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    दीवाली पर हर ट्रेन में दो के बजाय चार पुलिसकर्मी रहेंगे तैनात, यात्रियों की सुरक्षा को लेकर GRP-RPF अलर्ट

    Updated: Wed, 01 Oct 2025 10:17 AM (IST)

    दिवाली और छठ पूजा के दौरान यात्रियों की सुरक्षा बढ़ाने के लिए जीआरपी और आरपीएफ ने तैयारी कर ली है। ट्रेनों में अतिरिक्त पुलिसकर्मी तैनात किए जाएंगे और संवेदनशील क्षेत्रों पर कड़ी निगरानी रखी जाएगी। रेलवे स्टेशनों पर नियंत्रण कक्ष स्थापित किए गए हैं और यात्रियों के लिए होल्डिंग एरिया बनाया गया है। पत्थरबाजी की घटनाओं को रोकने के लिए ग्राम प्रधानों का सहयोग लिया जा रहा है।

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    दिवाली पर प्रत्येक ट्रेन में दो के स्थान पर रहेंगे चार पुलिसकर्मी तैनात

    जागरण संवाददाता, गाजियाबाद। जीआरपी और आरपीएफ ने दिवाली व छठ पूजा पर्व पर ट्रेनों में यात्रियों की सुरक्षा मुहैया कराने की तैयारी शुरू कर दी है। दोनों पर्व पर प्रत्येक ट्रेन में दो के स्थान पर चार पुलिसकर्मी तैनात किए जाएंगे।

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    संवेदनशील क्षेत्रों पर जीआरपी निगरानी रहेगी। ट्रेनों में पत्थरबाजी करने वाले पुराने अपराधियों का रिकार्ड का रजिस्टर निकालकर उन्हें चिह्नित किया जा रहा है। जिससे पत्थरबाजी की घटनाओं को रोका जा सके।

    देशभर से लाखों लाेग गाजियाबाद में रहते हैं। वह पर्व मनाने के लिए अपने मूल निवास जाते हैं। ट्रेनों में यात्रियों की संख्या बढ़ जाती है। इस दौरान चोरी और छिनैती की घटना होने की आशंका रहती है। यात्रियों की सुरक्षा के लिए पहले से ही जीआरपी और आरपीएफ तैयारी कर रही है।

    पहले ट्रेनों में दो पुलिसकर्मी तैनात रहते थे लेकिन पर्व पर में प्रत्येक ट्रेन में चार पुलिसकर्मी तैनात करने की योजना बनाई है। जीआरपी और आरपीएफ प्रभारी निरीक्षक खुद ट्रेन में बैठे यात्रियों की सुरक्षा का जायजा लेंगे। रेलवे स्टेशन पर कंट्रोल रूम बनाया गया है।

    कंट्रोल रूम में 24 घंटे जीआरपी और आरपीएफ के जवान तैनात किए गए हैं। सीसीटीवी कैमरों से स्टेशन की गतिविधि पर नजर रखी जा रही है। यात्रियों की भीड़ को नियंत्रित करने के लिए स्टेशन पर होल्डिंग एरिया बनेगा। यहां यात्रियों के पानी, टिकट और बैठने आदि की सुविधा होगी। ट्रेन आने से पहले यात्री यहां बैठ सकेंगे। जीआरपी ने रेलवे प्रशासन से मांग की है कि जिन ट्रेनों का स्टापेज दो मिनट है उसे बढ़ाकर चार मिनट कर दिया जाए।

    पत्थबाजी रोकने के लिए ग्राम प्रधानों का सहयोग लेगी जीआरपी

    पत्थरबाजी की घटनाएं रोकना जीआरपी के लिए चुनौती है। ट्रेन कुछ संवेदनशील गांवों से भी होकर गुजरती हैं। जीआरपी ने एक रेल मित्र के नाम से वाट्सएप ग्रुप बनाया है। इस ग्रुप में उन ग्राम प्रधानों को जोड़ा गया है जिन गांवों से रेलवे लाइन गुजर रही है।

    वहीं ग्रुप में वेंडरों को भी जोड़ा गया है। ग्राम प्रधानों की जिम्मेदारी तय की जाएगी। वह अपने गांव की गतिविधि पर नजर रखेंगे। यदि कोई पत्थरबाजी करने की कोशिश करता है तो वह इसकी सूचना जीआरपी को देंगे। ग्रुप में अपडेट रहेंगे।