माओवादियों के क्षेत्रीय कमांडर शशिकांत की तलाश तेज, एटीएस ने झारखंड पुलिस संग की छापेमारी
उत्तर प्रदेश एटीएस माओवादियों के खिलाफ सक्रिय है। झारखंड पुलिस के साथ मिलकर एटीएस ने सोनभद्र में छापेमारी की और माओवादी उमेश सिंह उर्फ नगीना को गिरफ्तार किया। पूछताछ में नगीना ने कई राज खोले जिससे शशिकांत गंझू की तलाश तेज हो गई है। शशिकांत पर ठेकेदारों से वसूली का आरोप है और वह टीएसपीसी का जोनल कमांडर है। पुलिस मामले की छानबीन कर रही है।

राज्य ब्यूरो, लखनऊ। उत्तर प्रदेश से माओवादियों की जड़ें काटने के लिए दस लाख रुपये के इनामी माओवादी शशिकांत गंझू उर्फ आरिज जी उर्फ सुदेश जी की तलाश एटीएस ने तेज कर दी है। शशिकांत प्रतिबंधित माओवादी संगठन टीएसपीसी का जोनल (क्षेत्रीय) कमांडर है।
वहीं, सोनभद्र से गिरफ्तार किए गए उसके साथी व झारखंड के पांच लाख रुपये के इनामी माओवादी उमेश सिंह उर्फ नगीना उर्फ डाक्टर से एटीएस की टीमों ने पूरे दिन पूछताछ की है। फरार जोनल कमांडर के बारे में उससे मिली जानकारी के आधार पर एटीएस ने गुरुवार को झारखंड पुलिस के साथ मिलकर सोनभद्र के आसपास कई स्थानों पर छापेमारी की है।
एटीएस के सूत्रों के अनुसार नगीना ने टीएसपीसी के बारे में कई जानकारियां दी हैं। संगठन का प्रमुख बृजेश गंझू कई वर्षों से भूमिगत है। इसलिए संगठन के लिए ठेकेदारों से वसूली की कमान शशिकांत के पास है।
शशिकांत ही कोयला, अफीम व बीड़ी पत्ता सहित ठेकेदारों से सारी राशि वसूलता है और उसे ठिकाने पर लगाता है। नगीना ने यह भी बताया है कि एकत्र की जाने वाली राशि के कुछ हिस्से को दूसरे राज्यों में करीबियों के माध्यम से निवेश किया जाता है। एटीएस ने यह जानकारी भी झारखंड पुलिस को दी है।
नगीना ने यह भी बताया है कि पलामू पुलिस द्वारा माओवादियों की संपत्तियों की जांच की जा रही है और छापेमारी कर उन्हें गिरफ्तार किया जा रहा है। वह पुलिस से बचने के लिए शशिकांत के साथ सोनभद्र आ रहा था, तभी एटीएस ने उसे गिरफ्तार कर लिया और शशिकांत भाग निकला।
उसके पास से बरामद नाइन एमएम पिस्टल व .32 बोर की रिवाल्वर, इंसास व एसएलआर रायफल के 24 कारतूसों समेत अन्य अलग-अलग बोर के कई कारतूस को एटीएस ने फारेंसिक जांच के लिए भेज दिया है। वहीं उसके पास से मिले मोबाइल के 10 सिम की भी एटीएस द्वारा जांच की जा रही है कि उक्त सिम का इस्तेमाल कब-कब किसे काल करने के लिए किया गया था।
एटीएस की टीमें फिलहाल सोनभद्र में नगीना के करीबियों की भी तलाश कर रही हैं। साथ ही टीएसपीसी के साथ संपर्क को लेकर राज्य में सक्रिय रहे माओवादियों पर भी नजर रखी जा रही है।
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