डीएनडी पर गड्ढों से अब नहीं होगी परेशानी, माइक्रो रिसर्फेसिंग से मिलेगी यातायात को रफ्तार
नोएडा-दिल्ली डायरेक्ट फ्लाइवे (डीएनडी) का पांच करोड़ रुपये से नवीनीकरण होगा। एनटीबीसीएल यह कार्य कराएगा, जिसके लिए विज्ञापन से प्राप्त आय का उपयोग किया जाएगा। पहले भी जी-20 से पूर्व रिसर्फेसिंग हुई थी। सड़क सुधार कार्य रात में होगा ताकि यातायात प्रभावित न हो। डीएनडी पर गड्ढे भरने से वाहनों को गति मिलेगी और सफर सुगम होगा।

जी-20 से पहले कराई गई थी पांच करोड़ में रिसर्फेसिंग।
जागरण संवाददाता, नोएडा। दिल्ली-नोएडा डायरेक्ट (DND) फ्लाइवे की पांच करोड़ रुपये में माइक्रोरिसर्फेसिंग होगी। यह कार्य नोएडा टोल ब्रिज कंपनी लिमिटेड (एनटीबीसीएल) कराएगा। बीते वित्तीय वर्ष में कंपनी को 11 करोड़ रुपये विज्ञापन से मिले हैं।
जी-20 से पूर्व भी डीएनडी पर रिसर्फेसिंग कार्य कंपनी ने पांच करोड़ रुपये में कराया था। करीब आठ किमी लंबे इस फ्लाइवे की माइक्रोसर्फेसिंग, बिटुमेन कंक्रीट, सेमी डेंस बिटुमेन कंक्रीटिंग का कार्य शुरू किया गया है। दिसंबर अंत या जनवरी तक यह कार्य पूरा होगा। यातायात प्रभावित नहीं हो इसके लिए रात में यहां सड़क सुधार का कार्य होगा।
डीएनडी पर गड्ढे और उखड़ी सड़क पर माइक्रो रिसर्फेसिंग होने से वाहनों को गति मिलेगी। एनटीबीसीएल की बोर्ड मीटिंग में पांच करोड़ से माइक्रो रिसर्फेसिंग कार्य कराने की स्वीकृति हुई। डीएनडी फ्लाइवे पर कंपनी का विज्ञापन का अधिकार है। विज्ञापन से बीते वित्तीय वर्ष में मिली रकम से यह कार्य कराया जा रहा है।
फ्लाइवे सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर टोल मुक्त हो गया है। इसके रखरखाव की जिम्मेदारी एनटीबीसीएल विज्ञापन से मिलने वाले राजस्व के जरिये कर रही है। सड़क का हिस्सा कई जगह पर गड्ढे है और गिट्टियां बिखरी हैं। दोपहिया वाहन सवारों के चोटिल होने का डर बना रहता है।
डीएनडी पर विज्ञापन के जरिये एनटीबीसीएल को एक वर्ष में 11 करोड़ रुपये मिले। अनुबंध के मुताबिक कंपनी ने 3.40 करोड़ रुपये नोएडा प्राधिकरण को दिए हैं। डीएनडी से प्रतिदिन दो लाख से अधिक वाहन गुजरते हैं। सड़क की माइक्रोसर्फेसिंग होने के बाद इन वाहनों का सफर और अधिक सुगम और सुरक्षित होगा।

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