लखनऊ और AKTU यूनिवर्सिटी के बाद अब CCSU Meerut का भी होगा एक्सटेंशन कैंपस, यह होंगी इसकी विशेषताएं
Meerut News चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय मेरठ लखनऊ और एकेटीयू के बाद नया एक्सटेंशन कैंपस बनाएगा। विधान परिषद सदस्य धर्मेंद्र भारद्वाज के प्रस्ताव को कार्य परिषद ने मंजूरी दे दी है। नया कैंपस आधुनिक सुविधाओं से लैस होगा जिसमें अकादमिक ब्लाक प्रयोगशालाएं छात्रावास पुस्तकालय और शोध केंद्र शामिल होंगे। कुलपति प्रोफेसर संगीता शुक्ला ने कहा कि यह मेरठ को उच्च शिक्षा में नई पहचान देगा।

जागरण संवाददाता, मेरठ। प्रदेश में लखनऊ और एकेटीयू यूनिवर्सिटी के बाद चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय अपना 100 एकड़ में नया एक्सटेंशन कैंपस बनाया जाएगा। विश्वविद्यालय का वर्तमान कैंपस 222 एकड़ में फैला है। नए कैंपस को भविष्य की शिक्षण व प्रशिक्षण की जरूरतों को ध्यान में रखते हुए सभी आधुनिक सुविधाओं से सुसज्जित किया जाएगा। बुधवार को हुई कार्य परिषद की बैठक में विधान परिषद सदस्य एवं नियम पुनरीक्षण समिति के सभापति धर्मेंद्र भारद्वाज की ओर से रखा गया यह प्रस्ताव सर्वसम्मति से पारित हो गया। एमएलसी ने प्रदेश सरकार से इस बाबत सौ एकड़ भूमि दिलाने का आश्वासन दिया है।
एमएलसी धर्मेंद्र भारद्वाज ने बैठक में विश्वविद्यालय की कुलपति प्रोफेसर संगीता शुक्ला सहित समिति को सुझाव दिया कि सीसीएसयू परिसर से करीब 20–25 किलोमीटर के दायरे में आधुनिक सुविधाओं से युक्त एक नया एक्सटेंशन कैंपस विकसित किया जाना समय की आवश्यकता है। यहां की बेहतर कनेक्टिविटी के चलते देशभर से छात्र यहां अध्ययन के लिए आते हैं। ऐसे में भविष्य की शैक्षणिक आवश्यकताओं को देखते हुए एक नया कैंपस विकसित किया जाना अनिवार्य है।
कहा कि इस नए कैंपस में अत्याधुनिक अकादमिक ब्लाक, उच्च स्तरीय प्रयोगशालाएं, छात्रावास परिसर, विश्वस्तरीय पुस्तकालय, शोध केंद्र, स्मार्ट क्लासरूम और डिजिटल व आधुनिक प्रशासनिक व्यवस्था विकसित की जा सकती हैं।
कुलपति प्रोफेसर संगीता शुक्ला ने कहा कि यह प्रस्ताव न केवल मेरठ को उच्च शिक्षा के क्षेत्र में एक नई पहचान देगा, बल्कि चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय को राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रतिस्पर्धी संस्थान के रूप में स्थापित करने में सहायक सिद्ध होगा।
कुलपति ने कहा कि 100 एकड़ जमीन के लिए शासन को पत्र लिखा जाएगा। एमएलसी धर्मेंद्र भारद्वाज ने शासन ने स्वीकृति दिलाने का आश्वासन दिया है। लखनऊ विश्वविद्यालय के दो कैंपस करीब 219 एकड़ में फैले है और करीब 123 एकड़ के तीसरे कैंपस का प्रस्ताव पास हो चुका है। यह कृषि शिक्षा के लिए विकसित किया जाएगा। वहीं प्रदेश के केंद्रीय विश्वविद्यालयों में बीएचयू का दूसरा कैंपस 2,700 एकड़ का है। वहीं अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी ने दूसरे राज्यों में सेंटर खोले हैं।
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