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    वेस्ट यूपी में हाई कोर्ट बेंच को 22 जिलों में एक साथ आंदोलन कल, मेरठ में अधिवक्ता व विभिन्न संगठन बनाएंगे मानव श्रृंखला

    Updated: Fri, 19 Sep 2025 05:01 PM (IST)

    Meerut News पश्चिमी उत्तर प्रदेश में हाई कोर्ट बेंच की मांग को लेकर केंद्रीय संघर्ष समिति के नेतृत्व में 22 जिलों में एक साथ आंदोलन होगा। अधिवक्ता न्यायिक कार्य नहीं करेंगे और प्रमुख स्थानों पर धरना प्रदर्शन किया जाएगा। मेरठ में कचहरी से बेगमपुल तक पैदल मार्च निकाला जाएगा और मानव श्रृंखला बनाई जाएगी।

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    मेरठ में पत्रकारों से बातचीत करते केंद्रीय संघर्ष समिति के पदाधिकारीगण। जागरण

     जागरण संवाददाता, मेरठ। पश्चिम उत्तर प्रदेश में हाई कोर्ट बेंच की मांग को लेकर केंद्रीय संघर्ष समिति के बैनर तले शनिवार को पश्चिम के सभी 22 जनपदों में एक साथ आंदोलन होगा। सभी जनपदों में बार न्यायिक कार्य नहीं करेगी। वहां के प्रमुख चौराहों और स्थानों पर धरना प्रदर्शन करेंगे।

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    संघर्ष समिति ने बेंच की मांग को जन आंदोलन बनाने के लिए इसमें सभी राजनीतिक और सामाजिक संगठनों, व्यापार संघ, किसान संगठनों समेत सभी वर्गों को साथ लिया जा रहा है।

    मेरठ में कचहरी से बेगमपुल तक पैदल मार्च निकाला जाएगा। बेगमपुल पर मानव श्रंखला बनाकर दो घंटे प्रदर्शन किया जाएगा। केंद्रीय संघर्ष समिति के पदाधिकारियों ने शुक्रवार को पत्रकार वार्ता में दावा किया कि इस पैदल मार्च को सभी का समर्थन मिल रहा है। पैदल मार्च और मानव श्रृंखला में हजारों लोगों के शामिल होने की उम्मीद है।

    उन्होंने कहा कि 30 सितंबर को यदि प्रधानमंत्री मेट्रो ट्रेन का उद्घाटन करने मेरठ आते हैं तो उनसे मिलने का समय मांगा जाएगा। पश्चिम उत्तर प्रदेश हाईकोर्ट बेंच स्थापना केंद्रीय संघर्ष समिति के चेयरमैन संजय शर्मा, संयोजक राजेंद्र सिंह राणा, जिला बार एसोसिएशन के अध्यक्ष राजीव त्यागी तथा महामंत्री अमित राणा ने मेरठ बार के सभागार में संयुक्त रूप से पत्रकार वार्ता की।

    इस दौरान दोनों बार के पूर्व अध्यक्ष और महामंत्री तथा वरिष्ठ अधिवक्ता भी मौजूद रहे। संघर्ष समिति के पदाधिकारियों ने बताया कि बेंच की मांग को लेकर शनिवार को पश्चिम के सभी 22 जनपदों में एक साथ आंदोलन होगा। अधिवक्ता न्यायिक कार्य नहीं करेंगे।

    कचहरी में सभी दुकानें भी बंद रहेंगी। सुबह साढ़े दस बजे मेरठ बार कार्यालय से पैदल मार्च शुरू होगा। यह बेगमपुल तक होगा। वहां मानव श्रृंखला बनाकर 11 बजे से एक बजे तक दो घंटा विरोध प्रदर्शन किया जाएगा।

    कहा कि बेंच आंदोलन को जन आंदोलन बनाने की मुहिम रंग ला रही है। पैदल मार्च को भाजपा समेत सभी राजनीतिक दलों ने समर्थन दिया है। सामाजिक संगठनों, व्यापारी संगठनों, किसान संगठनों तथा अन्य सभी वर्ग के लोगों ने मार्च और प्रदर्शन में शामिल होने का वादा भी किया है। उन्होंने दावा किया कि पैदल मार्च में भारी भीड़ उमड़ेगी। यह बेंच के लिए जन जागरण है। जिसके माध्यम से जनता की आवाज को सरकार तक पहुंचाने का प्रयास किया जाएगा।

    'केवल प्रयागराज शहर और वहां के कुछ अधिवक्ता कर रहे विरोध'

    केंद्रीय संघर्ष समिति के पदाधिकारियों ने दावा किया कि हाई कोर्ट में न्याय पाने के लिए लोगों को भटकना पड़ रहा है। न्याय नहीं मिल पा रहा है। लाखों मामले लंबित हैं। पश्चिम में बेंच की मांग के लिए पिछले 50 साल से आंदोलन चल रहा है। लेकिन इस अवधि में रहने वाली सभी सरकारों ने पश्चिम की इस मांग को गलत नहीं बताया। पश्चिम में बेंच का विरोध केवल प्रयागराज शहर और वहां के कुछ अधिवक्ता कर रहे हैं। पूर्वांचल में इसका विरोध नहीं है बल्कि गौरखपुर, बनारस समेत विभिन्न जनपदों में खुद बेंच की मांग की जा रही है। ये लोग पश्चिम में बेंच का भी समर्थन कर रहे हैं।

    प्रधानमंत्री से मिलने का समय मागेंगे

    संघर्ष समिति पदाधिकारियों ने कहा कि महाराष्ट्र के कोल्हापुर में 4 जनपदों की डेढ़ करोड़ आबादी के लिए गठित हाई कोर्ट बेंच ने काम शुरू कर दिया है। पश्चिम में 22 जनपदों में कई करोड़ जनता को सुलभ और सस्ता न्याय के सिद्धांत पर बेंच की मांग की जा रही है। 30 सितंबर को मेरठ मेट्रो के उद्घाटन के लिए यदि प्रधानमंत्री मेरठ आते हैं तो केंद्रीय संघर्ष समिति उनसे मिलने का समय मांगेगी। उनसे मिलकर बेंच की मांग की जाएगी।