Smart Meter लगाने के लिए आपसे भी मांगे जा रहे हैं रुपये? तो इस नंबर पर अभी करें शिकायत
मुरादाबाद में बिजली विभाग ने नए नियमों के तहत नए कनेक्शन पर स्मार्ट मीटर की पूरी कीमत जमा करने का आदेश दिया है। पुराने या खराब मीटर बदलने पर कोई शुल्क नहीं लगेगा। उपभोक्ताओं को स्मार्ट मीटर संबंधी किसी भी शिकायत के लिए 1912 पर कॉल करने की सलाह दी गई है। बकाया होने पर कनेक्शन कटने और रिचार्ज संबंधी सूचनाएं भी मिलेंगी।

जागरण संवाददाता, मुरादाबाद। बिजली विभाग में अब मीटर की पूरी कीमत जमा करनी पड़ रही है। स्मार्ट मीटर सिंगल फेस के छह हजार और थ्री फेस के 12 हजार रुपये लिए जा रहे हैं। नए बिजली कनेक्शन में स्मार्ट मीटर के रुपये उपभोक्ता को जमा कराने होंगे। स्मार्ट मीटर लगाने के लिए उपभोक्ता से कोई रुपया मांगता है तो उसकी शिकायत 1912 पर करें। खासकर खराब या पुराने मीटर को बदलने पर।
नए कनेक्शन पर स्मार्ट मीटर की लागत विद्युत नियामक आयोग के नियमों के अनुसार स्मार्ट मीटर के नए कनेक्शन पर रुपये दिए जाएंगे। पुराने या खराब मीटर बदलने पर कोई शुल्क नहीं। अगर आपका पुराना या खराब मीटर है जिसे बदलकर स्मार्ट मीटर लगाया जा रहा है, तो आपको कोई पैसा नहीं देना होगा। नए बिजली कनेक्शन के साथ जब स्मार्ट मीटर लगाया जाता है, तो इसकी लागत विद्युत नियामक आयोग द्वारा तय की जाती है और उसी के अनुसार शुल्क लिया जाता है।
1912 पर करें शिकायत
बिजली की किसी भी समस्या पर 1912 पर शिकायत कर सकते हैं। स्मार्ट मीटर के कनेक्शन बकाया होने पर कट जाते हैं। फिर पैसा जमा करने के बाद जल्दी रीकनेक्ट नहीं हो पाते हैं। इस समस्या का भी समाधान होगा।
रिचार्ज खत्म होने से पहले आएंगे चार संदेश
उपभोक्ता के स्मार्ट प्रीपेड मीटर में बैलेंस कम है तो संदेश आने शुरू होंगे। कुल राशि का 30 प्रतिशत बचेगा तो मैसेज आएगा। फिर 20 प्रतिशत पर, तीसरा मैसेज 10 प्रतिशत धनराशि बचने पर और आखिरी संदेश शून्य बैलेंस से पहले आएगा। एकदम कनेक्शन नहीं कटेगा।
प्ले स्टोर से डाउनलोड करें एप
प्ले स्टोर पर जाकर यूपीपीसीएल स्मार्ट एप डाउनलोड करें। फिर लागिन-रजिस्ट्रेशन करके साइन अप करना होगा। इसके बाद पंजीकृत मोबाइल नंबर डालना होगा। जिस पर ओटीपी आएगा। फिर उपभोक्ता को पासवर्ड जेनरेट करना होगा। इसके बाद उपभोक्ता अपनी शेष धनराशि, बिजली की खपत, 12 ट्रांजेक्शन सहित कई जानकारियां ले सकते हैं।
नए कनेक्शन वाले स्मार्ट मीटर के पूरे दाम लिए जा रहे हैं। पोर्टल में उतना अमाउंट दर्ज होने के बाद ही पोर्टल से स्वीकृति मिलेगी। नए संयोजन में मीटर के रुपये उपभोक्ता को देने होंगे।- प्रशांत कुमार, अधीक्षण अभियंता
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