गर्मी से ठप हुई करोड़ों की मशीन; तीन सौ बेड अस्पताल में जांचें बंद, वापस भेजे गए मरीज
बरेली के तीन सौ बेड वाले अस्पताल में गर्मी के कारण करोड़ों की मशीनें ठप हो गईं, जिससे मरीजों की जांचें बंद हो गईं। मशीनों के खराब होने से अस्पताल में ...और पढ़ें
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सीटी स्कैन मशीन
जागरण संवाददाता, बरेली। तीन सौ बेड अस्पताल की सीटी स्कैन मशीन से दूसरे दिन भी जांचें नहीं हो सकी। स्टाफ ने कुछ देर रुक-रुककर बहुत जरूरी वाली सीटी स्कैन की जांचें कीं लेकिन एसी न चलने से मशीन बार-बार हीट हो रही थी। इसलिए किसी तरह से 14 जांचें की गईं, बाकी सभी लोगों को वापस कर दिया गया। हालांकि शुक्रवार को टेक्निकल टीम आकर एसी के फाल्ट ठीक कराने में जुट गई।
इसे पूरी तरह से ठीक कराने में कम से कम तीन से चार दिन लग सकते हैं। इस दौरान सीटी स्कैन की जांचें भी प्रभावित रहेंगी। तीन सौ बेड अस्पताल में सीटी स्कैन की जांच कराने के लिए हर दिन 60 से 70 मरीज पहुंचते हैं लेकिन कुछ दिन पहले मशीन रूम में लगे सभी छह एसी के केबल चोरी हो गए। जबकि सीटी स्कैन मशीन के लिए सभी एससी चलाकर अंदर के तापमान को दुरुस्त रखा जाता है।
केबल चोरी होने के बाद से ही सभी एसी बंद पड़े हैं, इसलिए कर्मचारियों को अल्ट्रासाउंड मशीन चलाने में परेशानी उठानी पड़ रही है।शुक्रवार को भी सीटी स्कैन की जांच कराने के लिए काफी मरीज तीन सौ बेड अस्पताल में मौजूद थे, लेकिन एसी न चलने से कुछ ही देर बाद मशीन बार-बार हीट हो रही थी।
सीटी स्कैन सेंटर के स्टाफ ने काफी कोशिश की लेकिन दिनभर में बमुश्किल 14 जांचें ही हो सकी, बाकी लोगों को वापस कर दिया गया।कर्मचारियों का कहना था कि जो मरीज काफी गंभीर थे, उन्हीं की जांचें कराई गईं, अन्य लोगों को आने के लिए बोल दिया गया, क्योंकि बगैर एसी के सीटी स्कैन मशीन चलाने से उसके हीट होकर खराब होने का भी खतरा रहता है।
कर्मचारियों का कहना है कि शुक्रवार को टेक्निकल स्टाफ ने मरम्मत का काम शुरू करा दिया गया था लेकिन इसमें दो से तीन दिन लग सकते है। इस बीच सभी जांचें सामान्य तौर से कर पाना मुमकिन नहीं हो सकेगा। उधर सीटी स्कैन की जांच न होने से मरीजों को काफी परेशानी हो रही है। रिपोर्ट न हो पाने से उन्हें समय से इलाज भी नहीं मिल पा रहा है।
रात में भूत-बंगला बन जाता अस्पताल
करोड़ों रुपये खर्च कर तीन सौ बेड की भव्य भवन तो खड़ा कर दिया गया और उसमें कीमती मशीनों को भी लाकर रखा जा चुका है लेकिन यहां स्थायी स्टाफ की तैनाती अब तक नहीं हो सकी है। ऐसे में शाम को अस्पताल बंद होते ही यहां अराजक तत्व सक्रिय हो जाते है। चूंकि यहां कोई खास निगरानी भी नहीं होती है, इसलिए चोर-शराबी अस्पताल का सामान चोरी कर उसे बेच देते हैं। यह सिलसिला काफी समय से चल रहा है लेकिन इस पर शिकंजा नहीं कसा जा पा रहा है। इससे सरकारी रकम को काफी नुकसान पहुंच रहा है।
सीटी स्कैन रूम की एसी ठीक कराने के लिए टीम पहुंच गई है। हालांकि सभी एसी को दुरुस्त कराने में दो से तीन दिन का वक्त लग सकता है। इस दौरान जांचें करा पाना काफी कठिन है। फिर भी स्टाफ कोशिश कर रहा है कि इमरजेंसी वाले मरीजों की जांचें किसी तरह से हो जाए।
- नसीम खान, प्रभारी सीटी स्कैन सेंटर, तीन सौ बेड हास्पिटल
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