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    कानपुर में आयकर विभाग की चिंता, टीडीएस और एडवांस टैक्स में भारी गिरावट

    Updated: Thu, 04 Dec 2025 01:38 AM (IST)

    कानपुर में आयकर संग्रह इस वित्तीय वर्ष में पीछे है। एडवांस टैक्स में 18.93% और टीडीएस में 3.32% की गिरावट दर्ज की गई है। आयकर अधिकारियों ने उद्यमियों ...और पढ़ें

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    जागरण संवाददाता, कानपुर। आयकर विभाग का कर संग्रह पूरा कराने में आगे रहने वाला कानपुर इस वित्तीय वर्ष काफी पिछड़ा हुआ नजर आ रहा है। 15 दिसंबर को आयकर विभाग में एडवांस टैक्स की तीसरी किस्त जमा करने की आखिरी तारीख है और इस समय एडवांस टैक्स में कानपुर 18.93 प्रतिशत पीछे चल रहा है। सिर्फ यही नहीं टीडीएस (टैक्स डिडेक्टेड एट सोर्स) को जमा कराने में भी शहर के करदाता पीछे हैं। इसमें 3.32 प्रतिशत की नकारात्मक ग्रोथ अब तक दर्ज की जा चुकी है।

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    सोमवार को आयकर अधिकारियों ने मर्चेंट्स चैंबर सभागार में आउटरीच कार्यक्रम में उद्यमियों और कारोबारियों को इसकी जानकारी भी दी। एडवांस टैक्स में जिन क्षेत्रों में ज्यादा गिरावट आ रही है, उसमें मैन्यूफैक्चर सेक्टर में 35 प्रतिशत, प्लास्टिक में 26.71 प्रतिशत में गिरावट है। कार्यक्रम में यह भी बताया गया कि 7.7 करोड़ एडवांस टैक्स अब तक हुआ है। पूरे देश के हिसाब से तुलना में 12 सेक्टर ऐसे हैं जहां निगेटिव ग्रोथ है।

    संयुक्त आयकर आयुक्त (टीडीएस) शुभी मिश्रा ने कहा कि 31 दिसंबर 2025 से पहले विदेश में संपत्ति की जानकारी दे दें। इसके लिए विभाग के पास जो जानकारी है, उसके आधार पर नोटिस दी जा रही है। आयकर अधिकारियों ने इसमें विश्वास जताया कि शहर के उद्यमी और कारोबारी टैक्स के लक्ष्य को जरूर पूरा करेंगे। हालांकि बिल्डर विश्वनाथ गुप्ता ने कहा कि विभाग को इस बात की चिंता भी करनी चाहिए कि आखिर शहर से उद्योग बाहर क्यों जा रहे हैं। पिछले दो-तीन साल में कानपुर के उद्यमी दिल्ली, मुंबई, कोलकाता और दुबई जा रहे हैं।

    वहीं अधिवक्ता अलिंद पी गुप्ता ने कहा कि आधारभूत ढांचा यहां अच्छा नहीं है। उद्यमी या कारोबारी का साल भर चलने वाला संघर्ष कोई नहीं देखता। विभाग का पोर्टल नहीं चलता और विभाग का 28 से 29 शब्दों का ओटीपी बहुत कठिन होता है।

     

    विदेश में संपत्ति-गलत छूट, सबकी जानकारी आयकर के पास : अपर्णा करण


    पश्चिम उत्तर प्रदेश उत्तराखंड की प्रधान मुख्य आयकर आयुक्त अपर्णा करण ने कहा कि करदाता गलत तरीके से छूट ले रहे हैं। विदेश में जो संपत्ति है, उसे छिपा रहे हैं। जिन लोगों ने विदेश में संपत्ति ली हुई है और जो गलत तरीके से छूट ले रहे हैं, उन सबकी जानकारी आयकर विभाग के पास है। उन्होंने कहा कि विभाग नहीं चाहता कि कोई कड़ी कार्रवाई की जाए। इसलिए खुद ही करदाता को सारी घोषणाएं कर देनी चाहिए। उन्होंने कहा कि पश्चिम उत्तर प्रदेश उत्तराखंड को 44 हजार करोड़ रुपये का लक्ष्य दिया गया है। ऐसे में एडवांस टैक्स व टीडीएस में निगेटिव ग्रोथ सही नहीं है। पूरे देश में जो भी पान मसाला बनता है, उसकी शुरुआत कानपुर से ही हुई है। यह करीब-करीब हर व्यक्ति पान मसाला खाता है और टैक्स नहीं आता। इसको लेकर उनके प्रतिनिधियों से मुलाकात की है। जहां से टैक्स आता है, उसका 80 प्रतिशत हिस्सा उसी क्षेत्र के विकास के लिए मिलता है। हमें अच्छा ढांचा चाहिए तो टैक्स का लक्ष्य पूरा कराना ही होगा।

     

    इन्होंने ने भी जानकारी

    मर्चेंट्स चैंबर, कानपुर इनकम टैक्स बार एसोसिएशन, कानपुर चार्टर्ड अकाउंटेंट सोसाइटी तथा नेशनल डायरेक्ट टैक्स ट्रिब्यूनल बार एसोसिएशन ने कार्यक्रम में सहयोग किया। संचालन अपर आयकर आयुक्त दुर्गेश कुमार शुक्ला ने किया। प्रधान आयकर आयुक्त प्रशासन डा. शिवदान सिंह भदौरिया, आयकर आयुक्त टीडीएस संजय कुमार यादव, राघवेंद्र सिंह, आशीष चंद्रा ने आयकर विभाग की तरफ से जानकारी दी। सीए सुधींद्र जैन, संतोष गुप्ता, अखिलेश तिवारी, आलोक अग्रवाल ने अपनी बात रखी। डा. रोहन कुमार ने मेंटल वेलनेस और डा. मनोज अग्नि ने हृदय रोग के संबंध में जानकारी दी। मंच पर अतुल कनोडिया, नरेन्द्र कपूर, प्रदीप कुमार द्विवेदी भी मौजूद रहे।

     

    जेवरों की खरीदारी में जबरदस्त तेजी पर टैक्स नहीं दे रहे

    प्रधान मुख्य आयकर आयुक्त ने कहा कि कानपुर के लोग जेवरों की खूब खरीदारी कर रहे हैं लेकिन टैक्स नहीं दे रहे। अगर हम खूब जेवर खरीद सकते हैं तो टैक्स भी दे सकते हैं। उन्होंने कहा कि वह बहुत ज्यादा बाहर नहीं निकलतीं लेकिन वह जानती हैं कि कानपुर में बिजनेस अच्छा चल रहा है। आप अच्छी जिंदगी बिता रहे हैं। इसलिए एडवांस टैक्स भी ठीक से जमा करें।