UP और उत्तराखंड को जोड़ने वाले पुल के किनारे क्षतिग्रस्त हुई एप्रोच रोड, हादसे का खतरा, बरसात ने खोली निर्माण की पोल
Bijnor News बिजनौर के बालावाली में गंगा नदी पर बने पुल के पहुंच मार्ग निर्माण में धांधली की शिकायत ग्रामीणों ने डीएम से की है। ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि पुल के पहुंच मार्ग और गाइड बंध के निर्माण में अवैध खनन की सामग्री का उपयोग किया गया है जिससे गुणवत्ता प्रभावित हुई है। उन्होंने सड़क की दुर्दशा पर भी चिंता व्यक्त की और जांच की मांग की।

संवाद सूत्र, जागरण, नांगल सोती (बिजनौर)। ग्राम बालावाली में गंगा नदी पर यातायात पुल की अप्रोच रोड और गाइड बंध के निर्माण में हुई धांधली एवं विलंब को लेकर ग्रामीणों ने जिलाधिकारी से शिकायत कर इसकी गंभीरता से जांच कराकर दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है।
गंगा नदी पर उत्तराखंड एवं उत्तर प्रदेश को जोड़ने के लिए बालावाली में यातायात पुल निर्माण हुआ था। वर्ष 2020 में पुल के दोनों साइड अप्रोच मार्ग और सुरक्षा के लिए गाइड बंध के लिए शासन ने लगभग 22 करोड़ की अतिरिक्त धनराशि आवंटित की थी। वर्ष 2022 में लोक निर्माण विभाग ने रिद्धि सिद्धि कंस्ट्रक्शन सम्भल को साइड में पहुंच मार्ग व गाइड बंध निर्माण का कार्य कराया था। ग्रामीण अभिषेक, मोहित कुमार और पीतम सिंह आदि का आरोप है कि बालावाली घाट से वर्ष 2013 में आई बाढ़ से जमी सिल्ट एवं गंगा के रेत का अवैध खनन करके अप्रोच मार्ग सहित गाइड बंध का निर्माण किया है। गाइड बंध के लिए आरसीसी के डाले स्लैब में ना सरिया का इस्तेमाल किया गया और ना ही सीमेंट को मानक के अनुसार लगाया गया है। बरसात में निर्माण की पोल खुल गई और उत्तराखंड साइड में गाइड बंध के स्लैब टूट चुके हैं और साइड धंस गए है।
मार्च माह में उत्तराखंड से उत्तर प्रदेश सीमा बाबा भारती आश्रम तक लगभग 600 मीटर सड़क बनाई गई। सड़क पर तारकोल का एक ही लेप डाला गया, जो बरसात में जगह-जगह से उखड़ चुकी हैं। बाबा भारती आश्रम से कांच फैक्ट्री तक का मार्ग अभी कच्चा छोड़ा हुआ है। प्रतिदिन सैकड़ों वाहनों के गुजरने से कच्चे पड़े मार्ग में कई फिट गहरे गड्ढे हो चुके हैं, जो किसी बड़ी दुर्घटना को दावत दे रहे है।
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