Hapur में दिल दहला देने वाला हादसा, भरभराकर गिरी छत; मलबे में दबे कई लोग और फैल गई दहशत
हापुड़ के मोहल्ला नवी करीम में एक जर्जर मकान की छत गिरने से पिता-पुत्र समेत तीन लोग घायल हो गए। बारिश के कारण कमजोर हुई छत अचानक ढह गई। स्थानीय लोगों और पुलिस ने मिलकर घायलों को मलबे से निकाला और अस्पताल पहुंचाया। मोहल्ले में दहशत का माहौल है और जर्जर मकानों पर कार्रवाई की मांग की जा रही है।
जागरण संवाददाता, हापुड़। हापुड़ में कोतवाली क्षेत्र के मोहल्ला नवी करीम में मंगलवार को एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई, जिसमें एक पुराने मकान की छत अचानक भरभराकर ढह गई। इस हादसे में पिता-पुत्र समेत तीन लोग घायल हो गए। पुलिस व स्थानीय लोगों ने घायलों को मलबे से बाहर निकाला और अस्पताल ले गए।
बताया जा रहा है कि बारिश के कारण पहले से ही जर्जर मकान की छत और दीवारें कमजोर हो चुकी थीं, जिसके चलते यह दर्दनाक हादसा हुआ है।
मोहल्ला नवी करीम के चीनी ने बताया कि वह मजदूरी कर परिवार का भरण पोषण करता आ रहा है। सोमवार दोपहर वह अपने पुत्र अयान और परिवार का ही सादमान के साथ घर पर मौजूद था। इसी बीच उसके मकान की जर्जर छत भरभराकर गिर गई। छत गिरने की तेज आवाज सुनकर आसपास के लोग तुरंत मौके पर पहुंचे।
वहीं, हादसे की गंभीरता को देखते हुए लोगों ने बिना देरी किए राहत और बचाव कार्य शुरू किया। मलबे में दबे तीनों लोगों को स्थानीय निवासियों ने बड़ी मुश्किल से बाहर निकाला। इस दौरान मोहल्ले में अफरातफरी का माहौल बन गया। इसी बीच पुलिस भी मौके पर पहुंच गई।
पुलिस मे सभी को स्थानीय अस्पताल में भर्ती कराया। जहां उन्हें प्राथमिक उपचार दिया गया। सभी घायलों की हालत अब स्थिर है, लेकिन इस हादसे ने उनके परिवार और आसपास के लोगों को गहरे सदमे में डाल दिया है।
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कोतवाली प्रभारी निरीक्षक मुनीष प्रताप सिंह ने बताया कि घटना की सूचना मिलते ही स्थानीय पुलिस तुरंत मौके पर पहुंची और स्थिति का जायजा लिया। प्रारंभिक जांच के अनुसार, मकान कई दशकों पुराना था, और लगातार बारिश के कारण इसकी दीवारें और छत पहले से ही कमजोर हो चुकी थीं। पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है और हादसे के सटीक कारणों का पता लगाने की कोशिश की जा रही है।
मोहल्ले में दहशत, लोगों की मांग
इस हादसे ने नबी करीम गढ़ गेट चौकी इलाके में दहशत का माहौल पैदा कर दिया है। स्थानीय निवासियों का कहना है कि इस क्षेत्र में कई मकान पुराने और जर्जर हालत में हैं, जो किसी भी समय हादसे का कारण बन सकते हैं। मोहल्ले वालों ने प्रशासन से तत्काल कार्रवाई की मांग की है। उनकी मांग है कि जर्जर मकानों का सर्वे किया जाए और उनकी मरम्मत या तोड़ने की व्यवस्था की जाए। अगर प्रशासन समय रहते कार्रवाई नहीं करता, तो इस तरह की घटनाएं बार-बार होंगी।
बारिश का कहर व पुराने मकानों की समस्या
हाल के दिनों में हुई भारी बारिश ने कई पुराने मकानों की कमजोर स्थिति को और उजागर कर दिया है। विशेषज्ञों का कहना है कि पुराने ढांचों में नमी के कारण दीवारें और छतें कमजोर हो जाती हैं, जिससे हादसों का खतरा बढ़ जाता है। इस घटना ने न केवल स्थानीय प्रशासन बल्कि पूरे क्षेत्र के लिए एक चेतावनी की तरह काम किया है।
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