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    UP News: जमुरिया में गरजेगा बुलडोजर! मोहलत लेने के बाद नहीं हटाया अतिक्रमण, प्रशासन को दे रहे चुनौती

    जमुरिया नदी के कुछ अतिक्रमणकारियों ने प्रशासन से मोहलत मांगी थी। कहा थी कि वे खुद अतिक्रमण हटा लेंगे। हालांकि समय मिलने के बाद भी अतिक्रमण नहीं हटाया गया। अब संयुक्त मजिस्ट्रेट ने स्पष्ट किया है कि जिन लोगों ने मोहलत लेने के बाद अभी तक स्वयं नहीं हटाया है हटवाया जाएगा। जुमरिया में किसी भी तरह का निर्माण व अतिक्रमण नहीं रहेगा।

    By Prem Shankar Edited By: Aysha Sheikh Updated: Tue, 30 Jul 2024 01:58 PM (IST)
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    महारानी लक्ष्मी बाई इंटर कालेज के निकट यहां अभी तक जमुरिया को नहीं मिला स्वरूप। जागरण

    संवाद सूत्र, जागरण (बाराबंकी)। जमुरिया नदी के कुछ अतिक्रमणकारी प्रशासन के लिए चुनौती बन गए हैं। वह प्रशासनिक अधिकारियों से स्वयं तोड़ने की मोहलत बार-बार लेकर अपनी बात से मुकर जाते हैं। इससे उन कर्मचारियों की मंशा पर भी सवाल उठता है, जिन्हें अधिकारियों ने सफाई की निगरानी के लिए लगाया है।

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    एक स्थान महारानी लक्ष्मी बाई इंटर कालेज के दक्षिण में 100 मीटर दूरी पर है। भवन व परिसर तोड़ने व खोदने से पहले प्रशासनिक अधिकारियों ने इतना भी मौका नहीं दिया था कि भवन के दरवाजे-पल्ले व एसी निकाला जा सके, लेकिन इसी के निकट कुछ ऐसे भवनों का अतिक्रमण हटवाने में प्रशासन को अभी तक पूरी तरह सफलता नहीं मिली है।

    एक माह पहले दी गई नोटिस का असर इन पर नहीं हुआ। लगभग सभी स्थानों पर सफाई व खोदाई हो गई, फिर भी इस स्थान पर काम अधूरा है। जमुरिया नदी की खोदाई एसडीएम रहे बिजय कुमार त्रिवेदी के नेतृत्व में शुरू की गई थी। अब उनके स्थान पर एसडीएम के पद का चार्ज पिछले हफ्ते संयुक्त मजिस्ट्रेट आर जगत साईं ने संभाला।

    संयुक्त मजिस्ट्रेट ने इस स्थान के एक भवन के आंशिक ऊपरी भाग को बुलडोजर से तोड़वा दिया था। दूसरे भवन स्वामी ने अपने मकान के पीछे का हिस्सा तोड़वा लिया, लेकिन पश्चिम की ओर बने मकान का निचला हिस्सा, जिसमें सीढ़ियों जैसा चबूतरा बना है, अभी तक नहीं तोड़ा गया है।

    लेखपालों की भूमिका पर भी उठ रहे सवाल

    इससे जमुरिया का प्रवाह यहां अन्य स्थानों जैसा नहीं हो पाया है। जमुरिया की निगरानी के लिए यहां लगाए गए लेखपालों की भूमिका पर भी सवाल उठता है। लोग कह रहे हैं कि क्या लेखपाल डीएम व एसडीएम को सही रिपोर्ट नहीं दे रहे हैं? तीन-चार बार पोकलैंड मशीन इस स्थान से वापस लौट चुकी है। हर बार अतिक्रमणकारियों को मौका दिया जाता है और वह अधिकारियों के लौटते ही सुस्त हो जाते हैं।

    जमुरिया नदी की 20 मीटर की परिधि में किसी भी तरह का निर्माण व अतिक्रमण नहीं रहेगा। जिन लोगों ने मोहलत लेने के बाद अभी तक स्वयं नहीं हटाया है, हटवाया जाएगा। -आर जगत साईं, संयुक्त मजिस्ट्रेट नवाबगंज बाराबंकी

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