बिना मानक के बन रही कॉलोनियों पर निर्माण से पहले लगाएं रोक, CM योगी का अधिकारियों को सख्त निर्देश
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने लखनऊ में अधिकारियों को अनियोजित कॉलोनियों को रोकने और शहरों में विकास योजनाबद्ध तरीके से करने के निर्देश दिए। उन्होंने मलिन बस्तियों में सफाई पानी और शौचालयों जैसी मूलभूत सुविधाएं सुनिश्चित करने पर जोर दिया। शॉपिंग कॉम्प्लेक्स जैसे प्रोजेक्ट पीपीपी मॉडल पर विकसित करने की बात कही गई। लापरवाही पर अधिकारियों की जवाबदेही तय करने की बात भी कही।

राज्य ब्यूरो, लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को निर्देशित किया है कि नगर निकायों की अनुमति के बिना मानकों का उल्लंघन कर विकसित की जाने वाली कॉलोनियों और बस्तियों पर शुरू में ही रोक लगाएं। शहरों में विकास कार्य नियोजित ढंग से होने चाहिए। शहरों में शापिंंग काम्प्लेक्स, पार्किंग, रेस्टोरेंट और ऑडिटोरियम परियोजनाओं को पीपीपी मॉडल पर विकसित किया जाए।
शनिवार को आयोजित नगर विकास विभाग की उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री ने कहा कि कालोनियां विकसित करने की अनधिकृत गतिविधियों को रोकने के लिए प्रभावी कदम उठाए जाएं ताकि शहरों की नियोजित संरचना बनी रहे।
विकास कार्य नियोजित ढंग से और समन्वित रूप में किए जाएं। विभागों द्वारा अलग-अलग कार्य करने से योजनाएं विलंबित होती हैं इसलिए सभी विभाग मिलकर साझा कार्ययोजना बनाएं और उसे क्रियान्वित करें।
उन्होंने मलिन बस्तियों के विकास पर विशेष जोर देते हुए कहा कि इन बस्तियों साफ-सफाई, पेयजल आपूर्ति, जल निकासी, सड़क कनेक्टिविटी और स्ट्रीट लाइट जैसी मूलभूत सुविधाओं को सुनिश्चित किया जाए। उन्होंने स्पष्ट निर्देश दिए कि इन बस्तियों के विकास की जिम्मेदारी ठेकेदारों को न दी जाए बल्कि नगर निकाय स्वयं इसकी जिम्मेदारी उठाएं।
मलिन बस्तियों और सार्वजनिक स्थलों पर अधिक से अधिक सामुदायिक शौचलयों का निर्माण कराया जाए। सामुदायिक शौचालयों में नियमित साफ-सफाई की व्यवस्था होनी चाहिए।
नगर निकायों से जुड़े नए गांवों में भी मूलभूत सुविधाएं जल्द सुनिश्चित की जाए जिससे लोगों परेशानी का सामना न करना पड़े। मुख्यमंत्री ने कहा कि लापरवाही की स्थिति में जिम्मेदार अधिकारियों की जवाबदेही तय की जाएगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि शहरों में जल निकासी व्यवस्था को और मजबूत करने की आवश्यकता है। प्रत्येक शहर में ऐसी व्यवस्था होनी चाहिए जिससे भारी बारिश के बाद जलभराव की समस्या उत्पन्न न हो।
उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि ड्रेनेज सिस्टम के सुधार और नई व्यवस्थाओं की नियमित मॉनिटरिंग की जाए जिससे नागरिकों को बरसात के समय असुविधा न हो।
उन्होंने निर्देश दिए कि स्मार्ट सिटी की योजनाओं को इस तरह तैयार किया जाए जिससे शहरों का समग्र विकास होने के साथ ही राजस्व वृद्धि सुनिश्चित हो। इसके तहत शहरों में शापिंग काम्प्लेक्स, मल्टीलेवल पार्किंग, रेस्टोरेंट और ऑडिटोरियम जैसे प्रोजेक्ट को पीपीपी माडल पर विकसित किया जाए।
उन्होंने नियमित कूड़ा उठान और उसके निस्तारण को सुनिश्चित करने के साथ-साथ ठोस और गीले कचरे को अलग करने के लिए नियमित जागरूकता अभियान चलाने पर जोर दिया।
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