अब रोजगार के लिए नोएडा जाने की जरूरत नहीं! आपके जिले में ही खुलेगा नया इंडस्ट्रियल हब, ऐसे उठाएं फायदा
बिजनौर जिले में गोरखपुर-शामली एक्सप्रेस-वे के किनारे महत्वपूर्ण इंडस्ट्रियल एरिया विकसित करने की योजना शुरू हुई है। हाईवे के अधिग्रहण के साथ ही औद्योगिक क्षेत्र की जमीन खरीदी जाएगी। बेल्जियम-भारतीय एग्रिस्टो मासा ने 750 करोड़ रुपये निवेश किया है। प्रदेश सरकार द्वारा हाईवे निर्माण एवं गंगा के दूसरे पुल से एनसीआर कनेक्टिविटी सुनिश्चित की जाएगी। डीएम ने जमीन चिह्नांकन हेतु मांग उठाई जिससे निवेशकों एवं रोजगार सृजन में तेजी आएगी।

अजीत चौधरी, बिजनौर। गोरखपुर-शामली एक्सप्रेस-वे के किनारे जिले में इंडस्ट्रियल एरिया बनाए जाने की कवायद शुरू की गई है। प्रयास किया जा रहा है कि हाईवे के लिए जमीन अधिग्रहण करते समय ही इंडस्ट्रियल एरिया के लिए भी जमीन खरीद ली जाए। बाद में यह जमीन विकसित करके उद्यमियों को बेची जाए। इससे जिले में इंडस्ट्रियल एरिया की सालों से चली आ रही मांग पूरी हो सकती है।
जिले में उद्योगों के लिए बहुत संभावनाएं हैं। बेल्जियम और भारतीय साझा उपक्रम की एग्रिस्टो मासा कंपनी ने जिले में और 750 करोड़ रुपये का निवेश कर दिया है। कुछ और बड़े निवेश भी जिले की ओर रुख कर सकते हैं। रकबे के हिसाब से बिजनौर जिला पश्चिमी उत्तर प्रदेश के सबसे बड़े जिलों में शामिल है।
यह अलग बात है कि यहां लंबे समय से इंडस्ट्रियल एरिया की तलाश पूरी नहीं हो पा रही है। इसकी सबसे बड़ी वजह यहां खेती की जमीनों का महंगा होना और मुख्य मार्गों से बेहतर कनेक्टिविटी न होना है। जिले में मेरठ-पौड़ी एक्सप्रेस-वे निकल रहा है लेकिन इसके किनारे इंडस्ट्रियल एरिया की तलाश नहीं की गई।
साथ ही यह भूतल से ऊंचा भी बनाया जा रहा है। अब प्रदेश सरकार ने गोरखपुर-शामली हाईवे निर्माण की भी घोषणा की है। बताया जा रहा है कि यह हाईवे बिजनौर में चांदपुर तहसील के जलीलपुर क्षेत्र से होकर निकलेगा। जिले के उद्यमियों ने हाईवे किनारे इंडस्ट्रियल एरिया बनवाने की मांग की थी।
इस संबंध में डीएम अंकित कुमार अग्रवाल ने एनएचएआइ के परियोजना निदेशक मेरठ को पत्र लिखा है। हाईवे के लिए भूमि चिह्नांकन और अधिग्रहण के समय ही इंडस्ट्रियल एरिया के लिए भी भूमि चिह्नित करने की मांग की है।
एनसीआर से होगी सीधी कनेक्टिविटी
चांदपुर क्षेत्र में गंगा का पुल पहले से ही बना है लेकिन दूसरा पुल बनाया जाएगा। यहां की कनेक्टिविटी सीधे एनसीआर क्षेत्र से है। इसके अलावा अमरोहा जिला भी यहां से दूर नहीं है। वहां औद्योगिक गतिविधि जिले से कहीं अधिक है। दोनों से बिजनौर जुड़ जाएगा।
अपेक्षाएं अभियान से संबंधित
- 11,743 करोड़ के एमओयू साइन हुए हैं बिजनौर में
- 100 से अधिक इकाइयों को है भूमि की तलाश
- 400 नए निवेशक बिजनौर में करना चाहते हैं निवेश
- 12,187 लोगों को मिल चुका है रोजगार
जिले में इंडस्ट्रियल एरिया के लिए भूमि की तलाश की जा रही है। काफी निवेशक खुद ही भूमि खरीद रहे हैं। उद्यमियों से जुड़ी समस्या का भी समाधान किया जा रहा है। -पूर्ण बोरा, सीडीओ
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