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    छांगुर ग‍िरोह को हुई थी 60 करोड़ रुपये की फंड‍िंग, ED ने जुटाए सबूत; सपत्तियां जब्त करने की तैयारी

    Updated: Fri, 18 Jul 2025 07:47 PM (IST)

    प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की जांच में मतांतरण कराने वाले गिरोह को 60 करोड़ से ज़्यादा की फंडिंग का खुलासा हुआ है। मास्टरमाइंड जलालुद्दीन और उसके साथियों के खातों में विदेशी धन मिला है जिससे खरीदी गई संपत्तियाँ ज़ब्त होंगी। बलरामपुर में नवीन और नीतू के नाम पर संपत्तियाँ खरीदी गईं। ईडी विदेशी फंडिंग की कड़ियां खंगाल रही है और आरोपियों को रिमांड पर लेने की तैयारी में है।

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    ब्यूरो : ईडी ने छांगुर गिरोह को हुई 60 करोड़ की फंडिंग के जुटाए साक्ष्य

    राज्य ब्यूरो, लखनऊ। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की जांच में हिंदू युवतियों को प्रेमजाल में फंसाकर उनका मतांतरण कराने वाले गिरोह को हो रही फंडिंग का खेल खुलना शुरू हो गया है। ईडी ने मास्टरमाइंड जलालुद्दीन उर्फ छांगुर व उसके गिरोह के सक्रिय सदस्यों के 22 खातों में 60 करोड़ रुपये से अधिक की फंडिंग के साक्ष्य जुटाए हैं। इनमें बड़ी रकम विदेशी फंडिंग की है। फंडिंग की रकम से खरीदी गईं लगभग डेढ़ दर्जन संपत्तियां चिन्हित की गई हैं, जिन्हें जल्द जब्त किया जाएगा।

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    इनमें अधिकतर संपत्तियां बलरामपुर व आसपास के जिलों में नवीन रोहरा उर्फ जमालुद्दीन व उसकी पत्नी नीतू रोहरा उर्फ नसरीन के नाम खरीदी गई थीं। विदेश से भेजी गई और रकम की जानकारी जुटाने के लिए डेढ़ दर्जन से अधिक और बैंक खातों की छानबीन की जा रही है।

    अवैध मतांतरण में छांगुर गिरोह के अंतरराष्ट्रीय संपर्क सामने आने के बाद पड़ताल और तेज की गई है। यह भी सामने आया है कि मुंबई में जिस शहजाद शेख के दो फ्लैटों में छापेमारी की गई थी, वह नवीन का करीबी है। शहजाद शेख के मोबाइल फोन में क्रोएशिया की मुद्रा कुना की फोटो भी मिली। विदेशी फंडिंग की और जानकारी जुटाने के लिए ईडी शहजाद शेख के मोबाइल फोन के डाटा का विश्लेषण कर रही है।

    15 ठ‍िकानों पर की छापेमारी

    ईडी ने मामले में गुरुवार को 15 ठिकानों पर छापेमारी की थी। इनमें बलरामपुर में 12, मुंबई में दो व लखनऊ में एक स्थान पर छानबीन की गई थी। ईडी के अनुसार अब तक छांगुर बाबा व उसके सहयोगियों से जुड़े 22 बैंक खातों का विश्लेषण किया गया है। इन खातों 60 करोड़ रुपये से अधिक की धनराशि भेजी गई थी। विदेश से करोड़ों रुपये भेजे जाने के प्रमाण भी मिले हैं।

    छापेमारी के दौरान कई दस्तावेज जब्त किए गए हैं। जिनकी छानबीन में सामने आया है कि फंडिंग की रकम से कई जमीन खरीदी गईं और उनमें निर्माण कार्य कराए गए। इन संपत्तियों का उपयोग अवैध मतांतरण की गतिविधियों को संचालित करने व उन्हें बढ़ावा दिए जाने के लिए हो रहा था। छापेमारी के दौरान जुटाए गए साक्ष्यों से यह भी पता चला है कि छांगुर ने सभी संपत्तियां अपने सहयोगी नवीन व उसकी पत्नी नीतू के नाम खरीदी थीं।

    ईडी की पूछताछ में छांगुर गिरोह के करीबी मुंबई निवासी शहजाद शेख ने कहा था कि उसने बलरामपुर में एक संपत्ति बेची थी, जिसके बदले उसके खाते में छांगुर ने लगभग 1.20 करोड़ रुपये भेजे थे। ईडी शहजाद की संपत्तियों व छांगुर से हुई डील को लेकर और गहनता से पड़ताल कर रहा है। ईडी विदेशी फंडिंग की कड़ियां खंगालने के लिए छांगुर व नवीन को पुलिस रिमांड पर लेने की तैयारी कर रहा है। अगले सप्ताह उन्हें पुलिस रिमांड पर लिए जाने की अर्जी विशेष कोर्ट में दाखिल की जा सकती है। ईडी मामले में प्रिवेंशन आफ मनी लांड्रिंग के तहत केस दर्ज कर जांच कर रहा है। वहीं आतंकवाद निरोधक दस्ता (एटीएस) मामले में अब तक छांगुर समेत पांच आरोपितों को गिरफ्तार कर चुका है।

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