Aligarh Municipal Election 2022 : अब तक जलाली नगर पंचायत को मिले 14 चेयरमैन, कांग्रेस के हाथ अभी भी खाली
Aligarh Municipal Election 2022 अलीगढ़ नगर निकाय चुनाव करीब है। चाय की दुकान व चौराहों पर चुनावी चर्चाओं का दौर जारी है। जलाली कस्बे में भी निकाय चुनाव को लेकर सरगर्मी बढ़ गयी है। आजादी के बाद से कस्बे में अब तक 14 चेयरमैन चुने गए।

अलीगढ़, जागरण संवाददाता। Aligarh Municipal Election 2022 : जलाली कस्बे में नगर के निकाय चुनाव को लेकर हर चाय की दुकान व हर चौराहे पर चुनावी चर्चाएं हो रही हैं। सभी राजनीतिक दल अपनी- अपनी जीत की संभावनाएं में लगे हुए हैं। वहीं दावेदार भी अपनी अपनी जुगाड़ से दम भरने में लगे हुए हैं। कस्बे में आजादी के बाद आज तक 14 चेयरमैन चुने गए जिसमें 9 बार निर्दलीय प्रत्याशियों ने जीत हासिल की 2 बार बसपा और दो बार सपा और एक बार भाजपा नगर की चेयरमैन पद की कुर्सी काबिज रहे। इस बार कौन चुनाव मैदान में होगा यह आरक्षण के बाद पता चल सकेगा।
जलाली का इतिहास
कस्बा जलाली का इतिहास बेहद रोचक है । अंग्रेजी शासन में 1861 में कस्बे को सहकारी समिति बनाया गया था। आजादी के बाद 1947 में लाला ज्योति प्रसाद को पहली बार नामित चेयरमैन बनाया गया । इसी के साथ कस्बे में नगरीय प्रशासन की शुरुआत हुई । 1951 में नगर का पहला चुनाव हुआ, जिसमें सुखराम कुशवाहा ने मूलचंद अग्रवाल को हराकर जीत हासिल की। 1951 में जमुना प्रसाद ने नेत्रपाल को हराकर चेयरमैन पद हासिल किया। उनका कार्यकाल पूरा होने के बाद कस्बे में दो बार सुपर शासन रहा । 1964 के चुनाव में विलायत हुसैन ने चिरंजीलाल पिप्पल को हराकर कुर्सी पर कब्जा किया। इसके बाद 1971 में जैनुद्दीन पहलवान को हराकर जितेंद्र कुमार अग्रवाल नगर के चेयरमैन बने। उनका कार्यकाल पूरा होने के बाद 11 साल 1987 तक जलाली में सुपर शासन रहा। 1987 में फिर से चुनाव हुए तो एक बार जितेंद्र कुमार अग्रवाल ने अपने प्रतिद्वंदी खुर्शीद अली को हराकर फिर से चेयरमैनी हासिल की। चुनाव हारने के बाद खुर्शीद अली ने 1990 में पिटीसन दायर किया जिसके बाद 1 साल के लिए खुर्शीद अली को नगर अध्यक्ष बनाया गया।
1996 में अनुसूचित जाति की सीट पर हुआ चुनाव
1991 का चुनाव बहुत ही दिलचस्प रहा जिसमें जितेंद्र कुमार अग्रवाल ने जीत की हैट्रिक लगाकर भाजपा के रामस्वरूप बोहरे को हराया। 1994 सभासदों द्वारा अविश्वास प्रस्ताव लाया गया फिर ढाई साल तक नगर में सुपर शासन रहा। 1996 में अनुसूचित जाति की सीट पर चुनाव हुआ। जिसमें बसपा के राजेंद्र सिंह ने निर्दलीय फूलचंद धोबी को हराकर जीत हासिल की। 2001 में फिर आरक्षण अनुसूचित जाति का रहा। फिर से राजेंद्र सिंह ने फूलचंद धोबी को हराकर दोबारा चेयरमैन की कुर्सी पर कब्जा किया। उसके बाद एससी सीट पर 2006 में चुनाव हुआ, जिसमें फूल चंद धोबी की पत्नी श्रीमती कृष्णा देवी ने राजेंद्र सिंह को मात देकर कस्बे की अध्यक्ष पद पर कब्जा किया। इसके बाद 2012 एससी महिला का आरक्षण हुआ जिसमें कृष्णा देवी ने निर्दलीय सुषमा देवी को हराकर जीत हासिल की । ढाई साल बाद कृष्णा देवी को 17 जून 2014 में शासन द्वारा गबन के मामले में बर्खास्त की गयी।इसके बाद नगर पंचायत में सुपरहिट रही । फरवरी 2016 में चुनाव हुआ निर्दलीय प्रत्याशी राजकुमारी ने कुसमा देवी को हराकर चेयरमैन पद पर जीत हासिल की। 2017 के चुनाव में भाजपा प्रत्याशी रोरन सिंह बघेल ने निर्दलीय सलमा बेगम को हराकर चेयरमैन की कुर्सी कब्जाई । इस बार चुनाव की तारीख अभी तय नहीं हुयी। फिर भी लोग अपनी-अपनी दावेदारी भर रहे हैं। यह तो वक्त का इंतजार खत्म होने के बाद पता चलेगा कि इस बार जीत का सेहरा किसके सिर बंधेगा।
- 9 बार निर्दलीय प्रत्याशियों ने की जीत हासिल
- 13 वार्ड नगर पंचायत में
- 15753 मतदाता हैं संशोधित सूची जारी होनी है
अब तक चुने गए चेयरमैन
1947 ज्योति प्रसाद नामित चेयरमैन 1951 सुखराम कुशवाह, निर्दलीय
1957 - जमुना प्रसाद ,निर्दलीय
1964 - विलायत हुसैन,निर्दलीय
1971 - जितेंद्र कुमार अग्रवाल ,निर्दलीय
1987 जितेंद्र कुमार अग्रवाल ,निर्दलीय
1990 - खुर्शीद अली ,निर्दलीय
1991 - जितेंद्र कुमार अग्रवाल,निर्दलीय
1996 - राजेंद्र सिंह ,बसपा
2001 - राजेंद्र सिंह,बसपा
2006 - कृष्णा देवी,सपा
2012 - कृष्णा देवी,सपा
2016 - राजकुमारी, निर्दलीय
2017 - रोरन सिंह बघेल, भाजपा
आरक्षण पर नजर
1947, सामान्य
1951, सामान्य
1957, सामान्य
1964, सामान्य
1971, सामान्य
1987, सामान्य
1990, सामान्य
1991, सामान्य
1996, एससी पुरुष
2001, एससी पुरुष
2006, एससी
2012, एससी महिला
2016, एससी महिला
2017, ओबीसी
पब्लिक बोल
कस्बे का इस बार युवा चेयरमैन होना चाहिए जो युवा सोच और नई दिशा के साथ जलाली का विकास कर सके।
- शंकरपाल बोहरे, जलाली
कस्बे के लोग नए चेयरमैन चुनने को बहुत उत्साहित है।इस बार युवा चेयरमैन चुनना है।जिससे कस्बे को विकास की नई ऊर्जा मिल सके ।
- दशरथ पाली, निवासी जलाली
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।