Updated: Mon, 26 May 2025 10:41 PM (IST)
कानपुर देहात में वट सावित्री व्रत पर महिलाओं ने पति की लंबी उम्र के लिए वट वृक्ष की पूजा की। अकबरपुर डेरापुर और रूरा में श्रृंगार कर विधि-विधान से पूजा की गई। महिलाओं ने सुबह से व्रत रखकर पूजन सामग्री तैयार की और वट वृक्ष की परिक्रमा करके परिवार की खुशहाली की कामना की। ज्योतिषाचार्यों ने सावित्री की कथा का महत्व बताया।
जागरण संवाददाता, कानपुर देहात। पति की दीर्घायु को लेकर सोमवार को अकबरपुर, डेरापुर और रूरा सहित अन्य स्थानों पर महिलाओं ने व्रत रखा और शृंगार कर विधि विधान से वट वृक्ष की पूजा अर्चना कर फेरे लिए। साथ ही परिवार की खुशहाली की कामना करते हुए खरबूजे दान किए।
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पूजन का शुभ मुहूर्त पूर्वाह्न 11:30 बजे होने के कारण महिलाओं ने व्रत तो सुबह से ही शुरू कर दिया था। साथ ही पर्याप्त समय होने के कारण घर के अन्य जरूरी काम निपटाने के बाद पूजन सामग्री तैयार करने में जुट गईं। परंपरा के अनुसार महिलाएं सोलह शृंगार करने के बाद पूजा की थाली सजाकर घरों से निकलीं।
सोमवार को भीषण तपन के बावजूद महिलाओं की आस्था भारी दिख रही थी। अकबरपुर, रूरा, डेरापुर, रसूलाबाद, झींझक, मैथा, शिवली, सरवनखेड़ा सहित अन्य स्थानों पर वट वृक्ष के नीचे पहुंचने के बाद विधि विधान से पूजा अर्चना की।
साथ ही सदा सुहागिन बनी रहने की कामना करते हुए वट वृक्ष में सूत लपेटकर खुशहाली की प्रार्थना की। ज्योतिषाचार्य राम औतार दीक्षित, सूबेदार शास्त्री, अनुज तिवारी ने बताया कि मान्यता के अनुसार सावित्री ने वट वृक्ष के नीचे ही अपने मृत पति सत्यवान को यमराज से वापस ले लिया था, इसलिए नारी की शक्ति व भक्ति महान है।
वट सावित्री पूजा को लेकर नगर पंचायत अध्यक्ष रामजी गुप्ता ने नगर के सभी वट वृक्षों के चबूतरों की सफाई कर्मियों को भेजकर करा दी थी। वहीं डेरापुर कस्बा की महिलाओं ने वट वृक्ष की पूजा कर पति की दीर्घायु होने की कामना की। सावित्री, शालिनी, अनुराधा, सुप्रिया, सुनीता ने बताया कि पूजन का शुभ मुहूर्त दोपहर 12 बजे से शुरू हुआ है जिसके चलते देरी से पूजा अर्चना शुरू की गई है।
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