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    यमुना एक्सप्रेसवे पर हुए भीषण हादसे में जिंदा जल गए थे यात्री, डीएनए जांच के बाद तीन के शव परिवार को सौंपे; बहन की शादी से पहले इकलौते भाई की मौत

    By Jitendra Kumar Gupta Edited By: Prateek Gupta
    Updated: Wed, 24 Dec 2025 09:22 PM (IST)

    Yamuna Expressway पर हुए भीषण हादसे में यात्रियों के जिंदा जल जाने के बाद, डीएनए जांच द्वारा तीन शवों की पहचान की गई और उन्हें परिवारों को सौंप दिया ग ...और पढ़ें

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    Yamuna Expressway पर हुए हादसे में जलती बसें। फाइल फोटो

    जासं, मथुरा। बांदा जिले के राजीव विश्वकर्मा की आंखों के सामने बुधवार को भतीजे ऋषभ का शव था। बाॅडी बैग में बुरी तरह जल चुके शव को देख राजीव की आंखों से आंसू बह गए। फिर बोले, सब खाक हो गया। नोएडा जाते समय हादसे में भतीजे की मृत्यु हो गई और घायल भाई देवराज अभी भी आगरा के एसएन मेडिकल कालेज में भर्ती हैं।

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    यमुना एक्सप्रेसवे पर 16 दिसंबर को हुए हादसे में तीन अन्य मृतकों के शव उनके स्वजन को डीएनए मिलान के बाद बुधवार को सौंप दिए गए। अभी पांच का डीएनए मिलान नहीं हो पाया है।

    यमुना एक्सप्रेसवे पर 16 दिसंबर को माइल स्टोन 127 पर नौ वाहन आपस में टकरा गए थे। इन वाहनों में आग लग गई और इनमें सवार 19 लोगों की मृत्यु हो गई, जबकि 100 से अधिक लोग घायल हो गए। मृतकों में 15 की पहचान नहीं हो पाई थी, इनका डीएनए टेस्ट कराया गया। अब तक 10 शवों का डीएनए मिलान हुआ, इसमें सात के शव मंगलवार को स्वजन के सिपुर्द किए गए।

    जबकि बुधवार को तीन अन्य शव भी स्वजन को दे दिए गए। बांदा के गांव रैपुरा गड़रिया निवासी ऋषभ विश्वकर्मा दिल्ली के वेस्ट रमेश नगर सुदर्शन पार्क में रहते थे। पिता देवराज के साथ 15 दिसंबर की रात दिल्ली जा रहे थे। पिता नोएडा की स्पोर्ट्स गारमेंट फैक्ट्री में काम करते हैं। हादसे में ऋषभ की मृत्यु हो गई, पिता आग में झुलस गए।

    ताऊ राजीव ने बताया कि काम की तलाश में ऋषभ दिल्ली जा रहा था। ऋषभ ने आठवीं के बाद पढ़ाई छोड़ दी थी और अब जिम्मेदारी उठाने निकला था, लेकिन रास्ते में ही गायब हो गया। कहा अब तो सब कुछ खत्म हो गया।


    बहन की शादी की चल रही थी तैयारी, इकलौते भाई की हुई मृत्यु

    अयोध्या के गांव पूरे दरोगा पुरवा कुरावन गांव निवासी जगतराम यादव के इकलौते बेटे 32 वर्षीय प्रदीप कुमार की छोटी बहन प्रियंका की डोली 30 अप्रैल को उठनी है। कपड़ों और गहनों की खरीदारी की योजना बन रही थी।

    15 दिसंबर की रात बस में बैठते समय प्रदीप ने अपनी पत्नी जयश्री को फोन कर कहा था कि मोबाइल स्विच आफ होने वाला है। दिल्ली में कमरे पर पहुंचकर मोबाइल चार्ज करेंगे। प्रदीप की शादी दो वर्ष पहले ही हुई थी।