पूर्व राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द ने कहा, सशक्त महिला से होगा सशक्त राष्ट्र का निर्माण
कानपुर में पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द ने गायनी समिति के राष्ट्रीय सम्मेलन में कहा कि स्वस्थ महिला से ही सशक्त राष्ट्र का निर्माण होता है। माँ परिवार राष्ट्र और मानवता की धुरी है। उन्होंने कहा कि सरकार आयुष्मान योजना और जननी कल्याण के माध्यम से सुरक्षित प्रसव पर ध्यान दे रही है।

जागरण संवाददाता कानपुर। गायनी समिति की राष्ट्रीय कांफ्रेंस में पूर्व राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द ने कहा कि स्वस्थ महिला से सशक्त राष्ट्र का निर्माण होता है। दुनिया में अगर जीवन कहानी संभव है तो वह मां के कारण ही है। मां का पोषण और मार्गदर्शन हमें जीवन देता है। मां राष्ट्र परिवार और मानवता की धुरी है। सुरक्षित प्रसव के लिए भारतीय सरकार की ओर से आयुष्मान योजना और जननी कल्याण तथा शिशु और मातृ दर को नियंत्रित करने किस दिशा में काम किया जा रहा है। समय-समय पर देश के सामने कई प्रकार की चुनौतियां आती हैं। शिशु एवं मातृ मृत्यु दर को हमारे स्वास्थ्य सेवाएं नियंत्रित कर रही हैं। टीकाकरण और मासिक स्वच्छता के क्षेत्र में हम बेहतर काम कर रहे हैं।
शनिवार को होटल लैंडमार्क में हुए कार्यक्रम में पूर्व राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द ने कहा कि वर्तमान समय में ब्रेस्ट और सर्वाइकल कैंसर महिला समाज के लिए चुनौती बनकर सामने आ रहा है। जिसे निश्चित ही हम चिकित्सकों के सहयोग और सरकार की नीतियों से काबू करने की दिशा में बढ़ रहे हैं। डिजिटल हेल्थ ग्रामीण क्षेत्रों में आशा की किरण की तरह काम कर रहा है। स्वस्थ महिला सशक्त महिला की राष्ट्र निर्माण में सक्रिय भूमिका है। उन्होंने कहा कि डॉक्टरी जन सेवा का वह माध्यम है जो पीढ़ियों का निर्माण करता है। मानव सेवा की माधव सेवा है और राष्ट्र निर्माण में डॉक्टर का स्थान सर्वोपरि हमेशा रहेगा।
दिखा मजाकिया अंदाज
कार्यक्रम की शुरुआत में पूर्व राष्ट्रपति ने मजाकिया अंदाज में कहा कि कानपुर में हल्का महसूस करते हैं। उन्होंने कहा कि खुद की बायोग्राफी लिख रहा हूं जो नवंबर तक जारी होगी। इसमें कानपुर का योगदान तथा मेरी जीवन यात्रा का विवरण होगा। काव्य पाठ करते हुए पूर्व राष्ट्रपति ने कहा की उम्र का बढ़ना जहां दस्तूर है दोस्तों ना सोचो कभी तो बुढ़ापा कहां है दोस्तों।
राज्य मंत्री को नहीं मिला स्थान
कार्यक्रम के दौरान पूर्व राष्ट्रपति का स्वागत करने पहुंचीं राज्य मंत्री प्रतिभा शुक्ला को मंच पर स्थान नहीं मिला। इस कारण करीब में 10 मिनट खड़े रहने के बाद बिना किसी से मिले हुए वापस लौट गईं। उसको जाता हुआ देखकर समिति की कई पदाधिकारी ने रोकने का प्रयास किया। लेकिन उन्होंने मना कर दिया।
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