Meerut : किशोर ने फोन पर कहा, 'मुझे बचा लो'..., इसके बाद पिता से वाट्सअप पर मांगी गई पांच लाख की रंगदारी
Meerut News सरधना के नवाबगढ़ी गांव निवासी एक किशोर नमाज पढ़ने गया था। वह लापता हो गया। परिवार से वाट्सअप पर पांच लाख रुपये की रंगदारी मांगी गई है। मामले की पुलिस में शिकायत दर्ज कराई गई गई है। लापता लड़के के पिता ने पुलिस से बेटे की बरामदगी की गुहार लगाई है।

जागरण संवाददाता, सरधना (मेरठ)। थाना क्षेत्र का नवाबगढ़ी गांव निवासी नाबालिग लड़का गुरुवार शाम को नमाज पढ़ने के लिए गया था। उसके बाद से घर नहीं लौटा। जब परिवार के लोगों ने उसकी तलाश की तो सुराग नहीं लगा। हालांकि, थोड़ी देर बाद लापता बच्चे के पिता पर किसी ने मैसेज भेजा और पांच लाख रुपये की रंगदारी मांगी।
जिस पर पीड़ित परिवार थाने पहुंचा और तहरीर देकर बरामदगी की मांग की। हालांकि, अगले दिन शुक्रवार को आरोपित ने दूसरे नंबर से बार कोड भेजा। जिस पर उसके पिता ने पांच हजार रुपये डाल दिए। फिलहाल, इस मामले में पुलिस जांच में जुट गई है।
नमाज पढ़ने गया था, घर नहीं लौटा
नवाबगढ़ी गांव निवासी शकील पुत्र महमूद ड्राईवर हैं। उन्होंने बताया कि गुरुवार देर शाम को साढ़े आठ बजे उनका 15 वर्षीय बेटा उवैश नमाज पढ़ने के लिए गया था। जब घर नहीं लौटा। इस पर उसके मोबाइल पर फोन किया। जिस पर उसने बताया कि वह सरधना में है और घर आ रहा है।
साथ ही मोबाइल बंद होने की भी बात कही। लेकिन, वह घर नहीं आया। जिस पर परिवार के लोगों ने उसकी संभावित स्थानों पर तलाश शुरू कर दी। किंतु सुराग नहीं लगा।
स्वजन ने बताया कि कुछ देर बाद किसी एक अन्य नंबर से शकील के वाट्सएप नबंर पर पर मैसेज आया कि पांच लाख रुपये दे दो। किस नंबर पर डालने है, थोड़ी देर बाद बताया जाएगा। इसके बाद डरे सहमे वह थाने पहुंचे और तहरीर देकर बरामदगी की मांग की। वहीं, पुलिस ने पीड़ित परिवार को जांच कर कार्रवाई का आश्वासन दिया। साथ ही मुकदमा भी दर्ज कर लिया है।
पिता के पास आया फोन
स्वजन ने बताया कि कुछ समय बाद उवैश ने अपने पिता पर फोन किया। जिसमें उसने बताया कि यह बहुत सारे लोग है। मुझे कहीं ले जा रहे हैं। इसलिए मुझे बचा लो। इसके बाद से उसका फोन बंद हो गया।
आरोपित ने अन्य नंबर से भेजा बार कोड
इस घटना के बाद से ही पीड़ित परिवार डर गया। स्वजन ने बताया कि शुक्रवार को दोपहर में आरोपित ने अन्य किसी नंबर से शकील के नंबर पर बार कोड भेजा। जिस पर उन्होंने पांच हजार रुपये भी आनलाइन जमा कर दिए।
वहीं, बेटे के ना मिलने के गम में मां साजिदा, बहन महविश, आतिका व अनम सहित परिवार का रो-रोकर बुरा हाल है। बताया कि उवैस ने कक्षा नौ पास करने के बाद स्कूल छोड़ दिया था। तब से वह पिछले दो माह से कालंद चुंगी पर स्थित एक दुकान पर फर्नीचर का काम सीख रहा था।
चार माह पहले रिहान और अब उवैस लापता, नहीं लगा सुराग
नवाबगढ़ी गांव से ही बीती चार अप्रैल को इमरान अंसारी का 11 वर्षीय बेटा रिहान घर के बाहर से लापता हो गया था। उस दौरान वह घर के बाहर खेल रहा था। मामला थाने पर पहुंचने पर पुलिस ने बरामदगी का आश्वासन दिया था। लेकिन, अभी तक उसका कोई सुराग नहीं लगा है। रिहान के घर से कुछ ही दूरी पर उसी गली में उवैस का भी घर है। ग्रामीणों ने बताया कि अगर जल्द ही मामले का राजफाश नहीं हुआ तो वह उच्चाधिकारियों से मिलेंगें।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।