India Pakistan Partition: भारत सरकार के पास नहीं बंटवारे में मारे गए लोगों का रिकार्ड, RTI में नहीं मिला जवाब
India Pakistan Partition डा. देवाशीष भट्टाचार्य ने संस्कृति मंत्रालय में आनलाइन आवेदन कर सूचना का अधिकार (आरटीआइ) में कई बिंदुओं पर सूचना मांगी थी। गृह मंत्रालय ने जानकारी होने से किया है इन्कार। अब वह सही सूचना पाने को अपील करेंगे।

आगरा, निर्लाेष कुमार। भारत सरकार के पास भारत-पाकिस्तान बंटवारे में (1946-47) के दौरान विस्थापित हुए लोगों की कोई सूचना उपलब्ध नहीं है। उसे यह जानकारी भी नहीं है कि बंटवारे के दौरान कितने लोगों को जान गंवानी पड़ी थी? कितनी महिलाओं व युवतियों को दुष्कर्म की पीड़ा झेलनी पड़ी थी।
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विस्थापन से जुड़े कई सवाल
आगरा के नूरी दरवाजा स्थित कालीबाड़ी निवासी आरटीआइ कार्यकर्ता डा. देवाशीष भट्टाचार्य ने संस्कृति मंत्रालय में आनलाइन आवेदन कर सूचना का अधिकार (आरटीआइ) में कई बिंदुओं पर सूचना मांगी थी। उन्होंने सूचना मांगी थी कि भारत-पाकिस्तान के बंटवारे (1946-47) के दौरान कितने लोग विस्थापित हुए थे। कितने लोगों की हत्या हुई थी और कितनी महिलाओं व युवतियों के साथ दुष्कर्म हुआ था।
इसका जवाब गृह मंत्रालय के उप-सचिव पीके श्रीवास्तव ने उपलब्ध कराया है। उन्होंने मंत्रालय में इस आशय की सूचना होने से इन्कार किया है। डा. देवाशीष भट्टाचार्य ने कहा कि यह ताज्जुब की बात है कि भारत-पाकिस्तान बंटवारे के दौरान हजारों लोगों के विस्थापित होने और हजारों लाेगों के मारे जाने के बावूजद सरकार के पास कोई रिकार्ड नहीं है। भारत-पाकिस्तान का बंटवारा होने व उससे किसे लाभ मिला, यह भी सरकार को पता नहीं है। वह सही सूचना पाने को अपील करेंगे।
इन सवालों पर भी नहीं दी सूचना
-बंटवारा क्यों आवश्यक था?
-बंटवारे का वास्तविक लाभ किसे मिला?
-नवगठित पूर्वी पाकिस्तान के लिए इस्लामाबाद से ढाका तक गलियारा प्रदान करने के पीछे महात्मा गांधी का क्या इरादा था?
निर्धारित अर्हता पूरा करने वालों को मिलती है पेंशन
गृह मंत्रालय ने आरटीआइ कार्यकर्ता को अवगत कराया है कि गृह मंत्रालय के अधीन स्वतंत्रता सेनानी एवं पुनर्वास प्रभाग द्वारा स्वतंत्रता सैनिक सम्मान योजना का संचालन किया जाता है। इसके अंतर्गत स्वतंत्रता सेनानियों और उन पर निर्भर योग्य व्यक्तियों को पेंशन दी जाती है। केंद्रीय सम्मान पेंशन उन्हीं स्वतंत्रता सेनानियों को प्रदान की जाती है, जो निर्धारित अर्हता को पूरा करते हैं और राज्य सरकार के तहत जिनका आवेदन प्राप्त होता है।
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