जागरण पड़ताल में NHAI की खुली पोल, कोहरे में चेतावनी व्यवस्था न पेट्रोलिंग
गोरखपुर में फोरलेन और लिंक एक्सप्रेस-वे पर सुरक्षा व्यवस्था कमजोर है। एनएचएआइ द्वारा यात्रियों के लिए पर्याप्त इंतजाम नहीं हैं। वाहन खराब होने पर सहाय ...और पढ़ें

शेरपुर चमराह टोल प्लाजा। जागरण
जागरण संवाददाता, गोरखपुर। फोरलेन और लिंक एक्सप्रेस-वे पर यात्रियों की सुरक्षा व्यवस्था बेहद कमजोर है। भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआइ) की ओर से सड़क पर चलने वालों के लिए पर्याप्त इंतजाम नहीं किए गए हैं। वाहन खराब होने की स्थिति में टोल फ्री नंबर पर फोन करने के बाद आधे से एक घंटे में ही सहायता वाहन पहुंचने की संभावना रहती है।
पेट्रोलिंग के लिए भी एनएचएआइ के पास पर्याप्त वाहन नहीं हैं। टोल प्लाजा पर लाउडस्पीकर तक नहीं लगाए गए हैं, जिससे घने कोहरे या दृश्यता कम होने की स्थिति में राहगीरों को सतर्क किया जा सके।
वहीं कोहरे की स्थिति में वाहनों की सुरक्षित पार्किंग और यात्रियों के ठहरने की भी कोई व्यवस्था नहीं की गई है। ऐसे में फोरलेन पर सफर करने वाले लोगों को अपनी सुरक्षा के लिए खुद ही सतर्कता बरतनी पड़ेगी। गुरुवार को जागरण की पड़ताल में यह सच्चाई सामने आई।
गोरखपुर-देवरिया फोरलेन पर एनएचएआइ व स्टेट हाइवे की तरफ से कोई व्यवस्था नहीं है। इस मार्ग पर टोल प्लाजा नहीं होने से रात में वाहनों के खराब होने या अन्य समस्या पर राहगीरों को खुद से व्यवस्था करनी होगी। टोल फ्री नंबर पर फोन करने पर सहायता वाहन को पहुंचने में देरी होगी।

गोरखपुर-देवरिया फोरलेन पर बने कट पर नहीं लगा है संकेतक और पीली पट्टी। जागरण
कालेसर-सोनबरसा तक जिले में पड़ने वाले करीब 50 किमी फोरलेन पर भी न पेट्रोलिंग की व्यवस्था है न ही घने कोहरे में यात्रियों के ठहरने की। इस दूरी के बीच तेनुआ टोल प्लाजा पर पेट्रोलिंग की गाड़ी व एंबुलेंस है। सोनबरसा के पास अगर किसी राहगीर को जरूरत पड़ती है तो यहां से सहायता वाहन के पहुंचने में समय लगेगा। लेकिन, देवरिया जिले में पड़ने वाले टोल प्लाजा से कम समय में मदद के लिए पहुंचा जा सकता है।
हालांकि दोनों टोल प्लाजा पर लाउडस्पीकर लगे है न राहगीरों के ठहरने की व्यवस्था है। गोरखपुर-सोनौली फोरलेन पर जिले की अंतिम सीमा कैंपियरगंज तहसील क्षेत्र पड़ता है। जिले की सीमा तक पड़ने वाले फोरलेन मार्ग पर कई किमी तक लाइट नहीं है, जहां है वह खराब पड़ी है। फोरलेन पर डिवाइडर के लिए छोड़े गए गड्ढे है। रात के समय पेट्रोलिंग का कोई वाहन नहीं दिखता।
35 से 40 किमी इस मार्ग पर पीपीगंज के नयनसर में टोल प्लाजा है। यहां पर दो एंबुलेंस सेवा के लिए उपलब्ध है, लेकिन टोल प्लाजा पर राहगीरों को घने कोहरे में दृश्यता कम होने की सूचना देने, ठहरने की कोई व्यवस्था नहीं है। हालांकि टोल प्लाजा के प्रबंधक प्रवीन सिंह का कहना है कि लाउडस्पीकर शुक्रवार तक लगा दिया जाएगा। जिसके माध्यम से राहगीरों को अपडेट किया जाएगा।
वहीं एंबुलेंस की सेवा गोरखपुर की तरफ जंगल कौड़ियां जीरो प्वाइंट तक और फरेंदा की तरफ कैम्पियरगंज तक 24 घंटे अलर्ट में रहती है। जंगल कौड़िया से कालेसर जीरो प्वाइंट तक 12 किमी फोरलेन मार्ग पर लाइट लगी है, लेकिन खराब पड़ी है। बीच में चमराह टोल प्लाजा है, लेकिन यहां पर एंबुलेंस की व्यवस्था है न ही लाउडस्पीकर लगे है।
घने कोहरे में राहगीरों को अगर वाहन के साथ रुकना हो तो सड़क पर ही उन्हें समय गुजारना पड़ेगा। यहीं हाल नौसढ़ से जिले की सीमा कसरवल फोरलेन और गोरखपुर-वाराणसी फोरलेन पर नौसढ़ से बड़हलगंज जिले की सीमा तक कोई व्यवस्था नहीं है। बेलीपार थाना से आगे पड़ने वाले टोल प्लाजा भी जल्द शुरु होने से अभी यहां पर सुरक्षा व्यवस्था के इंतजाम हो रहे है। लिंक एक्सप्रेस-वे पर अभी सुरक्षा की बात करनी ही बेइमानी होगी।

नयनसर टोल प्लाजा। जागरण
मुख्यमंत्री का यह है निर्देश
आगरा एक्सप्रेसवे पर हुई घटना के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को निर्देश दिया है कि घने कोहरे में ठीक से प्रबंधन हो। सड़कों और गलियों की लाइट को लगाता चेक किया जाए, खराब होने पर तत्काल सही किया जाए। डार्क स्पाट को चिन्हित कर समुचित कदम उठाए जाएं। राज्यमार्गों पर जरूरत के हिसाब से रिफ्लेक्टर बनाए जाए।
वहीं एनएचएआइ व स्टेट हाइवे के अधिकारियों से कहा कि एक्सप्रेसवे और फोरलेन पर पेट्रोलिंग बढ़ाई जाएं, ब्लैक स्पाट पर टीमों को तैनात किया जाए। घने कोहरे में दृश्यता कम होने पर यातायात का प्रबबंधन करें, सुरक्षित यात्रा के लिए जनता एडवाइजरी का सख्ती से पालन करें। एक्सप्रेस-वे पर क्रेन और एंबुलेंस 24 घंटे तैनात रहे। टोल प्लाजा पर लाउडस्पीकर के माध्यम से चालकों को कोहरे की स्थिति की चेतावनी दी जाए, ओवरस्पीड से चलने वालों पर कार्रवाई की जाए।
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टोल प्लाजा पर बता रहे, जरूरी हो तो सड़क पर चलाएं वाहन : परियोजना निदेशक
भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के परियोजना निदेशक ललित प्रताप पाल ने कहा कि सभी टोल प्लाजा पर सूचना दी जा रही है कि धीमी गति से वाहन चलाएं। बहुत जरूरी हो तो ही सड़क पर वाहन के साथ निकालें। यदि कोई दिक्कत हो टोल फ्री नंबर 1033 पर जरूर संपर्क करें।
उन्होंने कहा कि दृश्यता देखने के लिए यातायात विभाग से संपर्क कर काम किया जा रहा है। हम यात्रियों की सुरक्षा के लिए लगातार पेट्रोलिंग भी कर रहे हैं। कहीं कोई असुविधा नहीं है। सब कुछ सामान्य तरीके से चल रहा है। उन्होंने वाहन चालकों से सहयोग की अपील की। कहा कि यातायात सुरक्षा के लिए खुद भी सुरक्षित रहें और दूसरों की भी सुरक्षा को प्राथमिकता दें।

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