उत्तर प्रदेश बना निवेश का 'ग्लोबल हब', योगी सरकार के डिजिटल रिफॉर्म्स ने आकर्षित किया विदेशी निवेश
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के 'ट्रिलियन डॉलर इकॉनमी' विजन के तहत 2025 उत्तर प्रदेश के लिए 'औद्योगिक स्वर्ण युग' साबित हुआ है। राज्य सरकार के संस्थागत ...और पढ़ें

योगी सरकार के डिजिटल सुधारों से उत्तर प्रदेश बना निवेश का वैश्विक केंद्र
डिजिटल डेस्क, लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के 'ट्रिलियन डॉलर इकॉनमी' के विजन को धरातल पर उतारते हुए वर्ष 2025 उत्तर प्रदेश के लिए 'औद्योगिक स्वर्ण युग' का वर्ष साबित हुआ है। राज्य सरकार द्वारा लागू किए गए संस्थागत सुधारों और डिजिटल नवाचारों ने उत्तर प्रदेश की छवि एक निवेश-मैत्रीपूर्ण प्रदेश के रूप में पूरी दुनिया में स्थापित कर दी है। 'इन्वेस्ट यूपी' (Invest UP) जैसी समर्पित एजेंसी और 'उद्यमी मित्र' जैसी अनूठी पहलों के माध्यम से उत्तर प्रदेश ने निवेशकों को न केवल भरोसेमंद वातावरण दिया, बल्कि प्रोजेक्ट की परिकल्पना से लेकर उसके क्रियान्वयन तक व्यक्तिगत हैंडहोल्डिंग (Handholding) भी सुनिश्चित की।
डिजिटल सशक्तिकरण: निवेश सारथी और निवेश मित्र
योगी सरकार ने निवेश की राह से कागजी बाधाओं को पूरी तरह समाप्त कर दिया है। 'निवेश सारथी' पोर्टल के माध्यम से एमओयू (MoU) साइन करने से लेकर शिकायतों के निस्तारण तक की प्रक्रिया को एक ही छत के नीचे लाया गया। वहीं, 'निवेश मित्र' के ऑनलाइन इंसेंटिव मैनेजमेंट सिस्टम ने निवेशकों के लिए प्रोत्साहन राशि (Incentives) प्राप्त करने की प्रक्रिया को पूरी तरह पारदर्शी और डिजिटल बना दिया है, जिससे भ्रष्टाचार की गुंजाइश खत्म हुई है।
मुख्यमंत्री उद्यमी मित्र: निवेशकों का निजी मार्गदर्शक
वर्ष 2025 में निवेशकों के लिए सबसे बड़ा संबल 'मुख्यमंत्री उद्यमी मित्र योजना' रही। इसके तहत प्रत्येक बड़े निवेशक को एक समर्पित 'उद्यमी मित्र' उपलब्ध कराया गया, जिसने विभागों के बीच समन्वय और स्थानीय स्तर पर आने वाली चुनौतियों को मिनटों में हल किया। यह योजना निवेशकों के लिए प्रशासन का एक मानवीय और सहयोगी चेहरा बनकर उभरी है।
सेक्टोरल और कंट्री डेस्क: वैश्विक आउटरीच का केंद्र
उत्तर प्रदेश ने अपनी निवेश रणनीति को और अधिक पैना करते हुए विशिष्ट क्षेत्रों और देशों पर ध्यान केंद्रित किया है। इन्वेस्ट यूपी के तहत सक्रिय पांच सेक्टोरल डेस्क (जैसे ऑटोमोबाइल, इलेक्ट्रॉनिक्स और ई-मोबिलिटी) ने उद्योग-विशेष की जरूरतों को समझा और उसके अनुरूप नीतियां बनाईं। साथ ही, रूस, जापान, जर्मनी और यूएई जैसे देशों के लिए समर्पित छह कंट्री डेस्क ने वैश्विक कंपनियों के साथ सीधा संवाद स्थापित किया, जिससे यूपी के औद्योगिक गलियारों में विदेशी पूंजी का प्रवाह बढ़ा है।
भरोसे का नाम बना उत्तर प्रदेश
नीतिगत स्पष्टता और समयबद्ध सुविधा के कारण आज यूपी निवेशकों के लिए 'ड्रीम डेस्टिनेशन' बन गया है। ग्राउंड ब्रेकिंग सेरेमनी (GBC) के जरिए परियोजनाओं को जमीन पर उतारने की योगी सरकार की गति ने निवेशकों के आत्मविश्वास को कई गुना बढ़ा दिया है।

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