शांत स्वभाव का था, जिसे ज्यादातर मोहंड के आसपास सड़क किनारे भी घूमता हुआ देखा जाता था। यह डेढ़ दांत वाले हाथी नाम से प्रसिद्ध था।