आयुष्मान योजना में यूपी बना देश का रोल मॉडल, पिछले साल के मुकाबले इस साल डेढ़ गुना हुआ खर्च
उत्तर प्रदेश ने आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के क्रियान्वयन में राष्ट्रीय स्तर पर अपनी पहचान बनाई है। शिकायतों के समयबद्ध निस्तारण और दा ...और पढ़ें

आयुष्मान के भुगतान और शिकायतों के निस्तारण में उत्तर प्रदेश ने मारी बाजी
डिजिटल डेस्क, लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश स्वास्थ्य सेवाओं के क्षेत्र में नित नए कीर्तिमान स्थापित कर रहा है। 'डबल इंजन' सरकार की दूरदर्शी नीतियों का परिणाम है कि आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना (AB-PMJAY) के प्रभावी क्रियान्वयन में उत्तर प्रदेश ने एक बार फिर राष्ट्रीय स्तर पर अपनी धाक जमाई है। हाल ही में आयोजित 'नेशनल ग्रीवांस वर्कशॉप' में उत्तर प्रदेश की स्टेट हेल्थ एजेंसी 'साचीज़' (SACHIS) को शिकायतों के समयबद्ध निस्तारण और दावों के त्वरित भुगतान के लिए विशेष रूप से सम्मानित किया गया है।
भुगतान में रिकॉर्ड वृद्धि: 1300 करोड़ से बढ़कर 2200 करोड़ पहुंचा आंकड़ा
साचीज़ की सीईओ अर्चना वर्मा ने बताया कि योजना अब केवल एक सरकारी कार्यक्रम न रहकर गरीबों के लिए 'जीवन रक्षक कवच' बन चुकी है। आंकड़ों की बात करें तो वित्तीय वर्ष 2024-25 में जहां सूचीबद्ध अस्पतालों को 1300 करोड़ का भुगतान किया गया था, वहीं वर्तमान वित्तीय वर्ष (जुलाई 2025 से अब तक) में यह राशि बढ़कर लगभग 2200 करोड़ हो गई है। महज एक साल के भीतर भुगतान में हुई यह दो गुनी वृद्धि दर्शाती है कि योजना का लाभ अब प्रदेश के अंतिम पायदान पर खड़े व्यक्ति तक सुगमता से पहुंच रहा है।
30 दिनों के भीतर भुगतान की गारंटी
अस्पतालों को वित्तीय स्थिरता प्रदान करने और मरीजों का इलाज निर्बाध रखने के लिए योगी सरकार ने सख्त निर्देश जारी किए हैं। सीईओ ने जानकारी दी कि:
सभी स्वीकृत दावों का भुगतान 30 दिनों की अनिवार्य समय-सीमा के भीतर सुनिश्चित किया जा रहा है।
सरकार ने अनुपूरक बजट में 1500 करोड़ की अतिरिक्त व्यवस्था की है ताकि फंड की कमी न हो।
सॉफ्टवेयर सिस्टम को अपग्रेड कर और कोर टीम की संख्या बढ़ाकर दावों की जांच प्रक्रिया को तेज और पारदर्शी बनाया गया है।
गंभीर बीमारियों के इलाज पर विशेष फोकस
प्रदेश में अब गरीब और मध्यम वर्ग के लोग भी महंगे इलाज के लिए पीछे नहीं हट रहे हैं। वित्तीय वर्ष 2025-26 में कार्डियोलॉजी, न्यूरोसर्जरी और ऑन्कोलॉजी जैसी विशेषज्ञ सेवाओं के लिए भुगतान बढ़कर 1370.2 करोड़ हो गया है, जो पिछले वर्ष 894.1 करोड़ था। विशेष रूप से कैंसर (ऑन्कोलॉजी) के इलाज में बड़ी प्रगति हुई है, जहां भुगतान 285.43 करोड़ से बढ़कर 449.62 करोड़ तक पहुंच गया है।
शिकायत निवारण में उत्तर प्रदेश बना रोल मॉडल
साचीज़ की एसीईओ पूजा यादव ने बताया कि प्रदेश सरकार केवल इलाज ही नहीं, बल्कि लाभार्थियों की समस्याओं के समाधान पर भी उतनी ही गंभीर है। जनवरी 2025 से प्राप्त कुल 41,582 शिकायतों में से 41,458 (99% से अधिक) का गुणवत्तापूर्ण निस्तारण किया जा चुका है। इसी उत्कृष्ट प्रदर्शन के कारण 18 दिसंबर 2025 को भारत सरकार द्वारा आयोजित नेशनल ग्रीवांस वर्कशॉप में उत्तर प्रदेश को सम्मानित किया गया। इस वर्कशॉप में देश के 37 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों ने हिस्सा लिया था, जिसमें यूपी के साथ तमिलनाडु, सिक्किम और चंडीगढ़ को भी पुरस्कार मिला।

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