महाठग रवीन्द्र नाथ सोनी के डिजिटल लॉकर का पासवर्ड Decode, 800 करोड़ की क्रिप्टो करेंसी का राजफाश
अरबों की ठगी के आरोप में गिरफ्तार दिल्ली के मालवीय विहार निवासी रवीन्द्र नाथ सोनी को लेकर पुलिस की जांच में रोजाना नए राजफाश हो रहे हैं। एक लॉकर का पा ...और पढ़ें

जागरण संवाददाता, कानपुर। निवेश के नाम पर अरबों की ठगी के आरोप में गिरफ्तार दिल्ली के मालवीय विहार निवासी रवीन्द्र नाथ सोनी को लेकर पुलिस की जांच में रोजाना नए राजफाश हो रहे हैं। पीड़ितों से बातचीत के बाद सामने आया है कि रवीन्द्र ने अपनी कंपनी में निवेश के एवज में भारी भरकम ब्याज देने का लालच दिया।
महाठग की 14 कंपनियों के नाम पुलिस को मिले, सहयोगी भी हो रहे हैं चिह्नित
इसी लालच में तमाम पीड़ितों ने बैंकों से सस्ते ब्याज में बड़ी रकम लोन पर ली और ठग की कंपनी में निवेश कर दी। पुलिस को महाठग की 14 कंपनियों के बारे में जानकारी मिली है। इसके अलावा आठ डिजिटल लॉकर भी मिले हैं, जिसमें सैंकड़ों करोड़ की रकम क्रिप्टो के रूप में सुरक्षित करके रखी गई है।
कानपुर की क्राइम ब्रांच और कोतवाली पुलिस ने पिछले दिनों रवीन्द्र को 42 लाख रुपये ठगी के एक मामले में गिरफ्तार किया था। अब जैसे-जैसे जांच आगे बढ़ रही है पीड़ितों की संख्या और ठगी की रकम भी बढ़ रही है।
शनिवार तक लगभग 400 पीड़ितों के 970 करोड़ रुपये ठगे जाने की बात सामने आई थी। मगर, अब अनुमान है कि यह संख्या दोगुना से भी ज्यादा हो सकती है। पुलिस आयुक्त रघुबीर लाल ने बताया कि दुबई में 700 पीड़ितों के एक समूह की जानकारी मिली है।
जापान की कंपनियों को भी लगाया करोड़ों का चूना, भारत समेत आठ देशों में हैं पीड़ित
इसके अलावा यह भी पता चला है कि रवीन्द्र की कंपनी ब्लूचिप में जापान की भी कई कंपनियों ने करोड़ों डॉलर निवेश किए थे। इस संबंध में कुछ फोटोग्राफ्स भी सामने आए हैं, जिसमें रवीन्द्र जापानी निवेशकों के साथ बैठक करते दिख रहा है।
इसके अलावा दुबई, भारत, जापान के अलावा नेपाल, अफ्रीका, वियतनाम, मलेशिया, कनाडा, फ्रांस, यूएस के नागरिकों से भी ठगी की गई है। रविवार को अफ्रीका में रहने वाली केरल की मूल निवासी महिला ने भी कानपुर पुलिस से संपर्क करके लगभग दो करोड़ की ठगी की जानकारी दी है।
पुलिस आयुक्त के मुताबिक रवीन्द्र जिन कंपनियों में निवेश करता था, ऐसी 14 कंपनियां और उनके संचालक सामने आए हैं। इसके अलावा आठ डिजिटल लॉकर भी मिले हैं। इन लॉकर में क्रिप्टो करेंसी के रूप में रकम सुरक्षित की गई है।
एक लॉकर का पासवर्ड डिकोड करने में पुलिस को मिली कामयाबी
एक लॉकर का पासवर्ड डिकोड करने में पुलिस को कामयाबी मिली है, अकेले उसमें ही 800 करोड़ रुपये से ज्यादा मूल्य की क्रिप्टो करेंसी की जानकारी सामने आई है यानी ठगी के शिकार लोगों की संख्या और रकम दोनों में अभी बढ़ोत्तरी होगी।
खास बात यह है कि पुलिस ने अब तक करीब एक करोड़ रुपये की रकम ही सीज कराई है यानी और पैसा इन्हीं डिजिटल लॉकर में सुरक्षित किया गया है।
इन कंपनियों में कराया निवेश
- ब्लूचिप कामर्शियल ब्रोकर्स रवीन्द्र नाथ सोनी, हितेश, धरवेश
- ब्लूचिप फ्री होल्ड रियल एस्टेट ब्रोकर्स रवीन्द्र नाथ सोनी, गुरमीत, अभिषेक सिंघल
- ब्लूचिप फाइनेंशियल मार्केट लिमिटेड ब्रांच रवीन्द्र नाथ सोनी
- वाल स्ट्रीट इन्वेस्टमेंट एलएलसी रवीन्द्र नाथ सोनी, सुरेंद्र मधुकर राव
- ब्लूचिप इन्वेस्टमेंट एलएलसी रवीन्द्र नाथ सोनी
- ब्लूचिप टेक्नोलाजीज एलएलसी गुरमीत
- ब्लूचिप टेक्नोलाजीज कोरपोरेशन गुरमीत
- ब्लूचिप ग्रुप एलएलसी हितेश, धरवेश
- ब्लूचिप ग्रुप आफ कंपनीज हितेश, धरवेश
- ट्रेडवेल कामर्शियल ब्रोकर धरवेश, अभिषेक सिंघल
- ब्लूचिप फाइनेंशियल कंसल्टेंशन एंड फाइनेंशियल एनालिसिस धरवेश
- ब्लूचिप इंटरटेनमेंट प्रोडेक्शन एलएलसी सूरज
- बीसी होल्डिंग्स रितू परिहार
- ब्लूचिप मेटा साफ्ट एलएलसी अज्ञात
सोनू सूद और खली को लीगल नोटिस, बयान के लिए बुलाया
पुलिस आयुक्त रघुबीर लाल ने बताया कि उक्त प्रकरण में एक वीडियो सामने आया है, जिसमें रवीन्द्र की कंपनी के एक कार्यक्रम में फिल्म अभिनेता सोनू सूद और दलीप सिंह राणा उर्फ खली मौजूद हैं।
इसके अलावा पीड़ितों ने भी शिकायत की है कि इन दोनों ने कंपनी में निवेश के लिए दबाव डाला था। इन आरोपों के मद्देनजर दोनों को लीगल नोटिस जारी करके बयानों के लिए बुलाया गया है।
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