UPPCL: लखनऊ में नई बिजली व्यवस्था होगी लागू, जल्द मिलेगा नया कनेक्शन; अधिकारी बोले- अब नहीं काटने पड़ेंगे चक्कर
लखनऊ में बिजली विभाग अक्टूबर 2025 से नई व्यवस्था लागू करने जा रहा है जिसके तहत हर सुविधा के लिए अधिकारी नामित होंगे। सिंगल विंडो सिस्टम से उपभोक्ताओं की समस्याओं का समाधान होगा। झटपट पोर्टल और हेल्पलाइन नंबर 1912 पर शिकायत करने के बाद जिम्मेदार अभियंता मोबाइल से संपर्क करेंगे। अधीक्षण अभियंता विभिन्न कार्यों की जिम्मेदारी संभालेंगे।

अंशू दीक्षित, लखनऊ। राजधानी की बिजली व्यवस्था उपभोक्ताओं को बेहतर मिल सके, इसके लिए अक्टूबर 2025 से नया प्रयोग करने का खाका बिजली विभाग ने तैयार किया गया है। यह व्यवस्था वैसे तो अप्रैल 2025 से लागू करने पर प्रबंधन अड़ा था, लेकिन वरिष्ठ अभियंताओं ने प्रबंधन को सलाह दी कि नया प्रयोग गर्मी में संभालना मुश्किल भी हाे सकता है। इसलिए अब इसे एक अक्टूबर 2025 से शुरू करने की तैयारी है।
नई व्यवस्था के तहत हर सुविधा के लिए अधिकारी नामित होंगे। कुल मिलाकर बिजली उपकेंद्रों के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। उपकेंद्रों पर तैनात जेई, एसडीओ की भूमिका उपभोक्ताओं के मामले में पहले से काफी कम हो जाएंगी।
नए बिजली कनेक्शन, मीटर, बिल संशोधन, एस्टीमेट सहित बिजली की अन्य समस्याओं के लिए वर्टिकल सिस्टम लागू करने की तैयारी पूरी कर ली गई है। अब देखना है कि उपभोक्ताओं को फायदा होता है या सिर्फ प्रबंधन अपनी हठधर्मिता पूरी करता है।
वर्तमान में लखनऊ को अमौसी जोन, लखनऊ मध्य जोन, गोमती नगर जोन और जानकीपुरम जोन में बांटकर चौदह लाख बिजली उपभोक्ताओं को बिजली दी जा रही है। इसमें बदलाव होने जा रहा है। यह संभव होगा सिंगल विंडों सिस्टम से।
झटपट पोर्टल पर आने वाले आवेदनों व हेल्पलाइन नंबर 1912 की शिकायतों के निराकरण के लिए प्रबंधन वर्टिकल सिस्टम लागू करने के लिए पूरा मसौदा कागजों पर बना लिया है। कुल मिलाकर इसमें बिजली संबंधी काम एक ही अफसर निपटाएगा। मुख्य अभियंता के मुताबिक नए कनेक्शन के लिए झटपट पोर्टल पर आवेदन और टोल फ्री नंबर पर सेवा संबंधी शिकायत करके छोड़ना होगा।
जिम्मेदार अभियंता मोबाइल नंबर के जरिये आप तक पहुंचेंगे और समस्या दूर कराएंगे, इसके साथ ही आनलाइन भी पूर्व की तरह नए कनेक्शन व चल रही सुविधाओं का लाभ उपभोक्ता लेते रहेंगे। इस व्यवस्था में अधीक्षण अभियंता के अधीन अधिशासी अभियंता नियुक्त होंगे, जो सारे काम करेंगे। वर्तमान में इन कार्यों के लिए अधिशासी अभियंता जिम्मेदार हैं।
वर्टिकल सिस्टम में कुछ इस तरह होगा
वर्टिकल सिस्टम अधिशासी अभियंता का स्थान अधीक्षण अभियंता लेंगे। तीन में से दो शहरी वाले जोन में वर्टिकल व्यवस्था को अलग-अलग लागू किया जाएगा। इसका मुखिया मुख्य अभियंता होगा। सिस्टम को चलाने की पूरी जिम्मेदारी चार अधीक्षण अभियंताओं की होगी।
अधीक्षण अभियंता (वाणिज्य) इनकी जिम्मेदारी नया बिजली कनेक्शन देना, मीटर लगाना, बिल सही करना, बिल वसूली, स्मार्ट मीटर लगाने व 1912 की शिकायतों के निराकरण करना होगा। अधीक्षण अभियंता (तकनीकी) बिजली की निर्बाध आपूर्ति इनके जिम्मे रहेगी। शहर में 33 केवी, 11 केवी लाइनों में आए फाल्ट, जले ट्रांसफार्मर बदलने, उपकेंद्रों पर दर्ज होने वाली शिकायतों के निराकरण कराएंगे।
अधीक्षण अभियंता (परीक्षण) इन पर जिम्मेदारी होगी कि मोहल्लों व उपकेंद्रों पर लगे ट्रांसफार्मर सही तरीके से बिजली आपूर्ति कर रहे या नहीं। उनकी मानीटरिंग करवाए। वहीं अधीक्षण अभियंता (प्रोजेक्ट), शहर में नए बिजली उपकेंद्र और लाइन बनाने की जिम्मेदारी इनकी होगी। अभी यह काम अधीक्षण अभियंता (निर्माण) करते हैं।
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