Noida Flood Alert: डूब चुके 5 हजार से ज्यादा फार्म हाउस, यमुना का रौद्र रूप देख पलायन को मजबूर हुए लोग
नोएडा में यमुना नदी का जलस्तर खतरे के निशान के करीब पहुंचने से बाढ़ जैसे हालात बन गए हैं। कालिंदी कुंज से लगातार पानी छोड़े जाने और भारी बारिश के कारण यमुना का जलस्तर बढ़ गया है जिससे तटबंध तक पानी पहुंच गया है। हरनंदी नदी में भी जलस्तर बढ़ने से आसपास के इलाकों में रहने वाले लोग पलायन करने को मजबूर हैं।

जागरण संवाददाता, नोएडा। 24 घंटे से अधिक समय से कालिंदी कुंज स्थित ओखला बैराज से 2.44 लाख क्यूसेक जल का प्रभाह जारी है, जबकि हथनी कुंड से 1.30 लाख क्यूसेक पानी ही छोड़ा जा रहा है, लेकिन लगातार हो रही वर्षा ने यमुना का जलस्तर बढ़ा दिया है।
वहीं, इस कारण यमुना तटबंध तक पानी पहुंच चुका है। दूसरी ओर यमुना के जल स्तर बरकरार रहने से हरनंदी ने बैक फ्लो मार दिया है। इससे इसका जलस्तर तेजी से बढ़ रहा है। हरनंदी में 201 मीटर यानी 6487 क्यूसेक पानी बह रहा है, खतरे का निशान 205 मीटर है।
इससे यहां रहने वाले लोग अब पलायन करने के लिए मजबूर हैं। यहां यमुना और पुस्ता की तरफ सेक्टर-133, 134, 135, 168 के अलावा 150 से ज्यादा इलाके प्रभावित हैं। यहां करीब पांच हजार से ज्यादा फार्म हाउस डूब चुके हैं।
अलर्ट के बाद भी सेक्टर-135 डूब एरिया में कार, ट्रैक्टर से लोग अंदर जा रहे है। अपना सामान निकालकर ला रहे है। यहां किसी प्रकार की कोई बेरिकेडिंग तक नहीं की गई है। वर्ष 2023 में इसी प्वाइंट से अधिकांश को रेस्क्यू किया गया था। यहां बेरिकेट लगा कार आवाजाही को बंद किया गया था लेकिन इस बार ऐसा नहीं होता दिखा। लोग बाढ़ प्रभावित एरिया के अंदर जा रहे हैं।
बताया गया कि यमुना का जलस्तर बढ़ा तो कभी भी हादसा हो सकता है। हालांकि, नोएडा प्राधिकरण सीईओ डॉ. लोकेश एम ने डूब क्षेत्र में रहने वाले लोगों से बाहर निकलने की अपील भी की है। कहा कि वह किसी भी कीमत पर पानी के अंदर न जाए।
बता दें कि अब तक 2000 हजार से ज्यादा लोग सड़क पर झुग्गी लगाकर रह रहे है। नोएडा प्राधिकरण ने बाढ़ पीड़ितों के लिए आठ आश्रय स्थल बनाए है। इनमें खानपान की व्यवस्था भी की जा रही है। सेक्टर-135 और 150 के आसपास बख्तावरपुर, छपरौली, कोंडली, नंगली वाजिदपुर, नंगला नगली, झट्टा गांव के बारातघर में राहत शिविर बनवाए हैं। पुस्ता किनारे एक अस्थाई टेंट भी लगाया जा रहा। यमुना के साथ-साथ हरनंदी भी उफनाई हुई है। जलस्तर खतरे के निशान पर पहुंच गया।
हरनंदी का पानी भी डूब क्षेत्र में बने छह गांव के पक्के मकानों के बेहद नजदीक आ गया। ऐसे में हरनंदी के आसपास से भी लोगों को आश्रय स्थल पहुंचाया जा रहा है। यमुना में बुधवार से तेजी से जल बढ़ोतरी हो रही है। वर्तमान में जलस्तर 207.47 मीटर के आसपास है। दिल्ली के सभी बैराज खोले जा चुके है। कालिंदी कुंज बैराज खोले जाने से नोएडा, ग्रेटर नोएडा यमुना के डूब एरिया में यमुना का जल स्तर तेजी से बढ़ा। रात तक यहां मौजूद फार्म हाउस, खेत सभी डूब गए।
2023 का याद दिलाती बाढ़
यमुना पुश्ता पर झुग्गी में बैठी कलावती ने बताया कि 2023 में हम हमारा परिवार फंस गया था लेकिन इस बार परिवार समेत पहले ही बाहर आ गए। करीब दो लाख का नुकसान हुआ है। खड़ी गोभी, मक्का की फसल बर्बाद हो गई। पानी में सब बह गया। 2023 में भी ऐसा हुआ था। सब बह गया था। बार बार बाढ़ आने से हम परेशान हो चुके है। यही हाल गुडंन, दयावति, रामवती समेत अन्य का भी है। इन्होंने पुस्ता पर आसरा लिया है।
सेक्टरों में बढ़ सकती है मुसीबत
यमुना का जलस्तर बढ़ना नोएडा के सेक्टरों के लिए बड़ी मुसीबत बन सकता है। इसकी वजह उत्तर प्रदेश सिचाई नाला है। यह नाला नोएडा के समीप दिल्ली से आकर नोएडा के सेक्टर-11, 22, 39, 50 होते हुए सेक्टर-168 और यमुना में जाकर गिरता है। यमुना और नाले में पानी का लेवल स्थिर होने से पानी बैक फ्लोर मार रहा है। इस वजह से सेक्टर-168 पर बने रेगुलेटर के तीनों पैनल (गेट) बंद है।
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नोएडा का सारा सीवरेज (एसटीपी) के जरिये इसी नाले और बरसाती नालियों का पानी भी इसी नाले से यमुना तक जाता है। पैनल बंद होने से यह पानी अब स्थिर हो गया है। आगामी 72 घंटों में तेज बारिश के अलर्ट है। इससे शहर के नाले ओवर फ्लो हो जाएंगे और सेक्टरों में जलभराव हो सकता है, क्योंकि कई जगह पर कोंडली व शाहदरा नाला उफान मारने लगा है।
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