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    पूरे प्रदेश में अधिवक्ता हड़ताल से अदालतों में न्यायिक कार्य प्रभावित

    By Nawal MishraEdited By:
    Updated: Fri, 31 Mar 2017 11:59 PM (IST)

    विधि आयोग की रिपोर्ट के खिलाफ इलाहाबाद हाईकोर्ट समेत प्रदेश के सभी न्यायालयों के अधिवक्ता हड़ताल पर रहे।

    पूरे प्रदेश में अधिवक्ता हड़ताल से अदालतों में न्यायिक कार्य प्रभावित

    इलाहाबाद (जेएनएन)। विधि आयोग की रिपोर्ट के खिलाफ इलाहाबाद हाईकोर्ट समेत प्रदेश के सभी न्यायालयों के अधिवक्ता हड़ताल पर रहे। उन्होंने रिपोर्ट की प्रतियां जलाईं और कहा कि अधिवक्ताओं की स्वायत्तता पर हमला बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। हड़ताल का आह्वïन बार कौंसिल ऑफ इंडिया ने किया था। बोर्ड ऑफ रेवेन्यू के अधिवक्ता भी न्यायिक कार्य से विरत रहे। हड़ताल को सफल बनाने के लिए सुबह ही हाईकोर्ट के वकीलों ने मोर्चा संभाल लिया। किसी भी वादकारी को वकीलों ने हाईकोर्ट परिसर में घुसने नहीं दिया गया। यहां तक कि वकील भी अपने चैंबरों में नहीं जा सके। हाईकोर्ट के सभी प्रवेश द्वारों पर जूनियर वकीलों का पहरा था। हाईकोर्ट के जज न्यायालयों में तो गए, परंतु वकीलों की गैरहाजिरी के चलते थोड़ी देर बाद चैंबरों में चले गए। 

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    इस दौरान हुई सभा में हाईकोर्ट बार एसोसिएशन के अध्यक्ष अनिल तिवारी ने कहा कि यह अधिवक्ताओं के सम्मान पर चोट है। आयोग की सिफारिश उनके अधिकार क्षेत्र से बाहर है तथा दुर्भाग्यपूर्ण है। महासचिव सुरेश चंद्र पांडेय व उपाध्यक्ष मंगला प्रसाद पांडेय ने कहा कश्मीर से कन्याकुमारी तक अधिवक्ता एक हैं और विधि आयोग की रिपोर्ट का जमकर विरोध करेंगे। अधिवक्ताओं का कथन था कि विधि आयोग का प्रस्तावित बिल बार की स्वायत्तता पर कुठाराघात है। सभा में कहा गया कि वादकारी व वकील का संबंध उपभोक्ता का नहीं है। यह संबंध संविदा पर आधारित है। वकील के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई का अधिकार बार काउंसिल को है न कि जज या मजिस्ट्रेट को।  

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    गौरतलब है कि अधिवक्ता केंद्रीय विधि आयोग के उस प्रस्तावित कानून को लेकर आक्रोशित हैं जिसमें यह कहा गया है कि वादकारी को अधिकार होगा कि वह अपने वकील के खिलाफ उपभोक्ता फोरम में वाद दायर कर मुआवजा ले सकेगा। इसके अलावा अधिवक्ताओं के लाइसेंस पर अदालतें फैसले ले सकेंगी।

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    लखनऊ खंडपीठ के अधिवक्ता भी विधि आयोग की रिपोर्ट के खिलाफ हड़ताल पर रहे। उन्होंने जुलूस निकालकर प्रदर्शन किया और विधि आयोग का पुतला फूंका। हड़ताल के चलते वादकारी परेशान रहे। लखनऊ में हाई कोर्ट व निचली अदालतों में कामकाज ठप रहा। अंबेडकरनगर, अमेठी, सुलतानपुर, गोंडा, रायबरेली, बहराइच, सीतापुर  बाराबंकी, लखीमपुर और बलरामपुर में वकीलों ने प्रदर्शन कर बिल प्रस्ताव वापस लेने की मांग की। फैजाबाद में दीवानी कचहरी में अधिवक्ता प्रवेश भी नहीं कर सके।

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