Indian Railways: अब रेल में यात्रा करना होगा और भरोसेमंद, सुरक्षा की होगी गारंटी; जीआरपी बढ़ा रहा दस्ता
Indian Railways एसपी रेलवे मोहम्मद मुश्ताक ने बताया कि आगरा अनुभाग में 12 थाना और 21 चौकियां हैं। दिल्ली से हावड़ा दिल्ली-आगरा-मुंबई रेल खंड प्रमुख रूप से शामिल हैं। वर्तमान में 1156 सिपाही हैं। रेलवे बोर्ड को 1354 सिपाहियों की संख्या बढ़ाने का प्रस्ताव भेजा गया है।
आगरा, जागरण संवाददाता। अब रेल में यात्रा करना जनता के लिए और अच्छा और भरोसेमंद होने वाला है। रेल यात्रा के दौरान यात्रियों को सुरक्षा का भरोसा दिलाने को राजकीय रेलवे पुलिस (जीआरपी) अपना दस्ता बढ़ाने की तैयारी में है। जीआरपी आगरा अनुभाग ने प्लान तैयार किया है।
65 ट्रेनों में सचल दस्ता बढ़ाने की तैयारी चल रही है, जबकि यात्रियों की सुरक्षा के लिए आरपीएफ के साथ मिलकर मुहिम शुरू की जाएगी। फिलहाल 300 ट्रेनों में जीआरपी और 140 ट्रेनों में आरपीएफ आगरा के सचल दस्ता चल रहे हैं।
एसपी रेलवे मोहम्मद मुश्ताक ने बताया कि आगरा अनुभाग में 12 थाना और 21 चौकियां हैं। दिल्ली से हावड़ा, दिल्ली-आगरा-मुंबई रेल खंड प्रमुख रूप से शामिल हैं। वर्तमान में 1156 सिपाही हैं। रेलवे बोर्ड को 1354 सिपाहियों की संख्या बढ़ाने का प्रस्ताव भेजा गया है। फोर्स बढ़ते ही हर ट्रेन में सचल दस्ता होगा। इससे हर ट्रेन में सुरक्षा की गारंटी होगी। जल्द ही 65 ट्रेनों में सचल दस्ता बढ़ाने की तैयारी चल रही है। साथ ही यात्रियों को जागरूक करने के लिए विशेष अभियान भी शुरू किया जा रहा है।
यात्रियों को किया जाएगा जागरूक
मोहम्मद मुश्ताक ने बताया कि यात्रियों की सुरक्षा को लेकर आरपीएफ के सहयोग से संयुक्त अभियान चलेगा। यात्रियों को शातिरों की हरकत से सावधान किया जाएगा। किसी भी तरह की जानकारी ट्रेन के स्टाफ को देने की सलाह दी जाएगी। अनुभाग के 25 स्टेशनों के आउटर को चिन्हित किया गया है। इन सभी में सादा कपड़ों में सिपाहियों को लगाया गया है।
रेलवे स्टाफ की भी ली जाएगी मदद
एसपी रेलवे ने बताया कि एसी, स्लीपर और साधारण कोच में रेलवे स्टाफ की मदद चोरियों को रोकने में ली जाएगी। चेकिंग के दौरान संदिग्ध व्यक्ति की पहचान कैसे की जा सकती है। यह तरीका भी बताया जा रहा है।
स्टेशन के आउटर पर न खोलें ट्रेन का दरवाजा
एसपी रेलवे ने यात्रियों से स्टेशन के आउटर पर ट्रेन का दरवाजा न खोलने की अपील की है। उन्होंने कहा कि ज्यादातर छिनैती की घटनाएं आउटर पर ही होती हैं। प्लेटफार्म पर उतरने के इंतजार में लोग आउटर पर ही ट्रेन का दरवाजा खोलकर खड़े हो जाते हैं, बदमाश उसी का लाभ उठाते हैं।