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    Basti News: सवालों से घिरी अनसुलझी हत्याएं, नहीं हो सका पर्दाफाश

    Updated: Fri, 05 Dec 2025 11:55 AM (IST)

    बस्ती जिले में चार गंभीर हत्याओं के मामले पुलिस के लिए अनसुलझी पहेली बने हुए हैं। वाल्टरगंज, लालगंज, कप्तानगंज और मुंडेरवा थाना क्षेत्रों में हुई इन घ ...और पढ़ें

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    लालगंज, कप्तानगंज, वाल्टरगंज व मुंडेरवा क्षेत्र की हैं घटनाएं। जागरण

    स्कन्द कुमार शुक्ल, बस्ती। जनपद में हुईं चार जघन्य हत्या की वारदातें पुलिस के लिए एक अनसुलझी पहेली बनी हुई हैं। यह आपराधिक घटनाएं वाल्टरगंज, लालगंज, कप्तानगंज व मुंडेरवा थाना क्षेत्र में हुई थीं । पुलिस के तमाम दावों और हाइटेक पुलिसिंग के बीच भी, ये मामले कानून व्यवस्था और पुलिस की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल खड़े कर रहे हैं।

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    अब तक हत्या करने का मोटिव सामने नहीं आने की वजह पुलिस की जांच और भी जटिल हो गई है। पुलिस इतने दिनों के बाद भी आरोपितों के खिलाफ कोई पुख्ता साक्ष्य जुटाने में विफल रही है। पुलिस सूत्रों की माने तो इन मामलों में बदमाशों ने इतनी सफाई से घटना को अंजाम दिया है कि उन्होंने घटनास्थल पर कोई ऐसा साक्ष्य नहीं छोड़ा जिससे पुलिस उन तक पहुंच सके।

    इन घटनाओं को हुए लंबा वक्त गुजर जाने बाद भी हाई-प्रोफाइल मामलों का पर्दाफाश न हो पाना पुलिस की जांच-पड़ताल पर प्रश्नचिंह लग रहा है। पुलिस महकमे में दबी जुबान से यह चर्चा है कि साक्ष्यों के अभाव और लंबी जांच के बाद भी कोई ठोस जानकारी न मिलने के कारण, पुलिस जल्द ही इन मामलों में फाइनल रिपोर्ट (एफआर) लगाकर मुकदमों को बंद कर सकती है। यदि ऐसा होता है, तो यह पीड़ित परिवारों के लिए न्याय की उम्मीद का अंत होगा।

    सविलांस, स्वाट व एसओजी भी हुई विफल

    इन घटनाओं के पर्दाफाश के लिए लोकल पुलिस के अलावा स्पेशल आपरेशन ग्रुप (एसओजी), स्वाट व सर्विलांस को भी लगाया गया था, लेकिन विशेष टीम इन मामलों में कोई सफलता हासिल नहीं कर सकी। ऐसा प्रतीत होता है कि अपराधी पुलिस से एक कदम आगे निकले और आधुनिक तकनीक के इस युग में भी पुलिस के हाथ खाली रह गए।

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    यह हैं जनपद के अब तक के अनसुलझे हत्याकांड:

    • वाल्टरगंज क्षेत्र, धौरहरा स्कूल परिसर में प्रबंधक जामवंत शर्मा की नौ फरवरी 2025 को हत्या हुई कि नहीं इस पहेली को पुलिस आज तक सुलझा नहीं सकी है। हालांकि फोरेंसिंक जांच रिपोर्ट में मिले शव का डीएनए जामवंत के स्वजन से मैच नहीं हुआ था।
    • कप्तानगंज के खपड़ही गांव में 10 फरवरी 2025 को शिवप्रसाद की 11 वर्षीय बेटी रागिनी की हत्या कर गांव के बेसिक स्कूल में फंदे से लटका शव मिला था। आज तक हत्या की वारदात को अंजाम देने वालों का पुलिस पता नहीं लगा सकी।
    • लालगंज के सिद्धनाथ गांव में छह साल के मासूम सृष्टि की 18 मई 2025 को हत्या कर शव को गांव के झाड़ी में फेंक दिया था। इस घटना को लेकर डीआइजी व एसपी कई बार घटना स्थल का विजिट कर चुके हैं मगर पुलिस टीम हत्याकांड का वर्क आउट नहीं कर पाई।
    • मुंडेरवा के रामपुर रेवटी गांव में फेरी का काम करने वाले हरिकांत मद्धेशिया की 4 मई 2024 को गला रेत कर हत्या कर दी गई थी। पुलिस कई टीमें इस घटना का पर्दाफाश नहीं कर सकीं। जबकि गोरखपुर से एफएसएल टीम ने दोबारा क्राइम सीन का री-क्रिएशन कर जांच की दिशा में आगे बढ़ा थी, लेकिन यह हत्याकांड भी पुलिस के लिए पहेली बनी हुई है।

    हत्या की इन घटनाओं को संज्ञान लेते हुए पुलिस अधीक्षक ने इसे बेहद गंभीरता से लिया है। उनके निदेश पर विशेष टीम इन अनसुलझी गुत्थियों को सुलझाने के लिए दिन-रात संबंधित सीओ के नेतृत्व में जुटी हुई है। मैनुअली और इलेक्ट्रानिक डिटाक्स की मदद से डिजिटल साक्ष्य के साथ आरोपितों को जल्द ही बेनकाब कर दिया जाएगा।

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    -श्यामकांत, अपर पुलिस अधीक्षक, बस्ती।