देवरिया में बिना मानचित्र बनाए गए मजार मामले में नहीं हुई सुनवाई, एक दिसंबर को मिली नई तारीख
देवरिया में बिना मानचित्र स्वीकृति के मजार निर्माण मामले की सुनवाई अधिवक्ता के निधन के कारण स्थगित हो गई। एसडीएम सदर की कोर्ट में अब 1 दिसंबर को सुनवाई होगी। आरबीओ एक्ट के तहत वाद दायर है, जिसमें मजार का मानचित्र 1993 में निरस्त होने और 2022 में पुन: प्रयास करने की बात सामने आई है। मजार पक्ष ने आपत्ति दाखिल करने के लिए समय मांगा है।

रेलवे ओवरब्रिज से सटे बनाए गए मजार। जागरण
जागरण संवाददाता, देवरिया। बिना मानचित्र स्वीकृति के बनाए गए मजार मामले में गुरुवार को सुनवाई नहीं हो सकी है। अधिवक्ता के निधन के कारण कोर्ट नहीं चली। फिलहाल नियत प्राधिकारी एसडीएम सदर श्रुति शर्मा की कोर्ट में एक दिसंबर से नियमित सुनवाई की तैयारी है।
गोरखपुर रोड स्थित रेलवे ओवरब्रिज से सटे बनाए गए मजार मामले में आरबीओ एक्ट के तहत वाद दाखिल किया गया है। जेई आरबीओ की ओर से 28 दिन पहले ही कोर्ट में रिपोर्ट प्रस्तुत की गई, जिसमें मजार का मानचित्र वर्ष 1993 में ही निरस्त किए जाने की बात कही गई है।
इसके अलावा दोबारा वर्ष 2022 में मानचित्र स्वीकृत कराने का प्रयास करने की बात सामने आई है। मजार पक्ष के अधिवक्ता ने आपत्ति दाखिल करने के लिए समय मांगा है। लेकिन अभी तक आपत्ति दाखिल नहीं की है।
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कोर्ट में भूमि के स्वामित्व संबंधी रिपोर्ट भी तहसील से प्राप्त नहीं हुई है। न ही लोक निर्माण विभाग की ओर से ओवरब्रिज निर्माण की अवधि व मजार से संबंधित रिपोर्ट उपलब्ध कराई गई है। कलेक्ट्रेट बार एसोसिएशन के जिला मंत्री जयप्रकाश मिश्र ने बताया कि वरिष्ठ अधिवक्ता बृज किशोर सिंह के निधन के कारण कोर्ट नहीं चली है।

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