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    Baghpat News: दारोगा ने पैर पकड़े और सीओ ने पिलाया जूस, तब 35 दिन बाद दंपती का धरना करा सके समाप्त

    By Jagran NewsEdited By: Abhishek Saxena
    Updated: Sat, 29 Jul 2023 09:32 AM (IST)

    Baghpat News In Hindi पुलिस उत्पीड़न के विरोध में 35 दिन धरने पर बैठा था दंपती। बगैर सत्यापन के किसी को नहीं पकड़ेगी पुलिस। पुलिस ने बिना किसी सत्यापन ...और पढ़ें

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    Baghpat News: बागपत नगर पालिका में दिनेश नारायण को जूस पिलाकर धरना समाप्त कराते सीओ विजय चौधरी। जागरण

    बागपत, जागरण संवाददाता। पुलिस उत्पीड़न के विरोध में दंपती का 35वें दिन धरना समाप्त हो गया। दारोगा ने अपनी गलती मानते हुए दंपती के पैर पकड़े और सीओ ने जूस पिलाया। भरोसा दिया कि बगैर सत्यापन के भविष्य में किसी भी व्यक्ति को पुलिस नहीं पकड़ेगी।

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    मकान में की थी तोड़फोड़

    बागपत के मुहल्ला देशराज निवासी दुकानदार दिनेश नारायण के मकान में पुलिस अदालत का वारंट लेकर पहुंची थी, जबकि वारंट दुकानदार का नहीं था। जानकारी देने के बावजूद पुलिस ने दिनेश नारायण के मकान में 31 मार्च को तोड़फोड़ की थी। उनकी पत्नी से दुर्व्यवहार किया था। 26 अप्रैल की सुबह दुकान से ले जाकर दुकानदार को चार घंटे कोतवाली हवालात में रखा था। इसके विरोध में दिनेश नारायण ने अपनी पत्नी स्नेहलता के साथ 15 जून से नगर पालिका में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की प्रतिमा के पास धरना शुरू कर दिया था। इतना ही नहीं 26 जून से क्रमिक अनशन पर बैठ गए थे।

    दंपती को सामाजिक संगठनों ने दिया था समर्थन

    राजनैतिक व सामाजिक संगठनों के लोगों ने दंपती को समर्थन दिया। वहीं पुलिस ने दंपती का धरना समाप्त कराने के तरह-तरह के हथकंडे अपनाए, लेकिन कामयाब नहीं हुई। आखिरकार पुलिस बैकफुट पर आई। शुक्रवार को धरना समाप्त कराया गया। पीड़ित दंपती का दावा है कि दारोगा ने अपनी गलती मानते हुए पैर पकड़े और सीओ विजय चौधरी ने भरोसा दिया कि भविष्य में किसी भी व्यक्ति को बगैर सत्यापन के नहीं पकड़ा जाएगा।

    दारोगा को हुआ गलती का अहसास

    सीओ ने उन्हें जूस पिलाकर धरना समाप्त कराया। इस मौके पर जिला बार एसोसिएशन के अध्यक्ष संजय सिंह तोमर, एडवोकेट गजेंद्र सिंह, रालोद नेता अमित जैन के अलावा मनोज शर्मा, विकास शर्मा, राजीव कुमार आदि मौजूद रहे। उधर सीओ का कहना है कि दारोगा ने अपनी गलती स्वीकार की है। पुलिसकर्मियों को मीटिंग कर निर्देशित किया गया कि वारंट या अन्य किसी मामले में बगैर सत्यापन के किसी व्यक्ति को न पकड़े।