मासूम के जीवन में जख्म जितना गहरा था ऊपर वाले ने उतनी ही बेरहमी कर डाली
चंदौली के करन की सोनभद्र में सड़क हादसे में मौत हो गई। वह अपनी बहन की शादी के लिए पैसे कमाने हेतु जलपान गृह में काम कर रहा था। पांच साल पहले मां का निधन हो गया था और पिता ने दूसरी शादी कर ली थी। करन अपनी बहन वंदना के साथ दादा-दादी के पास रहता था।

जागरण संवाददाता, चंदौली। चकरघट्टा थाना के चमेरबांध (नईबस्ती) निवासी करन को यह नहीं पता था कि मासूम कंधे पर जिम्मेदारियों और ढोने को नसीब नहीं होगा। जख्म जितना गहरा था, ऊपर वाले ने उतनी ही उसके साथ बेरहमी की। अभी वह बालिग भी नहीं हुआ था उसपर घर चलाने और बहन का घर बसाने का जिम्मा भी आन पड़ा था।
पांच साल पहले मां राजकुमारी का ह्रदयाघात से निधन हो गया था। मां की ममता से मेहरूम होते ही पिता सोनू ने दूसरी शादी का साथ छोड़ दिया तो वह बहन वंदना के साथ दादा राम प्यारे-दादी मुराही के पास रहने लगा।
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सोनभद्र में पिकअप के धक्के से मंगलवार की देर रात मौत हो गई। बुधवार की सुबह जैसे ही घटना की जानकारी स्वजन को हुई तो उन्हें सहसा विश्वास ही नहीं हुआ कि करन की मौत हो गई है। हादसे से दुखी स्वजन विलाप करने लगे। बहन, दादा, दादी का रो-रो कर बुरा हाल हो गया। चंदा इकट्ठा कर दोपहर में सुबह दादा-दादी गांव वालों के साथ मृत पोते को देखने व शव लाने के लिए सोनभद्र पहुंचे। बुधवार की शाम शव घर पहुंचते ही गांव में शोक व्याप्त हो गया।
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ग्रामीणों ने बताया कि किशोर बहुत ही सरल और मृद भाषी था और कम उम्र में ही काम करने के लिए चला गया था, क्योंकि बहन के शादी की जिम्मेदारी उसके ऊपर आ गई थी। जलपान गृह में काम कर बहन की विवाह के लिए धन एकत्र कर रहा था। स्वजन के अनुसार, रक्षाबंधन पर घर आया तो रक्षासूत्र बांधने के बाद उसने बहन को कपड़ा गिफ्ट किया था। बोला था कि मैं तुम्हें किसी चीज की कमी नहीं होने दूंगा। हादसे से एक घंटे पहले उसने बहन से मोबाइल पर बातचीत की थी। रोती-बिलखी बहन ने यह बातें बताते हुए बेसुध हो जा रही थी।
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बुधवार को शव गांव में पहुंचा तो माहौल गमगीन हो गया। करन अपनी बहन की शादी के लिए पैसा कमाने को सोनभद्र के हिंदवारी के एक रेस्टोरेंट में काम करता था। मंगलवार की देर रात वह कूड़ा फेंकने के लिए साइकिल से बेलन नदी की ओर गया था। कूड़ा फेंकने के बाद वह वापस रेस्टोरेंट में अपने साथी के साथ जा रहा था कि अनियंत्रित पिकअप ने उसे कुचल दिया। आसपास के लोगों ने उसे जिला अस्पताल में भर्ती कराया जहां दोनों किशोर की मौत हो गई।
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सोनभद्र पुलिस ने घटना की सूचना घरवालों को दी तो स्वजनों में कोहराम मच गया। बहन वंदना, दादा, दादी का रो-रो कर बुरा हाल हो गया। बुधवार की सुबह दादा-दादी गांव वालों के साथ चंदा इकट्ठा कर पोते को देखने के लिए सोनभद्र पहुंचे। किशोर शव को पोस्टमार्टम के लिए जिला मोर्चरी भेजा गया था। दादा-दादी और बहन के करुण क्रंदन से माहौल गमगीन हो गया। मौके पर उपस्थित लोगों की भी आंखें नम हो गई। बुधवार की शाम शव घर पहुंचते ही गांव में शोक व्याप्त हो गया। ग्रामीणों ने बताया कि किशोर बहुत ही सरल और मृद भाषी था और कम उम्र में ही काम करने के लिए चला गया था, क्योंकि बहन के शादी की जिम्मेदारी उसके ऊपर आ गई थी।
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पांच वर्ष पूर्व हो गई थी मां की मौत
मां राजकुमारी की पांच वर्ष पहले ही हार्ट अटैक से मृत्यु हो चुकी हो गई थी। पिता सोनू ने दूसरा विवाह कर लिया और दूसरी पत्नी बिंदु के साथ अलग रहते हैं। मृतक करन को एक बहन वंदना जो की शादी योग्य हो गई है। पालन पोषण दादा राम प्यारे और दादी मुराही करती है।
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