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    महाठग रवींद्रनाथ सोनी के क्रिप्टो वॉलेट में थे 62.93 करोड़, अब बचे 180 रुपये

    Updated: Mon, 29 Dec 2025 10:13 PM (IST)

    महाठग रवींद्रनाथ सोनी के देहरादून स्थित घर से बरामद मोबाइल से एसआईटी को 1500 करोड़ की ठगी के मजबूत साक्ष्य मिले हैं। एक पीड़ित के स्क्रीनशॉट से पता चल ...और पढ़ें

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    जागरण संवाददाता, कानपुर। भारत, यूएई समेत 10 देशों के सैकड़ों लोगों से 1500 करोड़ से ज्यादा की महाठगी करने के आरोपित रवींद्रनाथ सोनी के देहरादून वाले घर से बरामद मोबाइल से एसआइटी को कई मजबूत साक्ष्य मिले हैं।

    एफआइआर कराने वाले एक पीड़ित ने कुछ स्क्रीन शाट भी दिए हैं, जिसमें महाठग के एक क्रिप्टो वालेट में पहले 62.93 करोड़ रुपये थे और अब मात्र 180 रुपये दिख रहे हैं। इस वालेट को अभिनेता सूरज जुमानी के संचालित करने के भी साक्ष्य मिले हैं। सूरज लोगों को इस वालेट से क्रिप्टो की जानकारी देता था।

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    अब पुलिस एक बार फिर महाठग का कस्टडी रिमांड ले सकती है। रिमांड मिलने के बाद एसआइटी अब उसे दिल्ली के मालवीय नगर उसके पुराने घर लेकर जाएगी। वहीं अब तक की सभी जानकारियां एसआइटी ने ईडी को दे दी हैं।

    परेड निवासी अब्दुल करीम ने पांच जनवरी 2025 को दिल्ली के मालवीय नगर निवासी रवींद्रनाथ सोनी के खिलाफ मुकदमा कराया था। उन्होंने दुबई में नौकरी कर रहे बेटे तलहा करीम से 42,29,600 रुपये ठगने का आरोप लगाया था।

    सदर कोतवाली पुलिस ने रवींद्रनाथ को 30 नवंबर को देहरादून को गिरफ्तार कर एक दिसंबर को जेल भेजा था। इसके बाद पुलिस की ई-मेल पर दुबई में रह रहे भारतीय मूल के लोगों की कई शिकायतें आईं, जिसमें बताया कि रवींद्रनाथ ब्लूचिप नाम से कई कंपनियां खोलकर बड़ी संख्या में लोगों से ठगी कर चुका है। इसके बाद पुलिस आयुक्त रघुबीर लाल ने जांच के लिए एसआइटी गठित की।

    एसआइटी ने जांच की तो रवींद्रनाथ सोनी के बैंक खातों में 970 करोड़ रुपये के ट्रांजेक्शन मिले। पुलिस ने उसकी कस्टडी रिमांड ली और देहरादून वाले घर से 10 मोबाइल, लैपटाप, सीपीयू, हार्डडिस्क बरामद किए। मोबाइलों का डाटा खंगाला गया तो क्रिप्टो करंसी के वालेट होने का भी पता चला।

    महाठग पर हो चुके 17 मुकदमे और छह जीरो एफआइआर

    दुबई में रह रहे भारतीय मूल के लोगों में अब तक 23 पीड़ित पुलिस आयुक्त से रवींद्र नाथ की शिकायत कर चुके हैं। उनमें से 17 के मुकदमे दर्ज किए गए और छह लोगों की जीरो एफआइआर लिखी गई।